पुतिन ने उड़ाए सारे दुश्मनों के होश, क्या होगी रूस की अगली चाल? दुनिया में मची खलबली
Advertisement
trendingNow11772546

पुतिन ने उड़ाए सारे दुश्मनों के होश, क्या होगी रूस की अगली चाल? दुनिया में मची खलबली

Russia News: रूस में वैगनर ग्रुप की खिलाफत के बाद राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन पहले से ज्यादा सक्रिय हो गए हैं. दुश्मनों की हर चाल को नाकाम करने के लिए पुतिन का सीक्रेट प्लान अंदरखाने काम कर रहा है. जिसके बारे में किसी को कानों-कान खबर नहीं लग रही.

पुतिन ने उड़ाए सारे दुश्मनों के होश, क्या होगी रूस की अगली चाल? दुनिया में मची खलबली

Russia News: रूस में वैगनर ग्रुप की खिलाफत के बाद राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन पहले से ज्यादा सक्रिय हो गए हैं. दुश्मनों की हर चाल को नाकाम करने के लिए पुतिन का सीक्रेट प्लान अंदरखाने काम कर रहा है. जिसके बारे में किसी को कानों-कान खबर नहीं लग रही. वैगनर ग्रुप के विद्रोह के बाद अमेरिका और यूरोप भी अलर्ट मोड में आ गए हैं. इस पूरे घटनाक्रम में बेलारूस अब काफी चर्चा में है.

पश्चिम देशों का मानना है कि बेलारूस, वैगनर ग्रुप को अपने यहां शरण दे सकता है. इतना ही नहीं बेलारूस फिर रूसी परमाणु हथियारों का ठिकाना बन सकता है. इस बारे में अभी तक कोई पुष्टि नहीं हुई है. इस बीच वैगनर ग्रुप के विद्रोह के बाद यह सामने आ रहा है कि बेलारूस की राजधानी मिन्स्क में एक नया सैन्य शिविर तैयार किया गया है. इससे एक बात साफ हो गई है कि वैगनर ग्रुप भारी संख्याबल के साथ बेलारूस नहीं पहुंचा.

लेकिन अभी तक, अमेरिकी और यूरोपीय अधिकारियों को स्पष्ट संकेत नहीं दिखे हैं कि कोई भी परिदृश्य सामने आ रहा है. जबकि अधिकारी दक्षिणी रूस में विद्रोह के बाद मिन्स्क के बाहर उभरे एक स्पष्ट सैन्य शिविर की बारीकी से निगरानी कर रहे हैं, वैगनर सैनिक सामूहिक रूप से देश में नहीं आए हैं.

बेलारूसी राष्ट्रपति अलेक्जेंडर लुकाशेंको ने गुरुवार को कहा, "ऐसा हो सकता है कि वैगनर पीएमसी यहां स्थानांतरित न होने का फैसला करे." वैगनर नेता येवगेनी प्रिगोझिन बेलारूस में भी नहीं हैं, लुकाशेंको ने सीएनएन को बताया - वह रूस में हैं.

और जबकि रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने पिछले महीने कहा था कि बेलारूस में सामरिक परमाणु हथियारों को संग्रहीत करने के लिए आवश्यक सुविधाएं 7 जुलाई तक तैयार हो जाएंगी. जबकि पश्चिमी अधिकारियों को इसका कोई संकेत नहीं मिला है. अधिकारियों ने कहा कि बेलारूस के पास अभी भी हथियारों को रखने के लिए उचित बुनियादी ढांचा नहीं है और तकनीकी रूप से ऐसा करने में कई महीने लगेंगे.

सैटेलाइट इमेज से भी किसी तैयारी और सुरक्षा का कोई संकेत नहीं दिखा है जो रूसी परमाणु सुविधा में मानक होगा. फेडरेशन ऑफ अमेरिकन साइंटिस्ट्स के अनुसार, रूस के पास परमाणु हथियारों का दुनिया का सबसे बड़ा शस्त्रागार है, जिसमें लगभग 1,900 सामरिक परमाणु हथियारों सहित 4,477 तैनात और आरक्षित परमाणु हथियार हैं. यह स्पष्ट नहीं है कि रूस संभावित रूप से उनमें से कितने को बेलारूस में तैनात करने की योजना बना रहा है.

इस योजना को लेकर अमेरिका की चिंता बढ़ गई है. अमेरिका को चिंता यह है कि इन परमाणु हथियारों को वैगनर ग्रुप की निगरानी में न रखा जाए. ऐसा होने पर परमाणु हथियार गलत हाथों में होंगे. पश्चिम के खुफिया अधिकारियों ने अपना सारा तंत्र यह जानने के लिए खुला रखा है कि बेलारूस में रूस परमाणु हथियारों की रक्षा कैसे करेगा. ये सब पुतिन के फैसले पर निर्भर करता है और पुतिन ने अपने कदम के बारे में अभी तक कोई ठोस बयान नहीं दिया है.

Trending news