Gun That Can Panetrate Bulletproof Vest and Glass: डीआरडीओ द्वारा बनाई गई यह कार्बाइन इतनी पावरफुल है कि 100 मीटर की दूरी पर बुलेटप्रूफ जैकेट पहने इंसान को भी आसानी से ढ़ेर सकती है.
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Gun That Can Panetrate Bulletproof Vest and Glass: आपने आज तक कई तरह की बंदूकों के बारे में सुना होगा. टेक्नोलॉजी के युग में आप यह भी जानते होंगे कि दुनिया भर में आज एक से बढ़कर एक बंदूक बनाई जा चुकी है, जिसकी मारक क्षमता इतनी है कि कोसों दूर बैठे दुश्मन को भी निशाना बनाया जा सकता है. इसी क्रम में इससे बचने के लिए दुनियाभर में कई तरह से बुलेटप्रूफ जैकेट बनाए गए हैं. युद्ध के मैदान में या फिर पुलिस द्वारा किए जा रहे किसी ऑपरेशन में पुलिसकर्मी बुलेटप्रूफ जैकेट का इस्तेमाल करते हैं, ताकि गोली लगने पर भी उनकी जान कोई खतरा ना हो.
वहीं पुलिस, सेना और वीआईपी (VIP) लोगों, जैसे- राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री की गाडियों में बुलेटप्रूफ शीशे लगे होते हैं, जो गालियों के वार को भी झेल जाते हैं, जिससे इन लोगों तक एक भी बुलेट नहीं पहुंचती और इनकी जान की कोई खतरा नहीं होता.
तो यह है वह खास बंदूक
हालांकि, आज हम आपको भारत में ही बनीं एक ऐसी बंदूक के बारे में बताएंगे, जिससे चली गोली किसी भी बुलेटप्रूफ जैकेट को भेद सकती है. इसका वार इतना तेज है कि यह बुलेटप्रूफ शीशे को भी भेद सकती है. दरअसल, हम बात कर रहे हैं, कानपुर में स्थित स्मॉल आर्म्स फैक्ट्री (SAF) में बनीं जॉइंट वेंचर प्रोजेक्टिव कार्बाइन (Joint Venture Projective Carbine) की. यह 5.56 गुणा 30 एमएम कार्बाइन इतनी पावरफुल है कि 100 मीटर की दूरी पर बुलेटप्रूफ जैकेट पहने इंसान को भी आसानी से ढ़ेर सकती है. यहां तक कि सॉफ्ट आर्मर की 23 लेयर बुलेटप्रूफ जैकेट को भेदने में भी यह कार्बाइन सक्षम है.
एक मिनट में करती है 800 राउंड फायरिंग
इस कार्बाइन का वजन करीब 3 किलोग्राम के बराबर है. यह कार्बाइन पहने बनने वाली कार्बाइन से काफी एडवांस है. इस डिफेंस रिसर्च एंड डेवलपमेंट ऑर्गेनाइजेशन (DRDO) द्वारा तैयार किया गया है. बता दें कि यह कार्बाइन एक मिनट में 800 राउंड फायरिंग कर सकती है. इसमें 30 राउंड की मैगजीन लगती है, जो पूरी तरह से स्टील की बनीं होती है. यह कार्बाइन साढ़े तीन मिलीमीटर मोटी माइल्ड स्टील को भी 100 मीटर की दूरी से भेद सकती है.
एक हाथ से भी कर सकते हैं फायरिंग
इस कार्बाइन की खास बात यह है कि लगातार गोलीबारी के दौरान इसे आराम से संभाला जा सकता है और साथ ही इसे लेकर एक हाथ से फायरिंग भी की जा सकती है. कम रेंज के ऑपरेशंस के लिए यह एक खास कैलिबर हथियार है.