Taarak Mehta Ka Ooltah Chashmah: पड़ोसियों तक को नहीं पता असली नाम, भिड़े के नाम से ही आते हैं बिल!
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Taarak Mehta Ka Ooltah Chashmah: पड़ोसियों तक को नहीं पता असली नाम, भिड़े के नाम से ही आते हैं बिल!

Taarak Mehta Ka Ooltah Chashmah Atmaram Bhide: तारक मेहता का उल्टा चश्मा के ज्यादातर कलाकारों को लोग उनके असली नाम से कम लेकिन किरदारों के नाम से ज्यादा जानते हैं लेकिन शो का एक कैरेक्टर तो ऐसा है कि जिसके पड़ोसी तक उनका असली नाम नहीं जानते और तो और उनके बिल भी शो के किरदार के नाम पर ही आते हैं.

तारक मेहता का उल्टा चश्मा (फोटो - सोशल मीडिया)

Taarak Mehta Ka Ooltah Chashmah News: किरदार कब कलाकार से बड़ा बनकर देखते ही देखते इंसान की पहचान बन जाए इसका अंदाजा तारक मेहता का उल्टा चश्मा को देखकर लगाया जा सकता है. जिसके ज्यादातक कैरेक्टर्स को लोग उनके असली नाम से नहीं जानते होंगे. शो में यूं तो हर किरदार अनूठा और निराला है लेकिन इनमें अपनी खास पहचान रखते हैं गोकुलधाम सोसायटी के एकमेव सेक्रेटरी आत्माराम भिड़े. चिंता से भले व्यवहार वाले भिड़े छोटी-छोटी बातों पर घबरा जाते हैं, हर काम नियम से करना पसंद करते हैं और झूठ बोलना उन्हें बर्दाश्त नहीं. इस रोल को पिछले 14 सालों से मंदार चंदवादकर निभाते आ रहे हैं और अब आलम ये है कि लोग उनके असली नाम को भूल उन्हें असली का भिड़े ही समझने लगे हैं.

घर में आते हैं भिड़े के नाम से बिल
यूं तो पर्दे पर हर कलाकार कोई ना कोई किरदार निभाता ही है लेकिन कुछ कैरेक्टर इस तरह गढ़े जाते हैं कि वो ही आपकी पहचान बन जाते हैं. तारक मेहता का उल्टा चश्मा के ज्यादातर रोल करने वाले आर्टिस्ट के साथ यही हुआ. लेकिन अभिनेता मंदार की कहानी ही कुछ और है. उनके साथ तो समस्या ये है कि टीवी पर उन्हें देखने वाले ही नहीं बल्कि उनके पड़ोसी और आसपास रहने वाले लोग भी अब उन्हें भिड़ेके नाम से ही जानते हैं. इसका खुलासा खुद मंदार ने एक इंटरव्यू में किया था और बताया था कि किस तरह उनके घर पर धोबी और किराने वाले का बिल भी मिस्टर भिड़े के नाम से ही आता है. अगर कोई उनके घर का पता पूछता है तो भिड़े बताने पर ही सही पता बताया जाता है. मंदार के नाम से लोग उन्हें जानते ही नहीं. 

नौकरी छोड़कर बने एक्टर
मंदार को शुरुआत से ही एक्टिंग का शौक था लेकिन उन्हें मैकेनिकल इंजीनियर की डिग्री हासिल की और फिर वो दुबई चले गए लेकिन एक्टिंग से लगाव वो मिटा ना सके. आखिरकार 2000 में उन्होंने नौकरी छोड़ दी और मुंबई आकर थियेटर और मराठी सिनेमा में काम करना शुरू किया. 2008 में उन्हें इस शो से जुड़ने का मौका मिला और आज तक वो इससे जुड़े हुए हैं.  

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