Parliament Winter Session 2023: लोकसभा के शीत सत्र में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह एक बार फिर रौद्र रूप में नजर आए. पीओके के जन्म के लिए उन्होंने नेहरू की गलतियों को जिम्मेदार ठहराया.
अमित शाह ने कहा, जम्मू कश्मीर में आतंकवाद की घटनाओं में कमी आई है. वर्ष 1994 से 2004 तक आतंक की 40164 घटनाएं हुईं. जबकि 2004 से 2014 तक इस तरह की घटनाएं 7 हजार 217 हो गई. वहीं वर्ष 2014 से अब तक इस तरह के केवल 2 हजार मामले सामने आए हैं. इस तरह आतंक के मामलों में 70% की कमी आई है.
उन्होंने कहा, नागरिकों की मृत्यु में 72 फीसदी की कमी आई है. सुरक्षा बलों की मृत्यु में भी 59 फीसदी कमी आई है. पथराव की घटना वर्ष 2010 में 2654 घटनाएं हुई थीं. जबकि वर्ष 2023 में एक भी घटना नहीं. इस साल अभी तक प्रदेश में एक भी हड़ताल नही हुई है.
केंद्रीय गृह मंत्री ने कहा, जम्मू कश्मीर से अनुच्छेद 370 खत्म होने के बाद वर्ष 2021 में THEATRE शुरू हुआ. ऐसा 30 साल के अंतराल के बाद हुआ. फिल्मों की शूटिंग शुरू हो गई है. वहां पर इस तरह के 100 थियेटरों की फंडिंग का प्रस्ताव है. लाल चौक पर पहले तिरंगा फैलाने के लिए जद्दोजहद करनी पड़ती था, आज वहां हर घर पर तिरंगा है.
अमित शाह ने कहा, नेहरू की ब्लंडर मिस्टेक की वजह से जम्मू कश्मीर को बहुत भुगतना पड़ा. उनकी दो बड़ी गलतियां के कारण कश्मीर को सहन करना पड़ा. पहला, जब हमारी सेना जीत रही थी तो बीच में ही CEASEFIRE की घोषणा कर दी, जिसकी वजह से POK का जन्म हुआ. दूसरा, वे कश्मीर के मसले को UN में ले गए.
पीडीपी सुप्रीमो महबूबा मुफ्ती पर निशाना साधते हुए गृह मंत्री ने कहा, 'लोग कहते थे कि जम्मू कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाया गया तो खून की नदियां बह जाएंगी. खून की नदियां तो छोड़िएं, वहां पर किसी की अब किसी की पत्थर चलाने की हिम्मत नहीं है. ऐसी व्यवस्था की है हमने.'
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