ईद-उल-फितर और अक्षय तृतीया से पहले उत्तर प्रदेश में एलर्ट, पुलिस ने दी चेतावनी
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ईद-उल-फितर और अक्षय तृतीया से पहले उत्तर प्रदेश में एलर्ट, पुलिस ने दी चेतावनी

हाल ही में कई त्योहार आ रहे हैं. ऐसे में उत्तर प्रदेश में शांति व्यवस्था बनी रहे इसके लिए मीटिंग की गई है. इस मीटिंग पुलिस और सुरक्षा एजेंसियों को सतर्क रहने के लिए कहा गया है. 

ईद-उल-फितर और अक्षय तृतीया से पहले उत्तर प्रदेश में एलर्ट, पुलिस ने दी चेतावनी

उत्तर प्रदेश में सुदृढ़ कानून व्यवस्था बनाए रखने के प्रयासों के क्रम में गुरुवार को प्रमुख सचिव गृह संजय प्रसाद, पुलिस महानिदेशक आरके विश्वकर्मा व स्पेशल डीजी कानून व्यवस्था प्रशांत कुमार द्वारा सभी एडीजी जोन, मंडलायुक्त, जिलाधिकारी, पुलिस कमिश्नर, आईजी, डीआईजी और एसएसपी/एसपी के साथ समीक्षा बैठक कर आवश्यक दिशा-निर्देश दिए गए.

शांति से हुए त्योहार

वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से हुई बैठक में प्रमुख सचिव गृह संजय प्रसाद ने कहा कि हालिया वर्षों में प्रदेश में सभी धर्मों के पर्व और त्योहार शांति और सौहार्द के माहौल के बीच संपन्न हुए हैं. इससे पूरे देश में एक अच्छा संदेश गया है. प्रदेश में हर एक नागरिक की सुरक्षा हम सभी का प्राथमिक दायित्व है. हमें अपने इस दायित्व के प्रति सदैव सतर्क-सावधान रहना होगा. उन्होंने कहा कि रमजान का महीना चल रहा है. आगामी 22 अप्रैल को ईद-उल-फितर, अक्षय तृतीया और परशुराम जयंती का पर्व एक ही दिन होना संभावित है. वर्तमान परिवेश को देखते हुए पुलिस को अतिरिक्त संवेदनशील रहना होगा.

शरारती तत्वों से कड़ाई से निपटा जाए

उन्होंने निर्देश दिए कि हर एक पर्व शांति और सौहार्द के बीच सम्पन्न हों, इसके लिए स्थानीय जरूरतों के दृष्टिगत सभी जरूरी प्रयास किए जाएं. शरारतपूर्ण बयान जारी करने वालों के साथ कड़ाई से पेश आएं. माहौल खराब करने की कोशिश करने वाले अराजक तत्वों के साथ पूरी कठोरता की जाए. प्रमुख सचिव गृह ने निर्देश दिए कि फील्ड में तैनात सभी अधिकारी यह सुनिश्चित कराएं कि धार्मिक कार्यक्रम, पूजा-पाठ आदि निर्धारित स्थान पर ही हों. किसी भी दशा में सड़क मार्ग, यातायात बाधित कर कोई धार्मिक आयोजन न हो. 

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बिना इजाजत न निकले यात्रा

उन्होंने निर्देश दिए कि कोई शोभायात्रा/धार्मिक जुलूस बिना विधिवत अनुमति के न निकाली जाए. अनुमति केवल उन्हीं धार्मिक जुलूसों को दिया जाए, जो पारंपरिक हों, नए आयोजनों को अनावश्यक अनुमति न दी जाए. प्रमुख सचिव गृह ने सोशल मीडिया को लेकर अधिकारियों को संवेदनशील रहने की जरूरत भी बताई. उन्होंने कहा कि फेक न्यूज पर तत्काल रिस्पॉन्स दें. एक छोटी सी अफवाह माहौल खराब करने का बड़ा कारण बन सकती है. अफवाह/फेक न्यूज का खंडन पुलिस कप्तान जैसे वरिष्ठ अधिकारी द्वारा की जाए.

धार्मिक स्थलों की हो सुरक्षा

धार्मिक स्थलों की सुरक्षा के पुख्ता प्रबंध हों. ड्रोन का उपयोग कर स्थिति पर नजर रखें. उन्होंने कहा कि भीड़भाड़ वाले क्षेत्रों में पुलिस बल लगातार गश्त करे. वरिष्ठ अधिकारी भी पेट्रोलिंग में प्रतिभाग करें. हर संदिग्ध गतिविधि पर हमारी नजर होनी चाहिए. 112 जैसी आकस्मिक सेवाओं की उपयोगिता उसके क्विक रिस्पॉन्स पर निर्भर करती है. ऐसे में 24 पीआरवी 112 एक्टिव रहे. उन्होंने कहा कि हर महत्वपूर्ण कार्यक्रम की वीडियोग्राफी जरूर कराई जाए.

पुलिस रहे सतर्क

स्पेशल डीजी कानून व्यवस्था प्रशांत कुमार ने कहा कि सामाजिक शांति और सौहार्द के लिए पुलिस सतर्क और सावधान रहे. पर्व-त्योहार के बीच कतिपय अराजक तत्व सामाजिक सौहार्द को बिगाड़ने का प्रयास कर सकते हैं, ऐसे लोगों के साथ जीरो टॉलरेंस की नीति के अनुरूप कठोरता से निपटा जाए. 

बैठक में शामिल कई अधिकारी

बैठक में वाराणसी, अयोध्या, मथुरा, गोरखपुर और लखनऊ जैसे नगरों में ट्रैफिक की बढ़ती समस्या पर भी चर्चा हुई. प्रमुख सचिव गृह एवं मुख्यमंत्री ने सभी मंडलायुक्तों/जिलाधिकारियों/पुलिस कप्तानों को स्थानीय जरूरतों के अनुसार ट्रैफिक प्रबंधन की कार्ययोजना बनाने के निर्देश दिए. वहीं, तेज गर्मी के मौसम के बीच सभी शहरी/ग्रामीण क्षेत्रों में बिजली आपूर्ति सुचारू बनाए रखने के लिए आवश्यक प्रयासों पर बल दिया.

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