कांग्रेस प्रत्याशी दिग्विजय सिंह के हारने की गाज महामंडलेश्वर स्वामी वैराग्यानंद पर भी गिरी है. भोपाल में दिग्विजय सिंह के साध्वी प्रज्ञा से हारने के बाद छुपे-छुपे घूम रहे महामंडलेश्वर स्वामी वैराग्यानंद 'मिर्ची बाबा' को निरंजनी अखाड़ा से बर्खास्त कर दिया गया है.
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नई दिल्लीः मध्य प्रदेश सहित देश भर की सबसे हाई प्रोफाइल सीट भोपाल से कांग्रेस प्रत्याशी दिग्विजय सिंह के हारने की गाज महामंडलेश्वर स्वामी वैराग्यानंद पर भी गिरी है. भोपाल में दिग्विजय सिंह के साध्वी प्रज्ञा से हारने के बाद छुपे-छुपे घूम रहे महामंडलेश्वर स्वामी वैराग्यानंद 'मिर्ची बाबा' को निरंजनी अखाड़ा से बर्खास्त कर दिया गया है. बता दें मिर्ची बाबा ने दिग्विजय सिंह को जिताने के लिए भोपाल में 5 क्विंटल मिर्ची से यज्ञ और अनुष्ठान किया था. साथ ही यह दावा भी किया था कि भोपाल से दिग्विजय सिंह ही जीतेंगे. अगर वह नहीं जीतते हैं तो वह जिंदा जल समाधि ले लेंगे, लेकिन जैसे ही भोपाल में साध्वी प्रज्ञा के जीतने की खबर आई. वह कहां गायब हो गए, पता ही नहीं चला.
ऐसे में बाबा की तलाश शुरू हो गई है. वहीं मामले के जोर पकड़ने के बाद जैसे ही निरंजनी अखाड़े को बाबा द्वारा दिग्विजय सिंह के समर्थन में चुनाव प्रचार और यज्ञ अनुष्ठान करने का पता चला, अखाड़े ने भी उन्हें बर्खास्त कर दिया गया है. बता दें भोपाल लोकसभा सीट पर चुनाव से पहले बाबा ने एक यज्ञ का आयोजन किया था, जिसमें बाबा ने 5 क्विंटल मिर्ची से यज्ञ किया था. वहीं बाबा ने यह भी कहा था कि अगर भोपाल से दिग्विजय सिंह नहीं जीतेंगे तो वह जल समाधि ले लेंगे. अब ऐसे में बाबा की लगातार तलाश की जा रही है, लेकिन वह किसी के भी संपर्क में नहीं आ रहे हैं.
Mahamandaleshwar Swami Vairagyanand sacked by Niranjani Akhara after he had organized a 'Yajna' and 'Anusthan' for Bhopal Congress candidate Digvijaya Singh during campaign.
— ANI (@ANI) May 25, 2019
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बता दें भोपाल में सिर्फ मिर्ची बाबा ने ही नहीं कंप्यूटर बाबा ने भी दिग्विजय सिंह को जिताने के लिए धूनी रमाने के साथ ही 7 हजार साधू-संतों के साथ यज्ञ किया था. लेकिन कांग्रेस प्रत्याशी को इसका भी फायदा नहीं हुआ और यहां उन्हें साध्वी प्रज्ञा से 3 लाख से भी ज्यादा मतों के अंतर से हार का सामना करना पड़ा है. ऐसे में दिग्विजय सिंह की जीत का दावा करने वाले सभी बाबा कहीं गायब से हो गए हैं और मीडिया के सामने आने से भी बच रहे हैं.