Land-for-jobs case: दिल्ली कोर्ट ने राबड़ी देवी के साथ लालू यादव की बेटियों को भी भेजा समन, 9 फरवरी को बुलाया

Delhi Court Summon Rabri Devi: मामला मध्य प्रदेश के जबलपुर में पश्चिम मध्य रेलवे जोन में ग्रुप-डी नियुक्तियों से संबंधित है, जब लालू प्रसाद यादव 2004 से 2009 तक रेल मंत्री थे. तब उनके परिवार और सहयोगियों पर नौकरियां, जमीन के बदले देने का आरोप लगा था.

Written by - Nitin Arora | Last Updated : Jan 27, 2024, 05:35 PM IST
  • राबड़ी देवी को दिल्ली कोर्ट का समन
  • लालू यादव की बेटियों को भी 9 फरवरी को बुलाया
Land-for-jobs case: दिल्ली कोर्ट ने राबड़ी देवी के साथ लालू यादव की बेटियों को भी भेजा समन, 9 फरवरी को बुलाया

Delhi Court Summon Rabri Devi: दिल्ली की एक अदालत ने शनिवार को जमीन के बदले नौकरी घोटाले से जुड़े मनी-लॉन्ड्रिंग मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ED) द्वारा दायर पहले आरोप पत्र पर संज्ञान लिया, जिसमें बिहार की पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी और उनकी बेटियों राज्यसभा सांसद मीसा भारती और हेमा यादव का नाम है. कोर्ट ने इन्हें आरोपी के रूप में नोट किया. विशेष न्यायाधीश विशाल गोगने ने 9 फरवरी को इन सभी को अदालत में पेश होने का निर्देश दिया है.

इससे पहले जनवरी में दायर आरोपपत्र में पूर्व रेलवे कर्मचारी हृदयानंद चौधरी और एके इंफोसिस्टम्स के निदेशक अमित कात्याल का भी नाम था, जिन्हें मामले के सिलसिले में पिछले साल नवंबर में गिरफ्तार किया गया था. दो निजी कंपनियों, ए के इंफोसिस्टम्स और ए बी एक्सपोर्ट का भी फाइल में नाम जोड़ा गया है.

क्या है मामला?
यह मामला मध्य प्रदेश के जबलपुर में पश्चिम मध्य रेलवे जोन में ग्रुप-डी नियुक्तियों से संबंधित है, जब लालू प्रसाद यादव 2004 से 2009 तक रेल मंत्री थे. तब उनके परिवार और सहयोगियों पर नौकरियां, जमीन के बदले देने का आरोप लगा था. ED ने आरोप लगाया है कि कात्याल ने कई भूमि पार्सल हासिल किए थे, जिसके बाद एके इंफोसिस्टम्स के शेयर लालू के परिवार के सदस्यों को ट्रांसफर कर दिए गए थे.

CBI का मामला
वहीं, मनी-लॉन्ड्रिंग मामला केंद्रीय जांच ब्यूरो द्वारा दर्ज की गई एक शिकायत से शुरू हुआ, जिसने पहले मामले में आरोप पत्र दायर किया था. सीबीआई ने आरोप लगाया है कि राबड़ी और उनके बेटे तेजस्वी यादव ने 2014 में मात्र 1 लाख रुपये, 10 रुपये प्रति शेयर के हिसाब से एके इंफोसिस्टम्स का नियंत्रण अपने हाथ में ले लिया.

एके इंफोसिस्टम्स के पास 1.77 करोड़ रुपये की जमीन थी. सीबीआई के आरोप पत्र के अनुसार, 2017 में कंपनी ने अचानक प्रमोटर-निदेशक को 1.35 करोड़ रुपये वापस कर दिए, ठीक उसी समय जब लालू पर आयकर छापा पड़ा था.

सीबीआई के आरोप पत्र में आगे आरोप लगाया गया कि लालू ने, रेल मंत्री के रूप में अपनी स्थिति के आधार पर रेलवे में विकल्प के रूप में नियुक्त किए जाने वाले उम्मीदवारों की सूची के लिए पश्चिम मध्य रेलवे (WCR) के अधिकारियों पर प्रभाव डाला.

यह आरोप लगाया गया था कि लालू ने इनमें से कुछ उम्मीदवारों को रेलवे में ग्रेड डी की नौकरी दिलाने के बदले में अत्यधिक रियायती दरों पर पटना के महुआबाग गांव में जमीन के टुकड़े हासिल किए.

CBI ने बताया कि चुने गए अधिकांश उम्मीदवार बिहार के कुछ जिलों से थे, जिनमें लालू की राजनीतिक/वित्तीय रुचि थी. सीबीआई ने जिन 117 उम्मीदवारों की जांच की, उनमें से 113 बिहार से थे. इनमें से 108 अभी भी भारतीय रेलवे में काम कर रहे हैं.

Zee Hindustan News App: देश-दुनिया, बॉलीवुड, बिज़नेस, ज्योतिष, धर्म-कर्म, खेल और गैजेट्स की दुनिया की सभी खबरें अपने मोबाइल पर पढ़ने के लिए डाउनलोड करें ज़ी हिंदुस्तान न्यूज़ ऐप. 

ट्रेंडिंग न्यूज़