धीरेंद्र शास्त्री के बाद प्रदीप मिश्रा के खिलाफ भीम आर्मी मुखर, इस कारण देशद्रोह दर्ज करने की मांग
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धीरेंद्र शास्त्री के बाद प्रदीप मिश्रा के खिलाफ भीम आर्मी मुखर, इस कारण देशद्रोह दर्ज करने की मांग

Sehore Wale Pandit Pradeep Mishra: पंडित प्रदीप मिश्रा 2022 में संविधान को लेकर विवादित बयान दिया था. जिसका विरोध एक साल बाद अब भीम आर्मी कर रही है. 

फाइल फोटो

narrator pandit pradeep mishra: मध्य प्रदेश के पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री (dhirendra sastri) का मामला अभी पूरी तरह शांत नहीं हुआ कि अब यहां के प्रसिद्ध कथावाचक प्रदीप मिश्रा (narrator pradeep mishra) एक पुराने आरोप में घिरते हुए नजर आ रहे हैं. बता दें कि जहां एक तरफ बागेश्वर धाम के गढ़ा गांव में भीम आर्मी (bheem army) धीरेंद्र शास्त्री का विरोध कर रही है तो वहीं अब (sehore) सीहोर में कथावाचक पंडित प्रदीप मिश्रा पर देशद्रोह का केस दर्ज करने की मांग कर रही है. 

2022 में संविधान को लेकर दिया था विवादित बयान
गौरतलब है कि पंडित प्रदीप मिश्रा ने बीते 2022 में संविधान बदलने की बात कही थी. इसको लेकर एससी एसटी समाज के लोगों ने नाराजगी जताई थी. इस संबंध में उसी वक्त जिले के सीहोर और आष्टा थाने में उनके खिलाफ देश द्रोह के धाराओं में मामला दर्ज करने के लिए आवेदन दिया था. उस वक्त पुलिस ने कार्रवाई का भरोसा दिया था, किंतु कार्रवाई नहीं हुई.

भीम आर्मी ने दी चेतावनी
वहीं एक साल बीत जाने और कार्रवाई न होने को लेकर भीम आर्मी के कार्यकर्ताओं ने आष्टा थाने में ज्ञापन देते हुए चेतावनी भी दी है. भीम आर्मी का कहना है कि यदि कार्रवाई नहीं हुई तो हम आंदोलन का रास्ता अपनाएंगे. वहीं आष्टा थाना प्रभारी पुष्पेंद्र राठौर ने बताया कि प्रदीप मिश्रा मंडी के निवासी हैं. उन्होंने होशंगाबाद में कभी कुछ नहीं बोला. इसलिए आवेदन करने वालों को कहा गया कि जहां का मामला है वहां पर जाकर शिकायत दर्ज कराएं. 

रुद्राक्ष महोत्सव में हुई थी 6 लोगों की मौत
उल्लेखनीय है की सीहोर वाले पंडित प्रदीप मिश्रा पर देशद्रहो का केस दर्ज करने की मांग उस वक्त उठ रही है. जब हाल ही में कुबेरेश्वर धाम में आयोजित रुद्राक्ष महोत्सव अव्यवस्थाओं के चलते बुरी तरह फंसे हुए हैं. बताते चलें कि हाल ही में हुए रुद्राक्ष महोत्सव के दौरान भगदड़ में पुलिकर्मी समेत 6 लोगों की मौत हुई थी. वहीं एक साल पहले संविधान को लेकर दिए गए विवादित बयान का मुद्दा भी अब गर्माता जा रहा है. 

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