GDP Growth में आएगी गिरावट, 4.6 फीसदी रहने का अनुमान, SBI ने जारी की रिपोर्ट
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GDP Growth में आएगी गिरावट, 4.6 फीसदी रहने का अनुमान, SBI ने जारी की रिपोर्ट

Economic Growth Rate: देश की जीडीपी ग्रोथ (GDP Growth) को लेकर इकोनॉमिस्ट की तरफ से डाटा जारी किया गया है. भारतीय स्टेट बैंक (SBI) के अर्थशास्त्रियों ने दिसंबर तिमाही में जीडीपी ग्रोथ दर 4.6 फीसदी रहने का अनुमान जताया है. 

GDP Growth में आएगी गिरावट, 4.6 फीसदी रहने का अनुमान, SBI ने जारी की रिपोर्ट

GDP Growth Rate: देश की जीडीपी ग्रोथ (GDP Growth) को लेकर इकोनॉमिस्ट की तरफ से डाटा जारी किया गया है. भारतीय स्टेट बैंक (SBI) के अर्थशास्त्रियों ने दिसंबर तिमाही में जीडीपी ग्रोथ दर 4.6 फीसदी रहने का अनुमान जताया है. उनका कहना है कि 30 महत्वपूर्ण आंकड़ों के जो संकेत हैं, वे उतने मजबूत नहीं है जितने पिछली तिमाही में थे. हालांकि, यह अनुमान आरबीआई के 4.4 फीसदी की वृद्धि दर के अनुमान से ज्यादा है.

कंपनियों के रिजल्ट का दिखा असर
आर्थिक वृद्धि दर अनुमान में कमी का कारण कंपनियों का तिमाही परिणाम अच्छा नहीं होना है. बैंक, वित्तीय सेवा और बीमा कंपनियों को छोड़कर अन्य कंपनियों का परिचालन लाभ अपेक्षाकृत धीमी नौ फीसदी की दर से बढ़ा है. यह पिछले साल के 18 फीसदी की तुलना में आधा है.

पूरे वित्त वर्ष में 7 फीसदी की दर से होगी ग्रोथ
एसबीआई समूह में मुख्य आर्थिक सलाहकार सौम्यकांति घोष ने रिपोर्ट में कहा कि शुद्ध बिक्री में 15 फीसदी की वृद्धि के बावजूद मुनाफे में करीब 16 फीसदी की कमी आई है. घोष ने कहा कि पूरे वित्त वर्ष 2022-23 में वृद्धि दर सात फीसदी रहने की संभावना है जो पूर्व के 6.8 फीसदी के अनुमान से अधिक है.

28 फरवरी को आंकड़ों में हो सकता है संशोधन
बता दें सरकार की तरफ से 28 फरवरी को वित्त वर्ष 2019-20, 2020-21 और 2021-22 के लिये जीडीपी आंकड़ों में संशोधन का अनुमान है. इसके अलावा, 2019-20, 2020-21, 2021-22 के तिमाही आंकड़ों में भी संशोधन का अनुमान है. वित्त वर्ष 2022-23 की पहली और दूसरी तिमाही में भी जीडीपी वृद्धि दर के आंकड़े संशोधित किये जाने की संभावना है.

इंडिया रेटिंग्स का क्या है अनुमान?
रिपार्ट के मुताबिक, ऐसा लगता है कि कच्चे माल की ऊंची लागत के कारण कंपनियों के मार्जिन पर दबाव है. यह वित्तीय सेवा कंपनियों को छोड़कर करीब 3,000 लिस्टेड कंपनियों के परिणाम से पता चलता है. वित्त वर्ष 2022-23 की तीसरी तिमाही में मार्जिन घटकर 11.9 फीसदी रहा, जो वित्त वर्ष 2021-22 की तीसरी तिमाही में 15.3 फीसदी था. इससे तीसरी तिमाही में विनिर्माण क्षेत्र में वृद्धि दर कम हो सकती है. इस बीच, इंडिया रेटिंग्स ने रिपोर्ट में कहा गया है कि जीडीपी वृद्धि दर 2023-24 में 5.9 फीसदी रहने का अनुमान है जो ज्यादातर अनुमान के मुकाबले कम है.

इनपुट - एजेंसी

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