Paris Olympics 2024: पेरिस ओलंपिक गेम्स में दो ब्रॉन्ज मेडल जीतकर इतिहास रचने वाली निशानेबाज मनु भाकर रविवार 11 अगस्त को होने वाली क्लोजिंग सेरेमनी में भारत की ध्वजवाहक होंगी. मनु भाकर ने 10 मीटर एयर पिस्टल में ब्रॉन्ज मेडल जीतकर पेरिस ओलंपिक 2024 में भारत का खाता खोला था.
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Paris Olympics 2024: पेरिस ओलंपिक गेम्स में दो ब्रॉन्ज मेडल जीतकर इतिहास रचने वाली निशानेबाज मनु भाकर रविवार 11 अगस्त को होने वाली क्लोजिंग सेरेमनी में भारत की ध्वजवाहक होंगी. मनु भाकर ने 10 मीटर एयर पिस्टल में ब्रॉन्ज मेडल जीतकर पेरिस ओलंपिक 2024 में भारत का खाता खोला था. इस तरह से वह ओलंपिक में पदक जीतने वाली पहली भारतीय निशानेबाज बनी थी. मनु भाकर ने इसके बाद सरबजोत सिंह के साथ मिलकर 10 मीटर एयर पिस्टल में मिक्स्ड टीम का ब्रॉन्ज मेडल भी जीता.
मनु भाकर के लिए आई 'विराट खुशखबरी'
भारतीय ओलंपिक संघ के एक अधिकारी ने कहा, ‘मनु भाकर को ध्वजवाहक के रूप में चुना गया है. उन्होंने बेजोड़ प्रदर्शन किया और वह इसकी हकदार हैं.’ हरियाणा की इस 22 वर्षीय निशानेबाज ने इससे पहले कहा था कि भारत का ध्वजवाहक बनना सम्मान की बात होगी. मनु ने कहा था,‘भारतीय दल में कई ऐसे खिलाड़ी हैं जो अधिक हकदार हैं, लेकिन अगर मुझे ऐसा करने के लिए कहा जाता है तो यह वास्तविक सम्मान होगा.’ भारतीय ओलंपिक संघ ने अभी तक पुरुष ध्वजवाहक के नाम की घोषणा नहीं की है.
पेरिस ओलंपिक में मनु भाकर ने रचा इतिहास
मनु भाकर ने एक ही ओलंपिक में दो मेडल जीतकर इतिहास रच दिया. मनु भाकर ने पेरिस ओलंपिक गेम्स 2024 में निशानेबाजी की स्पर्धा में दो ब्रॉन्ज मेडल जीते हैं. आजादी के बाद मनु भाकर एक ही ओलंपिक में 2 मेडल जीतने वाली पहली भारतीय हैं. इससे पहले किसी भी पुरुष या महिला एथलिट ने एक ही ओलंपिक में दो मेडल नहीं जीते हैं. आजादी से पहले ब्रिटिश मूल के भारतीय खिलाड़ी नॉर्मन प्रिचार्ड ने 1900 ओलंपिक में 200 मीटर फर्राटा और 200 मीटर बाधा दौड़ में सिल्वर मेडल जीते थे. नॉर्मन प्रिचार्ड ने आजादी से पहले एक ही ओलंपिक में 2 मेडल जीतने का रिकॉर्ड बनाया था.
झज्जर जिले की रहने वाली हैं मनु
मनु भाकर का हरियाणा से गहरा नाता है. 18 फरवरी 2002 को मनु भाकर का जन्म हरियाणा के झज्जर जिले के गोरिया गांव में हुआ था. बचपन में शूटिंग से पहले मनु भाकर को बॉक्सिंग, स्केटिंग, एथलेटिक्स, टेनिस और जूडो कराटे जैसे दूसरे स्पोर्ट्स में भी इंटरेस्ट था. मनु भाकर की सफलता में उनके माता-पिता और उनके कोच जसपाल राणा का बहुत बड़ा योगदान रहा है. मनु भाकर के पिता राम किशन भाकर मर्चेंट नेवी में चीफ इंजीनियर के पद पर कार्यरत थे. मनु भाकर की मां स्कूल में प्रिंसिपल हैं.