Shani Vakri 2023: सावन में वक्री शनि को इस तरह करें प्रसन्न, खुशियों से भर देंगे झोली; हर मनोकामना होगी पूरी
Advertisement
trendingNow11773261

Shani Vakri 2023: सावन में वक्री शनि को इस तरह करें प्रसन्न, खुशियों से भर देंगे झोली; हर मनोकामना होगी पूरी

Shani Vakri Meaning: शनि देव को कामचोरी बिल्कुल भी नहीं पसंद है, इसलिए उनकी वक्री चाल के दौरान आप लोगों को अपने कार्यस्थल पर मेहनत से काम करना होगा. अब मेहनत करने के लिए आलस्य को दूर भगाना होगा. शनि देव आलसी लोगों से नाराज रहते हैं.

VAKRI SHANI

Shani Vakri Impact: न्याय के देवता शनि महाराज यूं तो स्वभाव से कुछ कठोर हैं, क्योंकि यदि न्यायाधीश किसी मुकदमे में फैसला सुनाते समय बहुत अधिक भावनात्मक हो जाए तो निष्पक्ष न्याय नहीं कर पाएंगे. शनि देव की सजा कभी भी किसी को परेशान करने के लिए नहीं, बल्कि सुधारने के लिए होती है. शनि देव 17 जून से वक्री हो गए हैं अर्थात उलटे चलने लगे हैं और यह स्थिति 4 नवंबर तक रहने वाली है. ऐसी स्थिति में वह और भी क्रूर हो जाएंगे जिसके कारण कुछ राशि के लोगों को इस बात का बहुत ही ध्यान रखना चाहिए. उन्हें पता होना चाहिए कि शनि देव किन कामों को पसंद करते हैं और किन कामों को लेकर वह कुपित भी हो सकते हैं. 

शनि देव को कामचोरी बिल्कुल भी नहीं पसंद है, इसलिए उनकी वक्री चाल के दौरान आप लोगों को अपने कार्यस्थल पर मेहनत से काम करना होगा. अब मेहनत करने के लिए आलस्य को दूर भगाना होगा. शनि देव आलसी लोगों से नाराज रहते हैं. शनि देव को ईगो भी नहीं पसंद है. आप अच्छे हैं, मेहनत से कार्य करते हैं, संस्थान में बड़े अधिकारी या बड़े बिजनेसमैन हैं तो इसमें घमंड करने की क्या जरूरत है. आपको ईगोलेस होकर रहना चाहिए. अपने अधीन कार्य करने वाले कर्मचारियों, अपने सबऑर्डिनेट स्टाफ से कभी भी बदतमीजी से बात न करें.

आपके ऑफिस में जो चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी हैं, उनका सम्मान करना चाहिए. उनसे काम लेने के समय भी विनम्र होकर बात करनी चाहिए और संभव हो तो उन्हें कोई गिफ्ट भी लाकर दें. 

इस दौरान आपको अपने शरीर की मसाज करानी चाहिए. अपने भोजन में मोटे अनाज की मात्रा को बढ़ा देना चाहिए. ऐसा भोजन करने वाले शनि देव के प्रिय होते हैं. आपको अपने पैरों की खास केयर करनी चाहिए और यदि आप कोई वाहन चला रहे हैं तो संभल कर ही चलाना चाहिए. शनि देव शिवभक्तों से हमेशा प्रसन्न रहते हैं, इसलिए शिवजी की उपासना करें और पूरे सावन किसी मंदिर में जाकर शिवलिंग का जलाभिषेक करें.

Lord Krishna: श्रीकृष्ण के इस रूप की पूजा करने से मिलता है लाभ, धन-भौतिक संसाधनों में होती है वृद्धि
Lord Shiva: कौन थे ब्रह्मा जी और विष्णु जी के गुरु? जानें गुरु दक्षिणा के समय क्या दिया

 

Trending news