British Economy: वित्त मंत्री जेरमी हंट ने सरकार के इमरजेंसी बजट का खुलासा किया है जिसमें टैक्स की दरों में बड़ी बढ़ोतरी की गई है. ब्रिटेन में महंगाई काबू में आने का नाम नहीं ले रही है. यही वजह है कि टैक्स दरों बढ़ाया गया है.
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Rishi Sunak News: ब्रिटेन आर्थिक मोर्च पर संघर्ष कर रहा है. उसकी अर्थव्यवस्था सिकुड़ती जा रही है. इस बीच प्रधानमंत्री ऋषि सुनक ने आर्थिक मंदी को दूर करने के लिए कई कदम उठाने की घोषणा की है. ब्रिटिश सरकार ने 55000 करोड़ पाउंड का फिस्कल प्लान पेश करने किया है.
वित्त मंत्री जेरमी हंट ने सरकार के इमरजेंसी बजट का खुलासा किया है जिसमें टैक्स की दरों में बड़ी बढ़ोतरी की गई है. ब्रिटेन में महंगाई काबू में आने का नाम नहीं ले रही है. यही वजह है कि टैक्स दरों बढ़ाया गया है. वित्त मंत्री हाउस ऑफ कॉमन्स में ऑटम स्टेटमेंट पेश किया, जिसका समर्थन प्रधानमंत्री ने किया.
बजट की प्रमुख घोषणाएं
-एनर्जी कंपनियों पर विंडफॉल टैक्स को बढ़ाया गया है. इसे 25% से 35% कर दिया गया है.
-इलेक्ट्रिक जेनरेटर पर 45 फीसदी का अस्थाई टैक्स लगाया गया है.
-सवा लाख पाउंड सालाना कमाने वाले लोग भी अब टॉप टैक्स के दायरे में आएंगे.
-इलेक्ट्रिक गाड़ियों पर 2025 से एक्साइज ड्यूटी नहीं लगेगी.
बजट के साथ पेश की गई स्वतंत्र इकाई ओबीआर (ऑफिस फॉर बजट रिस्पॉनसिबलिटी) की रिपोर्ट बताती है कि एनर्जी की कीमतों में भारी इजाफे के लिए रूस और यूक्रेन की जंग जिम्मदार है. रिपोर्ट के मुताबिक 2024 तक अर्थव्यस्था में सुधार की उम्मीद नहीं दिखती है.
ब्रिटेन में महंगाई ने तोड़ा रिकॉर्ड
बता दें ब्रिटेन में महंगाई ने 41 साल का रिकॉर्ड तोड़ दिया है. ताजा आंकड़ों के मुताबिक अक्टूबर 2022 के दौरान ब्रिटेन में खुदरा महंगाई बढ़कर 11.1 फीसदी हो चुकी है, जो 1981 से अब तक का सबसे ऊंचा स्तर है.
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