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IAS officer Shreya Shree Success Story: संघ लोक सेवा आयोग (UPSC) ने सोमवार को सिविल सेवा परीक्षा-2021 (Civil Service Exam) के परिणाम घोषित कर दिया, जिसमें दिल्ली की रहने वाली श्रुति शर्मा ने पहला स्थान हासिल किया. इसके अलावा कई अन्य स्टूडेंट्स को भी उनकी कड़ी मेहनत का फल मिला और उन्होंने सफलता हासिल की. ऐसी ही कहानी मध्य प्रदेश के सिंगरौली जिले की रहने वाली श्रेयाश्री (Shreya Shree) की है, जिन्होंने सरकारी स्कूल के पढ़ाई के बाद पहले आईआईटी से पढ़ाई की और अब उनका आईएएस अफसर बनना तय है.
मध्य प्रदेश के पिछड़े से जिले सिंगरौली की रहने वाली श्रेयाश्री (Shreya Shree) ने सरकारी स्कूल से 10वीं और 12वीं की पढ़ाई की. 12वीं के बाद उन्होंने जेईई एग्जाम में सफलता हासिल कर आईआईटी कानपुर (IIT, Kanpur) में एडमिशन लिया. आईआईटी कानपुर से ग्रेजुएशन और प्रोस्ट ग्रेजुएशन करने के बाद श्रेयाश्री इंजीनियर बन गईं.
आईआईटी कानपुर से पोस्ट ग्रेजुएशन करने के बाद श्रेयाश्री (Shreya Shree) के लिए देश के अलावा विदेश में भी नौकरी करने का मौका था और उन्हें आराम से लाखों का पैकेज मिल सकता था, लेकिन उन्होंने नौकरी नहीं करने का फैसला किया और यूपीएससी की सिविल सर्विस एग्जाम (UPSC Civil Services Exam) की तैयारी शुरू की.
नवभारत टाइम्स की रिपोर्ट के अनुसार, श्रेयाश्री (Shreya Shree) के पिता दिनेश चौधरी भारतीय वायु सेना में थे और 20 साल की नौकरी के बाद रिटायर हुए. श्रेया को पिता की एयर फोर्स की नौकरी के दौरान ही देश की सेवा करने की प्रेरणा मिली. बात में श्रेया की मां संगीता चौधरी ने भी उन्हें नौकरी करने से पहले आईएएस की परीक्षा देने को प्रेरित किया.
श्रेयाश्री (Shreya Shree) ने यूपीएससी एग्जाम के लिए कड़ी मेहनत की, लेकिन पहले प्रयास में उन्हें असफलता हाथ लगी और पीटी भी नहीं निकाल पाईं. इसके बाद उन्होंने अपनी कमियों को पर फोकस किया और दूसरे प्रयास में सिविल सेवा परीक्षा में 71वां स्थान हासिल किया. इसके बाद भारतीय प्रशासनिक सेवा (IAS) मिलना तय है.
श्रेयाश्री (Shreya Shree) ने सिविल सर्विस एग्जाम (Civil Service Exam) की तैयारी के लिए कोचिंग जॉइन करने की जगह सेल्फ स्टडी पर भरोसा किया. बिना कोचिंग के भी उन्होंने यूपीएससी एग्जाम में अपना परचम लहराया और अब आईएएस बनना तय है.
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