'पाकिस्तान का दोगलापन': भारत ने जैश प्रमुख मसूद अजहर के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की

India Pakistan News: भारत ने बहावलपुर में एक सार्वजनिक सभा में जैश-ए-मोहम्मद के प्रमुख मसूद अजहर के भाषण के बाद उसके खिलाफ कार्रवाई की मांग की.  

Written by - Nitin Arora | Last Updated : Dec 6, 2024, 09:04 PM IST
'पाकिस्तान का दोगलापन': भारत ने जैश प्रमुख मसूद अजहर के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की

Pakistani Terrorist Masood Azhar: भारत ने शुक्रवार को पाकिस्तान से मांग की कि वह जैश-ए-मोहम्मद के प्रमुख मसूद अजहर के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करे, ऐसी खबरें आई हैं कि उसने बहावलपुर में एक सार्वजनिक सभा में भाषण दिया था.

विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा कि यदि रिपोर्ट सही है तो इससे आतंकवादी गतिविधियों से निपटने में पाकिस्तान का 'दोगलापन' उजागर होता है.

जायसवाल ने कहा, 'हम मांग करते हैं कि उसके (अजहर) खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाए और उसे न्याय के कटघरे में लाया जाए. इस बात से इनकार किया जा रहा है कि वह पाकिस्तान में नहीं है. अगर रिपोर्ट सही हैं तो इससे पाकिस्तान का दोहरा चरित्र उजागर होता है. मसूद अजहर भारत पर सीमा पार से होने वाले आतंकी हमलों में शामिल है और हम चाहते हैं कि उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाए.' उन्होंने यह टिप्पणी अपने साप्ताहिक मीडिया ब्रीफिंग में एक सवाल के जवाब में की.

बता दें कि अजहर ने जैश-ए-मोहम्मद (JeM) के सदस्यों को 20 साल से अधिक समय में अपना पहला भाषण दिया, जैसा कि समूह के ऑनलाइन डिजिटल प्लेटफॉर्म द्वारा मंगलवार को बताया गया.

द प्रिंट की रिपोर्ट के अनुसार, 1924 में तुर्की खिलाफत के पतन के एक शताब्दी बाद दिए गए इस भाषण में अजहर ने भारत और इजरायल के खिलाफ आतंकवादी कार्रवाइयों को फिर से शुरू करने का वादा किया, जिसका लक्ष्य एक नया वैश्विक इस्लामी ढांचा तैयार करना है.

गाजा युद्ध का जिक्र
जैश-ए-मुहम्मद ने अजहर के भाषण की तारीख या स्थान का खुलासा नहीं किया. हालांकि समूह के डिजिटल प्लेटफॉर्म ने कभी-कभी मसूद अजहर के पिछले भाषणों को साझा किया है, लेकिन यह पहला ऐसा भाषण है जिसकी तारीख़ पक्की तौर पर बताई जा सकती है क्योंकि इसमें चल रहे गाजा युद्ध का जिक्र है.

जैश-ए-मोहम्मद के संचालन से परिचित एक भारतीय खुफिया अधिकारी के हवाले से रिपोर्ट में कहा गया है कि यह भाषण संभवतः पिछले महीने के अंत में पाकिस्तान के बहावलपुर के पास उम्म-उल-कुरा मदरसा और मस्जिद परिसर में दिया गया था.

1,000 एकड़ में फैली इस इमारत में एक प्रशासनिक ब्लॉक और कई आवासीय इकाइयां शामिल हैं. 2003 में जैश के एक गुट द्वारा पाकिस्तान के पूर्व सैन्य शासक जनरल परवेज मुशर्रफ की हत्या की कोशिश के बाद से अजहर को सार्वजनिक रूप से पेश होने से प्रतिबंधित कर दिया गया था.

इससे पहले, 2001 में भारतीय संसद पर हुए आतंकवादी हमले के बाद उसे हिरासत में लिया गया था, हालांकि उस पर कभी मुकदमा नहीं चलाया गया. 2016 से पाकिस्तानी अधिकारियों ने उसे 'सुरक्षात्मक हिरासत' में रखा हुआ है.

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