Mohan Yadav Cabinet: मध्य प्रदेश में भाजपा की पिछली सरकार में जिस जिले से सबसे ज्यादा मंत्री थे. इस बार भी उस जिले से ही सबसे ज्यादा मंत्रियों के दावेदार सामने आए हैं.
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MP Politics: मध्य प्रदेश में नई सरकार का शपथ ग्रहण समारोह हो चुका है. ऐसे में अब सबसे ज्यादा चर्चा नई सरकार के मंत्रिमंडल की होने लगी है. मंत्रिमंडल में किस जिले से कितने मंत्री शामिल होंगे इसको लेकर भी सियासी हलकों में जमकर चर्चा चल रही है. खास बात यह है कि पिछली सरकार में बुंदेलखंड अंचल के जिस जिले से सबसे ज्यादा मंत्री शिवराज सरकार में शामिल थे. इस बार भी उसी अंचल से सबसे ज्यादा मंत्री पद के दावेदार हैं, ऐसे में यहां बीजेपी बैलेंस कैसे बनाती है यह देखने वाली बात होगी.
सागर जिले से सबसे ज्यादा दावेदार
बता दें कि पिछली शिवराज सरकार में सबसे ज्यादा तीन मंत्री बुंदेलखंड अंचल के सागर जिले से थे. जबकि इस बार भी सबसे ज्यादा दावेदार इसी जिले से हैं. पिछली सरकार में मंत्री रहे तीनों विधायक इस बार भी चुनाव जीतकर आए हैं, जबकि बाकि के विधायकों की गिनती भी इस बार से सीनियर विधायकों में होगी. ऐसे में सागर जिले में अब मंत्रिपद की रेस बेहद दिलचस्प होने वाली है. क्योंकि दावेदारों की लंबी फेहरिस्त है.
गोपाल-गोविंद और भूपेंद्र फिर जीते
पिछली शिवराज सरकार में सागर जिले से गोपाल भार्गव, भूपेंद्र सिंह और गोविंद सिंह राजपूत मंत्री थे. ये तीनों ही नेता फिर से चुनाव जीते हैं. गोपाल भार्गव लगातार 9वीं बार विधायक चुने गए हैं, वह 16वीं विधानसभा में सबसे सीनियर विधायक हैं. जबकि भूपेंद्र सिंह चौथी बार विधायक बने हैं, इसके अलावा गोविंद सिंह राजपूत भी पांचवीं बार विधायक चुने गए हैं. पिछले चुनाव में इन तीनों विधायकों के पास बड़े विभाग थे. जबकि इस बार भी वह सीनियरटी के हिसाब से मंत्री पद के दावेदार माने जा रहे हैं. इसकी अपनी-अपनी वजह भी है.
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गोपाल भार्गव बीजेपी के सबसे सीनियर विधायक हैं. वह रहली विधानसभा सीट से लगातार 9वीं बार विधायक चुने गए हैं, जबकि भूपेंद्र सिंह पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के बेहद करीबी माने जाते हैं. इसके अलावा गोविंद सिंह राजपूत केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया के कट्टर समर्थक हैं. ऐसे में मंत्रिमंडल में शामिल होने के लिए तीनों अपना-अपना दावा कर रहे हैं.
शैलेंद्र जैन और प्रदीप लारिया भी दावेदार
सागर जिले से इस बार दो और नाम और मंत्रीपद के प्रबल दावेदार हैं. सागर विधानसभा सीट से लगातार चौथी बार विधायक चुने गए शैलेंद्र जैन भी इस बार मंत्रीपद के दावेदार है. इसके अलावा नरयावली विधानसभा सीट से लगातार चौथी बार विधायक बने प्रदीप लारिया भी मंत्री पद के दावेदार है. शैलेंद्र जैन बीजेपी के राष्ट्रीय महासचिव कैलाश विजयवर्गीय के करीबी माने जाते हैं. जबकि लारिया अनुसूचित जाति वर्ग से आते हैं, उनकी संगठन में भी पकड़ ऐसे में उनका दावा मजबूत माना जा रहा है. वह सागर शहर के महापौर भी रह चुके हैं. ऐसे में यह नेता भी मंत्रीपद के दावेदार माने जा रहे हैं.
सागर जिले में 8 विधानसभा सीटें आती हैं, बीजेपी ने इस बार 8 में से 7 सीटें जीती हैं, कांग्रेस को केवल एक सीट पर जीत मिली है. खास बात यह है कि सात में पांच विधायक मंत्री पद के दावेदार हैं, ऐसे में बीजेपी सागर का सियासी समीकरण इस बार कैसे साधती है यह देखना दिलचस्प होगा.
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