CNG-PNG Price: CNG-PNG के दाम 10% तक हो जाएंगे कम! सरकार का बड़ा फैसला; कीमत तय करने के लिए बनाया ये फॉर्मूला
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CNG-PNG Price: CNG-PNG के दाम 10% तक हो जाएंगे कम! सरकार का बड़ा फैसला; कीमत तय करने के लिए बनाया ये फॉर्मूला

CNG PNG Price News: महंगी सीएनजी और पीएनजी के दामों से अब आपको मुक्ति मिल सकती है. केंद्रीय कैबिनेट की गुरुवार को हुई कैबिनेट बैठक में इस मुद्दे पर अहम फैसला लिया.

CNG-PNG Price: CNG-PNG के दाम 10% तक हो जाएंगे कम! सरकार का बड़ा फैसला; कीमत तय करने के लिए बनाया ये फॉर्मूला

CNG PNG Price Latest Updates: महंगाई से जूझ रही जनता को मोदी सरकार बड़ी राहत देने जा रहे है. देश में जल्द ही सीएनजी (CNG) और पीएनजी (PNG) के दाम कम होने वाले हैं. पीएम नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में गुरुवार को कैबिनेट बैठक में सीएनजी-पीएनजी के दाम समेत कई मुद्दों पर अहम फैसले लिए गए. सूचना प्रसारण मंत्री अनुराग ठाकुर ने बैठक के बाद उसमें लिए गए फैसलों के बारे में जानकारी दी. 

केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने दी जानकारी

उन्होंने बताया कि अब सीएनजी और पाइप से आपूर्ति की जाने वाली पीएनजी गैस की कीमतों (CNG PNG Price) पर अधिकतम सीमा तय करने का फैसला लिया गया है. इसके लिए एपीएम गैस पर 4 डॉलर प्रति एमएमबीटीयू के आधार मूल्य को मंजूरी दी गई है. इसके साथ ही प्रति एमएमबीटीयू 6.5 डॉलर अधिकतम मूल्य रखने का भी फैसला लिया गया है. 

दाम तय करने के लिए बनाया गया ये फॉर्मूला 

मंत्री अनुराग ठाकुर ने बताया कि कैबिनेट में अप्रूव किए गए नए फॉर्मूले के तहत अब सीएनजी-पीएनजी गैस की कीमतें (CNG PNG Price) क्रूड आयल से लिंक की जाएंगी. घरेलू गैस के दाम अब भारतीय क्रूड बास्केट के वैश्विक दाम के मासिक औसत का 10% होगी. इस कीमत को हर महीने नोटिफाई किया जाएगा. इस फॉर्मूले से PNG की कीमतों में 10 पर्सेंट तक की कमी आएगी. वहीं CNG की कीमतों में 7-9 पर्सेंट की कमी आएगी. इससे आम घरेलू उपभोक्ताओं से लेकर किसानों और गाड़ी चलाने वाले लोगों को बड़ा फायदा होगा. 

पहले ऐसे तय होती थीं कीमतें

बताते चलें कि अब तक सरकार साल में 2 बार सीएनजी-पीएनजी के दाम (CNG PNG Price) तय करती थीं. यह कीमतें एक अप्रैल और एक अक्टूबर को घोषित की जाती थीं. इन कीमतों के निर्धारण के लिए कनाडा, अमेरिका और रूस जैसे देशों में एक साल में एक चौथाई के अंतराल के साथ प्रचलित दरों को बेस बनाया जाता था. अब नई नीति में मूल्य निर्धारण के इस तरीके को बदलकर उसे आयात होने वाले क्रूड आयल की कीमतों से जोड़ दिया गया है और अब ये कीमतें मासिक तौर पर घोषित की जाएंगी. 

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