London Murder: 30 साल पहले चाकू से 140 बार गोदा था, 1 बाल की वजह से गया पकड़ा; सन्न कर देगी ये मर्डर मिस्ट्री
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London Murder: 30 साल पहले चाकू से 140 बार गोदा था, 1 बाल की वजह से गया पकड़ा; सन्न कर देगी ये मर्डर मिस्ट्री

Crime news: कानून की देवी की आंखों पर पट्टी बंधी हो लेकिन कानून के हाथ लंबे होते हैं. जुर्म कितनी ही सफाई से क्यों न किया गया हो. गुनहगार एक दिन जरूर पकड़ा जाता है. अपराधी सबूत मिटाकर छुप सकता है, लेकिन गुनाह की सजा भुगतने से बच नहीं सकता. लंदन में हुई एक महिला के कत्ल की कहानी आपका दिमाग सन्न कर देगी.  

London Murder: 30 साल पहले चाकू से 140 बार गोदा था, 1 बाल की वजह से गया पकड़ा; सन्न कर देगी ये मर्डर मिस्ट्री

Marina Koppel murder Sandip Patel: आपने TV सीरियल्स, फिल्मों या OTT पर एक से बढ़कर एक क्राइम सीरीज देखी होंगी. हॉलीवुड-बॉलीवुड मूवी हो या मोबाइल पर मौजूद ऐप, थ्रिलर देखने के शौकीन रहस्य और रोमांच का तड़का लगी कहानियां मिस नहीं करते हैं. इसी तरह अपराध जगत (Crime world) और फॉरेंसिंक साइंस में दिलचस्पी रखने वाले भी करियर के मुताबिक अजब-गजब कहानियां खंगालते रहते हैं. आज आपको जिस मर्डर मिस्ट्री के बारे में बताने जा रहे हैं वो एक केस स्टडी है. यूके (UK) के लंदन में रहने वाली मरीना कोप्पेल का बड़ी बेरहमी से कत्ल (Marina Koppel murder) हुआ था. इस मर्डर मिस्ट्री का खुलासा आखिरकार 30 साल बाद कैसे हुआ ये जानकर आपका दिमाग सन्न हो जाएगा. 

बेरहमी से 140 बार चाकू से था गोदा

अगर आपकी दिलचस्पी अपराध जगत की खबरों में है तो ये स्टोरी आपके लिए ही है. साल 1994 में मरीना का कत्ल हुआ. मरीना लंदन के एक फ्लैट में अकेली रहती थीं. वो हर वीकेंड पर अपने हसबैंड डेविड कोप्पेल से मिलने नॉर्थम्प्टन स्थित उनके घर जाती थी. जब एक वीकेंड पर वो डेविड के पास नहीं पहुंची तो उसने लैंड लाइन पर कई फोन किए. घंटो तक कोई रेस्पॉन्स नहीं मिला तो तब डेविड नॉर्थम्प्टन से लंदन की करीब 100 किमी से अधिक दूरी तय करते हुए जैसे तैसे घर पहुंचे तो उनके होश उड़ गए. पत्नी के फोन न उठाने की वजह से वो पहले से परेशान थे. डेविड ने मरीना को ड्राइंग रूम पर मृत पाया. पोस्टमार्टम हुआ तो पता चला कि कातिल ने मरीना पर चाकू से एक के बाद एक ताबड़तोड़ 140 वार करते हुए उसका शरीर बुरी तरह गोद दिया था. ज्यादा खून बहने और गहरे घावों की वजह से उसकी मौके पर मौत हो गई थी.

सुराग मिला लेकिन तब वो बच गया था

हत्याकांड की जांच के दौरान पुलिस को मरीना के घर से एक प्लास्टिक का शॉपिंग बैग मिला. उस पर ब्रिटिश इंडियन संदीप पटेल नाम के युवक की उंगलियों के निशान थे. संदीप जिस दुकान पर काम करता था, बैग वहीं से खरीदा गया था. संदीप तब 21 साल का था. उससे पूछताछ हुई उसने कहा कि बैग उसी ने दिखाया था. इसलिए इन्वेस्टिगेशन ऑफिसर ने फिंगर प्रिंट्स को महत्वपूर्ण सबूत नहीं माना और संदेह का लाभ देते हुए उसे छोड़ दिया. पुलिस सख्ती करती तो शायद  ये केस उसी वक्त सुलझ जाता. लेकिन पुलिस ने तो उसे जांच के रडार से बाहर कर दिया. इसलिए वो बच गया. कुछ समय बाद मर्डर की फाइल पुलिस के रिकॉर्ड रूम में धूल फांकने लगी.

1 बाल की वजह से पकड़ा गया कातिल

मामला ठंडे बस्ते में चला गया और साल 2008 तक इसे भुला दिया गया. अचानक एक दिन पुलिस ने सबूतों की दोबारा जांच की और मृतका मरीना की अंगूठी पर बाल दिखा. लेकिन उस समय तक डीएनए की तकनीक इतनी अच्छी नहीं थी कि एक बाल से कातिल की प्रोफाइल का कोई अंदाजा लगाया जा सके. मामला 14 साल तक और खिंचा आखिरकार अंगूठी में मिले उसी बाल ने साल 2022 में पटेल को हत्यारा साबित कर दिया. दो साल तक फैसला रिजर्व रहा. आखिरकार पिछले महीने पटेल को उम्रकैद की सजा सुनाई गई थी. 

बाद में सख्ती से पूछताछ हुई तो डेविट टूट गया और उसने भी अपना गुनाह कबूल कर लिया. अब उसे उम्र कैद की सजा सुनाई गई है. 

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