पोलैंड में प्रदर्शनकारियों ने सोमवार को द्वितीय विश्व युद्ध में जान गंवाने वाले, रेड आर्मी के जवानों को श्रद्धांजलि देने के लिए वारसॉ के एक कब्रिस्तान पहुंचे रूसी राजदूत सर्गेई एंड्रीव पर लाल रंग का पेंट फेंक दिया. सर्गेई एंड्रीव कब्रिस्तान में तत्कालीन सोवियत संघ के सैनिकों को पुष्पांजलि देने पहुंचे थे, जहां यूक्रेन में रूस के युद्ध का विरोध कर रहे प्रदर्शनकारियों का एक गुट उनका इंतजार कर रहा था. पेंट फेंके जान के बाद रूसी राजदूत सर्गेई एंड्रीव की तस्वीरें सोशल मीडिया पर वायरल हो गईं.
तस्वीरों में प्रदर्शनकारियों को रूसी राजदूत सर्गेई एंड्रीव पर पीछे से लाल पेंट फेंकते हुए देखा जा सकता है. यूक्रेन का झंडा थामे प्रदर्शनकारियों ने रूसी राजदूत और रूसी प्रतिनिधिमंडल के अन्य सदस्यों को कब्रिस्तान में पुष्पांजलि देने करने से रोका. कुछ प्रदर्शनकारी यूक्रेन पर रूस के हमले के शिकार हुए लोगों के लिए एकजुटता दिखाते हुए, खून के धब्बों वाली सफेद चादरें लपेटे हुए थे. उन्होंने रूसी राजदूत सर्गेई एंड्रीव के सामने ‘फासीवादी’ और अन्य नारे लगाए.
गौरतलब है कि रूसी राजदूत सर्गेई एंड्रीव रूसी प्रतिनिधिमंडल के साथ कब्रिस्तान पहुंचे था. उनके अलावा रूसी प्रतिनिधिमंडल के अन्य सदस्यों पर भी लाल पेंट फेंका गया. कब्रिस्तान से सुरक्षित बाहर निकलने में रूसी राजदूत और उनके प्रतिनिधिमंडल के अन्य सदस्यों की मदद करने के लिए पोलैंड पुलिस को वहां बुलाना पड़ा. इस दौरान प्रदर्शनकारी नारेबाजी करते रहे.
जान लें कि रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने 1945 में नाजी जर्मनी की हार में तत्कालीन सोवियत संघ की भूमिका को बताते हुए विक्ट्री डे के मौके का इस्तेमाल सोमवार को यूक्रेन में अपने युद्ध को एक बार फिर सही ठहराने के लिए किया. हालांकि उन्होंने किसी भी तरह की जीत की घोषणा नहीं की और यह संकेत भी नहीं दिया कि यह जंग किस दिशा में जा रही है. पुतिन ने मॉस्को के रेड स्क्वायर पर विक्ट्री डे की एक परेड का निरीक्षण किया, जिसमें सैनिकों ने मार्च किया और हथियारों का प्रदर्शन किया.
विक्ट्री डे पर अपने संबोधन में पुतिन ने यूक्रेन समेत पूर्व की ओर नाटो के धीरे-धीरे बढ़ते कदमों पर नाराजगी जताई और यूक्रेन पर रूस के हमले को उचित ठहराने की कोशिश की. यूक्रेन के नेताओं और उनके पश्चिमी समर्थकों ने अक्सर इन दावों का खंडन किया है कि कीव या नाटो से रूस को किसी तरह का खतरा है. लेकिन अगर स्वीडन और फिनलैंड पश्चिमी देशों के गठबंधन में शामिल होने का फैसला करते हैं तो तनाव और बढ़ सकता है. पुतिन ने कहा, ‘हर दिन खतरा बढ़ रहा है. रूस ने हमले को लेकर पहले ही कार्रवाई की है. यह रूस ने अपनी सुरक्षा के मद्देनजर किया.’
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