शादी के बाद पैसे की किल्लत का सामना करने के लिए सही वित्तीय योजना और समझदारी से खर्च करना जरूरी है. इससे आप मैरिड लाइफ को खुशहाल और टेंशन फ्री बना सकते हैं.
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Financial Problems Post Marriage: शादी जिंदगी का एक अहम मोड़ होता है, जिसमें 2 लोग एकसाथ लाइफ स्पेंड करने का इरादा करते हैं. हालांकि, शादी के तुरंत बाद कई कपल्स को पैसे की किल्लत का सामना करना पड़ता है. मैरेज के तुरंत बाद अगर फाइनेंशियल कंडीशन खराब हो जाए तो काफी ज्यादा टेंशन और शर्मिंदगी का सामना करना पड़ सकता है. आइए जानते हैं कि इसके पीछे की अहम वजह क्या हैं.
शादी के बाद पैसे की तंगी की वजह
1. शादी के खर्चों का दबाव
आजकल मैरिज सेरेमनी में भारी खर्च होता है, जिसमें शादी की तैयारियों, जैसे कि वेन्यू, कपड़े, जूलरी, कैटरिंग, फोटोग्राफी और दूसरे खर्चे, कपल्स के बजट को बहुत प्रभावित कर सकते हैं. अक्सर शादीशुदा जोड़े इन खर्चों को पूरा करने के लिए बचत का इस्तेमाल करते हैं या कर्ज लेते हैं. शादी के बाद इन खर्चों की भरपाई करना मुश्किल हो जाता है, जिससे पैसे की किल्लत होती है.
2. नया घर और सेटअप
शादी के बाद नया घर बसाने का खर्च भी बढ़ जाता है. नए घर के लिए फर्नीचर, गैजेट्स और दूसरी जरूरी चीजें खरीदनी पड़ती है. इसके अलावा, नए घर का डेकोरेशन और रेनोवेशन के लिए भी काफी पैसों की जरूरत होती है।. ये नया सेटअप भी फाइनेंशियल प्रेशर को बढ़ा सकता है.
3. हनीमून का खर्च
शादी के बाद हनीमून पर जाने का चलन आम है, जिसकेलिए होटल, फ्लाइट, और दूसरी एक्टिविटीज का खर्च भी कपल्स की वित्तीय स्थिति को प्रभावित कर सकता है. हनीमून का आनंद लेने के लिए लिए गए अतिरिक्त खर्च अक्सर बजट को बिगाड़ सकता है
4. फाइनेंशियल प्लानिंग की कमी
शादी से पहले कपल्स अपनी हल्दी सेरेमनी, वेडिंग डे, मैरिज सेरेमनी, रिसेप्शन और मेहमानों को लेकर काफी प्लानिंग करते हैं, लेकिन अक्सर फाइनेंशियल प्लानिंग में चूक जाते हैं, जो शादी के बाद उनका काफी हिट करता है.
5. जिम्मेदारियों का बोझ
शादी के बाद परिवार की जिम्मेदारियां बढ़ जाती है, खासकर जो इंसान घर को लीड करता है, उसके लिए सिचुएशन संभालना मुश्किल हो जाता है. फिर वित्तीय दबाव के कारण इंसान की मानसिक स्थिति खराब हो सकती है.
शादी के बाद कैसे मैनेज करें बजट
1. वित्तीय योजना बनाएं
शादी से पहले और बाद के खर्चों के लिए एक ठोस फाइनेंशियल प्लान बनाएं. बजट निर्धारित करें और फिजूल के खर्चों से बचें.
2. बचत और निवेश
शादी के बाद नियमित बचत और निवेश की योजना बनाएं. इससे भविष्य में आने वाले खर्चों का सामना करना आसान होगा.
3. कर्ज लेने से बचें
शादी के खर्चों को नियंत्रित करें और कर्ज से बचें. अगर कर्ज लेना मजबूरी हो, तो उसकी अदायगी की प्लानिंग पहले से ही कर लें.
4. दोनों की इनकम का मैनेजमेंट
दोनों की आय का सही प्रबंधन करें और आपस में वित्तीय जिम्मेदारियों को बांटें. इससे पैसे की तंगी कम होगी.
5. इमरजेंसी फंड
आपातकालीन फंड तैयार रखें ताकि अचानक आने वाले खर्चों का सामना किया जा सके.