Mainpuri Byelection 2022: मैनपुरी लोकसभा सीट पर उपचुनाव को लेकर छिड़ा सियासी संग्राम दिलचस्प होता नजर आ रहा है. रूठे शिवपाल यादव को मानने के लिए अब सपा प्रत्याशी डिंपल यादव ने खुद मुलाकात की है और चुनाव में उनका सहयोग मांगा है.
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Mainpuri Byelection 2022: मैनपुरी का लोकसभा चुनाव हर दिन दिलचस्प होता जा रहा है. प्रसपा अध्यक्ष शिवपाल सिंह यादव नामांकन में नजर नहीं आए लेकिन उसके बावजूद भी उनका नाम स्टार प्रचारकों की सूची में शामिल किया गया है. अब डिंपल यादव ने शिवपाल यादव से मुलाकात कर सहयोग मांगा है. चाचा शिवपाल की चुप्पी उपचुनाव में भारी ना पड़े इसको लेकर डिंपल यादव ने खुद एक कदम आगे बढ़कर चाचा से मुलाकात कर आशीर्वाद लिया है और चुनाव का सहयोग मांगा है.
गौरतलब है कि मैनपुरी लोकसभा उपचुनाव में समाजवादी पार्टी में डिंपल यादव को चुनाव मैदान में उतारा है. उनका नामांकन कराने खुद अखिलेश यादव, रामगोपाल यादव, धर्मेंद्र यादव, पहुंचे थे लेकिन तस्वीरों से शिवपाल यादव गायब थे. यह कहा जा रहा है कि शिवपाल सिंह यादव के ही शिष्य रह चुके हैं रघुराज सिंह शाक्य जी ने बीजेपी ने अपना प्रत्याशी बनाया है हालांकि समाजवादी पार्टी ने मैनपुरी की किलेबंदी जोरदार तरीके से की है.
मैनपुरी लोकसभा उपचुनाव के लिए सैफई परिवार को जिम्मेदारी सौंपी गई. धर्मेंद्र यादव को विधानसभा मैनपुरी की जिम्मेदारी दी गई है जबकि तेजप्रताप यादव को किशनी विधानसभा की जिम्मेदारी दी गई है. इसके अलावा भोगांव, करहल और जसवंतनगर अभी रिक्त तीनों विधानसभाओं पर भी जल्द जिम्मेदारी सौंपी जाएगी. माना जा रहा है यहां शिवपाल यादव का साथ भी लिया जा सकता है. रामगोपाल यादव वार रूम की जिम्मेदारी संभाल रहे हैं लेकिन इन सबके बावजूद शिवपाल सिंह यादव के बगैर चुनावी ताकत हासिल करने में जो कठिनाई सामने आ रही है, उसे देखते हुए अब शिवपाल सिंह को मनाने की कोशिश हो रही है.
दूसरी तरफ बीजेपी भी हमला कर रही है कि रामपुर और आजमगढ़ के चुनाव में शिवपाल सिंह यादव को स्टार प्रचारक नहीं बनाया गया. अब समाजवादी पार्टी को हार का डर सता रहा है तो शिवपाल सिंह यादव की याद आ रही है. डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य और प्रदेश अध्यक्ष भाजपा चौधरी ने जमकर निशाना साधा और कहा कि अखिलेश यादव को यह याद रखना चाहिए कि उन्होंने शिवपाल सिंह यादव के साथ न्याय नहीं किया है. जिसका परिणाम उन्हें भुगतना पड़ेगा हालांकि उनका पारिवारिक मसला है. बीजेपी ने किलेबंदी शुरू कर दी है. उनका कहना है कि यह नेता जी की सीट थी लेकिन अब यह भाजपा की सीट होगी, यहां कमल खिलेगा और विकास होगा. बड़ी बात यह कि चुनाव का मास्टर कार्ड शिवपाल सिंह यादव के पास है. अब देखना होगा कि वह डिंपल के साथ चुनाव मैदान में जाते हैं या फिर मौन रह जाते हैं.