Malmas 2023: इस साल बहुत ही शुभ संयोग बन रहा है. सावन का छठा सोमवार और सावन की शिवरात्रि एक ही दिन पड़ रहे हैं. इस विशेष दिन ऐसे करें शिव पूजन.
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Adhik Maas Shivratri 2023: भगवान शिव की आराधना करने पर भक्तों की सभी मनोकामनाएं पूर्ण हो जाती हैं, शिव भक्तों के लिए सावन का महीना बहुत ख़ास होता हैं. सावन के पवित्र महीने में सोमवार का अत्यधिक महत्व होता है. हर सावन सोमवार के दिन भगवान शिव का अभिषेक और विशेष पूजा अर्चना की जाती है.अधिकमास के चलते इस साल सावन एक नहीं बल्कि दो महीनों का मनाया जा रहा है. इस बार 14 अगस्त को सावन महीने का छठा सोमवार और शिवरात्रि का शुभ संयोग बन रहा हैं. इस दिन विशेष कृपा पाने के लिए ऐसे करें पूजन.
शुभ मुहूर्त और महत्त्व
सावन शिवरात्रि का व्रत सुख, सौभाग्य और सफलता प्रदान करता है. इस दिन शिव पूजा से शनि दोष से भी मुक्ति मिलेगी. शिवरात्रि के दिन पूजा करने वाली कुंवारी कन्याओं को मनचाहे वर की प्राप्ति होती है. माना जाता है कि इस दिन विवाहित महिलाएं संतान प्राप्ति के लिए व्रत रखती हैं. शिव सबकी मनोकामनाओं को पूरा करते हैं. सावन सोमवार के दिन चतुर्दशी तिथि का आरंभ 14 अगस्त की सुबह 10 बजकर 26 मिनट पर होगा और अगले दिन 15 अगस्त 12 बजकर 43 मिनट तक चतुर्दशी तिथि रहेगी. इस दिन सर्वाद्ध सिद्ध योग 11 बजकर 7 मिनट से अगले दिन तक रहेगा.
घर पर ऐसे करें शिवरात्रि की पूजा
सबसे पहले शिवरात्रि के दिन सुबह जल्दी स्नानादि कर निवृत्त हो जाएं. उसके बाद घर के मंदिर में भोलेनाथ की पूजा-अर्चना करें और व्रत का संकल्प लें. पूजा की शुरुआत गणेश जी से करें और उसके बाद शिव जी का पूजन शुरू करें. शिव पूजन करते समय इस बात का विशेष ध्यान रखें कि आपका मुंह आपका मुख पूर्व या उत्तर दिशा की ओर होना चाहिए. शिवरात्रि का व्रत रखें और व्रत निराहार ही रखें, पूरे दिन में आप केवल दूध, फल या जूस का सेवन कर सकते हैं. शिवरात्रि के दिन कम से कम 108 बार ऊं नम: शिवाय मंत्र का जाप करें. शिवलिंग पर लाल रंग के फूल चढ़ाएं और दूध या जल से अभिषेक करें. इसके अलावा शिवलिंग पर बिल्वपत्र भी जरूर अर्पित करें. शिवलिंग पर दूध, दही, घी, शहद और शक्कर से अलग-अलग तथा सबको एक साथ मिलाकर पंचामृत से शिवलिंग को स्नान कराकर जल से अभिषेक करना चाहिए. इससे शिव बहुत प्रसन्न होते हैं.