कटनी से अस्थियों की अदला-बदली होने का हैरान कर देने वाला सामने आया है. यहां गलती से एक परिवार दूसरे परिवार के परिजन की अस्थियां विसर्जित करने ले गया.
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नितिन चावरे/कटनी: कटनी के श्मशान घाट (Katni cremation ground) में अस्थियों अदला-बदली हो जाने का मामला सामने आया है. दाह संस्कार के तीसरे दिन परिजन जब अस्थियां उठाने शमशान घाट पहुंचे तो उस जगह पर अस्थियां (Bones) उन्हें नहीं मिली, जिससे परिवार वाले परेशान हो गए. थोड़ी ही देर बाद उन्हें पता चला कि उनके परिजन की अस्थियां कोई और अपने परिजन की अस्थियां समझकर ले जा चुका था. अस्थियों की अदला बदली का मामला सामने आने के बाद हड़कंप मच गया.
दरअसल कटनी के गायत्री नगर में रहने वाले यादव परिवार में राजू यादव नाम के व्यक्ति की 25 तारीख को मृत्यु हो गई थी. जिनका दाह संस्कार परिजनों ने नदीपार स्थित मुक्तिधाम में किया था. मुक्तिघाम में दाह संस्कार के लिए अलग-अलग खंड बनाए गए हैं. राजू यादव की चिता तीन नंबर खंड में जलाई गई थी. आज मृतक राजू के परिजन उसकी अस्थियां लेने मुक्तिधाम पहुंचे थे लेकिन उस जगह पर उसकी अस्थियां न मिलने से परिजन हैरान हो गए.
नहीं तो हो अस्थियां हो जाती विसर्जित
जब परिवार वालों ने पता किया तब मालूम पड़ा कि दो नंबर वाले खंड में जिनका दाह संस्कार किया गया था, उनकी अस्थियां अभी भी रखी है. उनके परिजन धोखे से तीन नंबर खंड की अस्थियां उठाकर जबलपुर नर्मदा जी में विसर्जन करने ले गए हैं. यादव परिवार के लोगों ने किसी तरह उनसे संपर्क कर उन्हें जानकारी दी. बताया जाता है कि अस्थियां अभी नर्मदा जी में विसर्जन नहीं हो पाई थी. जिसके बाद अब अस्थियों को वापस बुलाया गया है.
श्मशान घाट पर दिखी लापरवाही
अस्थियां अदला-बदली का मामला तो फोन पर सुलझ गया लेकिन श्मशान घाट पर घोर लापरवाही देखने को मिली है. वहां मौजूद लोगों ने एक लावारिस पड़ी अस्थियां भी दिखाई. इस बारे में जब चौकीदार से पूछा गया तो वो बोला कि पता नहीं कैसे हुआ है. मुझे इस बारे में कई जानकारी नहीं है. वहीं परिजनों ने शिकायत की है, कि यहां एक एंट्री नहीं होती है