Mahalakshmi Blessings: शुक्रवार के दिन ये काम करने से धन-दौलत से भर जाएगी तिजोरी, मुंह मांगी मुराद होगी पूरी
Advertisement
trendingNow11525778

Mahalakshmi Blessings: शुक्रवार के दिन ये काम करने से धन-दौलत से भर जाएगी तिजोरी, मुंह मांगी मुराद होगी पूरी

Mahalaxmi Stotra Benefits: शुक्रवार का दिन मां लक्ष्मी को समर्पित है. इस दिन मां लक्ष्मी की पूजा से व्यक्ति के सभी दुख-संकट दूर हो जाते हैं. शास्त्रों में इस दिन महालक्ष्मी स्त्रोत का पाठ करना बेहद फलदायी बताया गया है. 

 

फाइल फोटो

Friday Remedies: हिंदू धर्म में मां लक्ष्मी को धन, वैभव, ऐश्वर्या, संपदा और समृद्दि की देवी माना गया है. मान्यता है कि मां लक्ष्मी की नियमित पूजा करने से व्यक्ति को जीवन में सभी भौतिक सुखों की प्राप्ति होती है. इसी संदर्भ में मां लक्ष्मी को शुक्रवार का दिन समर्पित है. ज्योतिष शास्त्र के अनुसार अगर आप आर्थिक तंगी से गुजर रहे हैं या फिर पैसों की समस्या बनी हुई है, तो शुक्रवार के दिन ये उपाय आपको लाभ पहुंचा सकता है. ज्योतिष शास्त्र में शुक्रवार के दिन मां लक्ष्मी के महालक्ष्मी स्त्रोत के बारे में बताया गया है, जिसका पाठ करना बहुत फलदायी माना जाता है. 

ऐसा माना जाता है कि जो व्यक्ति दिन में एक बार भी महालक्ष्मी स्त्रोता का पाठ करता है, उसे सभी पापों से मुक्ति मिलती है. वहीं, जो व्यक्ति इस महालक्ष्मी स्त्रोत का दो बार पाठ करते हैं, उन्हें धन-धान्य की प्राप्ति होती है. इसके अलावा, तीन बार इस स्त्रोत का पाठ करने से महालक्ष्मी हमेशा प्रसन्न होती हैं. 

महालक्ष्मी स्तोत्र (Mahalaxmi Stotra)
 

नमस्तेऽस्तु महामाये श्रीपीठे सुरपूजिते।
शंखचक्रगदाहस्ते महालक्ष्मी नमोऽस्तु ते।।
नमस्ते गरुडारूढे कोलासुरभयंकरि।
सर्वपापहरे देवि महालक्ष्मी नमोऽस्तु ते।।
सर्वज्ञे सर्ववरदे देवी सर्वदुष्टभयंकरि।
सर्वदु:खहरे देवि महालक्ष्मी नमोऽस्तु ते।।
सिद्धिबुद्धिप्रदे देवि भुक्तिमुक्तिप्रदायिनि।
मन्त्रपूते सदा देवि महालक्ष्मी नमोऽस्तु ते।।
आद्यन्तरहिते देवि आद्यशक्तिमहेश्वरि।
योगजे योगसम्भूते महालक्ष्मी नमोऽस्तु ते।।
स्थूलसूक्ष्ममहारौद्रे महाशक्तिमहोदरे।
महापापहरे देवि महालक्ष्मी नमोऽस्तु ते।।
पद्मासनस्थिते देवि परब्रह्मस्वरूपिणी।
परमेशि जगन्मातर्महालक्ष्मी नमोऽस्तु ते।।
श्वेताम्बरधरे देवि नानालंकारभूषिते।
जगत्स्थिते जगन्मातर्महालक्ष्मी नमोऽस्तु ते।।
महालक्ष्म्यष्टकं स्तोत्रं य: पठेद्भक्तिमान्नर:।
सर्वसिद्धिमवाप्नोति राज्यं प्राप्नोति सर्वदा।।
एककाले पठेन्नित्यं महापापविनाशनम्।
द्विकालं य: पठेन्नित्यं धन्यधान्यसमन्वित:।।
त्रिकालं य: पठेन्नित्यं महाशत्रुविनाशनम्।
महालक्ष्मीर्भवेन्नित्यं प्रसन्ना वरदा शुभा।।

अपनी फ्री कुंडली पाने के लिए यहां क्लिक करें
 

(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ZEE NEWS इसकी पुष्टि नहीं करता है.) 

Trending news