South Africa News: अफ्रीकी देश कांगो का एक वीडियो वायरल (Congo Viral Video) हो रहा है जिसमें दावा किया जा रहा कि चट्टानों की टक्कर इतनी बिजली कर सकती है कि पूरे इलाके को रोशन कर दे. आप भी इस वीडियो को देखकर हैरान रह जाएंगे.
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Electricity being generated from rocks: इतिहास की किताबों में आपने पढ़ा होगा कि प्राचीन काल में पत्थरों की रगड़ से आग पैदा की जाती थी. आज माचिस होने के बावजूद देश में आज भी कई जगह हवन की अग्नि प्रज्जवलित करने के लिए सदियों पुराना तरीका अपनाया जाता है. यज्ञ के लिए लकड़ी के बने यंत्र से आग उत्पन्न करने के लिए जिस यंत्र का इस्तेमाल करते हैं उसे अरणी कहा जाता है. भारत में पहले हर काम के लिए आग जलाने के लिए यही तरीका अपनाया जाता था. हाल ही में बागेश्वर धाम (Bageshwar Dham) के आचार्य धीरेंद्र शास्त्री (Dhirendra Shastri) ने भी इसी पद्धति के जरिए अग्नि की ज्वाला प्रज्वलित की तो उसकी चर्चा भी देशभर में हुई थी. आवश्यकता अविष्कार की जननी है ऐसी कहावतों के बीच अफ्रीका महाद्वीप के एक देश कांगो में अजीबोगरीब दावा किया जा रहा है.
पत्थरों से आग नहीं पैदा हो रही बिजली
लोगों का दावा कि अफ्रीका में पाई जाने वाली चट्टानें बिजली पैदा कर सकती हैं. वह भी इतनी कि आप उससे बल्ब जलाने के साथ पूरे अफ्रीका महाद्वीप के हर देश की बिजली की समस्या दूर कर सकते हैं. पर क्या होना वाकई संभव है? एक्सपर्ट की राय जानने से पहले देखिए वो Video.
Electrically charged stones discovered in the Democratic republic of Congo, now more trouble coming, cry my beloved Africa. pic.twitter.com/6aa6Iz2sSp
— Daniel Marven (@danielmarven) January 21, 2023
तो देखा आपने कैसे इस वीडियो के जरिए एक चट्टान के दो पत्थरों की रगड़ से तेज बिजली पैदा होने की बात पूरी दुनिया में वायरल हो रही है. अलग-अलग अकाउंट्स से शेयर हो रहे इस वीडियो को कई करोड़ व्यूज़ मिल चुके हैं. इसके बाद बात निकली तो दूर तक गई और मामला दुनिया के कुछ वैज्ञानिकों के संज्ञान में लाया गया.
फैक्ट चेक में क्या निकला?
बीबीसी में प्रकाशित एक रिपोर्ट के मुताबिक इस वीडियो को देखकर वैज्ञानिकों ने इस तरह से बिजली का प्रोडक्शन होने से इनकार कर दिया. इसी तरह एडिनबर्ग यूनिवर्सिटी के स्कूल ऑफ जियोसाइंसेस के प्रोफेसर स्टुअर्ट का कहना है कि, उन्हें शक है कि चट्टानों की टक्कर से इतनी बिजली पैदा हो सके कि उससे घर की सारी जरूरतें पूरी हो सकें.
उन्होंने ये भी कहा,' जिन चट्टानों से चिंगारी निकल रही है उसे जो लोग पकड़े हुए हैं. उनके हाथों में दस्ताने हैं. हो सकता है कि उसमें कुछ छिपा हो. मेटेलिक उत्पाद गुड कंडक्टर होते हैं और हो सकता है कि दस्ताने से जो बिजली दी जा रही हो वही चिंगारी के रूप में दिख रही हो.' चूंकि कांगो के इस इलाके में लीथियम का भंडार छिपा है इसलिए इन पत्थरों की रगड़ से बिजली पैदा होने का दावे को कुछ लोग सच्चाई मान रहे हैं. जबकि फैक्ट चेक में इसकी पुष्टि नहीं हुई है.
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