Kedarnath Yatra 2023: 16 दिनों में 16 जानवरों की मौत, 3 लोगों पर पशु क्रूरता का मामला दर्ज
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Kedarnath Yatra 2023: 16 दिनों में 16 जानवरों की मौत, 3 लोगों पर पशु क्रूरता का मामला दर्ज

केदारनाथ में भोले नाथ के दर्शन करने के लिए लोगों को लगभग 16 किमी पैदल चलना पड़ता है. कुछ लोग इस दूरी को तय करने के लिए घोड़े- खच्चरों का सहारा लेते हैं. इस यात्रा समय के दौरान यहां कई घोड़े- खच्चरों की मौत होती है. इस बार यहां पिछले 16 दिनों में 16 घोड़े- खच्चरों की मौत हुई है. आगे जानें कैसे हुई मौत...

Kedarnath Dham (File Photo)

Kedarnath News Update: यात्रा प्रशासन ने इस बार घोड़े- खच्चरों पर निगरानी रखने के लिए 30 सदस्यीय म्यूल टास्क फोर्स का निर्माण कियी है. इस फोर्स में 7 पशु चिकित्सक और 7 सहायक चिकित्सक भी हैं. प्रशासन ने इस बार पैदल मार्ग पर 18 जगहों पर घोड़े- खच्चरों के लिए गर्म पानी की व्यवस्था भी की है. प्राप्त जानकारी के अनुसार अभी तक 8 हजार से अधिक घोड़े- खच्चरों का उपचार किया जा चुका है. जबकि लगभग 450 घोड़े- खच्चरों को अनफिट घोषित कर वापस भेज दिया गया है. 
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 22 अप्रैल से शुरू हुई चारधाम यात्रा इस बार श्रद्धालुओं की बड़ी परिक्षा ले रही है. इस बार यात्रा शुरू होने के बाद से मौसम खराब चल रहा है. प्रशासन के द्वारा बताया गया है कि करीब 5 लाख लोग अभी तक यात्रा कर चुके हैं.
चारधाम से कुछ डराने वाले आंकड़े भी आ रहे हैं. सरकारी आंकड़ों के मुताबिक अभी तक पूरी यात्रा में 21  श्रद्धालुओं की मौत हार्टअटैक से हो चुकी है. बाबा केदारनाथ की यात्रा को शुरू हुए अभी मात्र 16 दिन हुए हैं और यहां 16 घोड़े- खच्चरों की मौत हो गई है.   पिछली यात्रा (2022) के मुताबिक यह आंकड़ा बहुत कम है. 

प्रशासन और पशुपालन विभाग ने इस बार केदारनाथ यात्रा में पशुओं के लिए काफी अच्छी व्यवस्थाएं की हैं. वहीं अब तक नियमों के खिलाफ काम करने वाले 100 घोड़े खच्चर संचालकों का चालान किया गया है. जबकि तीन के खिलाफ पशु क्रूरता-रोधी अधिनियम के तहत FIR दर्ज की गई है.

केदारनाथ धाम की यात्रा में प्रथम चरण में रुद्रप्रयाग जनपद के घोड़े-खच्चर संचालकों को ही अनुमति मिली थी. लेकिन काफी विरोध के बाद अब चमोली व टिहरी जनपद के घोड़े-खच्चर संचालकों को भी धाम तक जाने की स्वीकृति मिल गई है. 25 अप्रैल से अभी तक पैदल मार्ग पर संचालित होने वाले 16 घोड़े-खच्चरों की मौत हुई है.

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