Poachers killed tiger by hanging in Panna: मध्य प्रदेश के पन्ना में बाघ के शिकार का मामला सामने आया है. यहां जंगलों में एक टाइगर का शव फांसे के फंदे पर लटका मिली है. वन विभाग और पुलिस मामले की जांच में जुट गई है.
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Poachers killed tiger by hanging in Panna: पीयूष शुक्ला/पन्ना। मध्य प्रदेश कहने को टाइगर स्टेट है, लेकिन यहां लगातार बाघों के शिकार के साथ अगल-अलग हादसों में मौतों के मामले भी सामने आ रहे हैं. ताजा मामला पन्ना जिले से आया है. यहां शिकारियों में बाघ का शिकार कर लिया है. उनके तरीका बड़ा खतरनाक है, जिससे कोई भी कांप जाए. शिकारियों ने बाघ को मारकर फांसे के फंदे से लटका दिया. फिलहाल शव को नीचे उतारने के बाद वन विभाग और पुलिस ने जांच में ले लिया है.
2 साल बताई जा रही बाघ की उम्र
छतरपुर के वन संरक्षक संजीव झा ने शिकार की पुष्टि की है. उन्होंने बताया कि उत्तर वन मंडल पन्ना के विक्रमपुर के पास जंगल में यह दो वर्ष का नर बाघ मिला हैं. क्लच वायर के फांसी के फंदे में लटका हुआ था. बड़े ही क्रूरता के साथ उसका शिकार किया गया है.
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अधिकारियों का सतर्कता पर उठ रहे सवाल
ड्रोन, डॉग स्क्वायड, रेडियो कालर बेल्ट, खुफिया कैमरे के साथ सैकड़ों जमीनी कर्मचारी , उड़नदस्ता और सीसीएफ रैंक के अधिकारियों की टीम सहित सब इंतजाम होने के बाद टाइगर का शिकार होना यह बताता है कि टाइगर रिजर्व अधिकारी किस तरह से काम करते हैं.
करोड़ों खर्च, लेकिन परिणाम शून्य
टाइगर रिजर्व और वन विभाग बाघों की सुरक्षा में लाखों करोड़ों रुपये खर्च करता है. अधिकारियों, कर्मचारियों की लंबी फैज तैनात करने के साथ ही हाइटेक सुविधाएं दी जाती हैं, ताकि बाघों को बचाया जा सके. इसके लिए हर साल करोड़ों रुपये खर्च किए जाते हैं.
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वन महकमे में हड़कंप
अपने आप में यह शिकार का पहला वाकया देखने को मिल है. शिकार की जांच के लिए एसटीएफ और डॉग स्क्वायड मौके पर तैनात की गई है. एक तो बाघ का शिकार उपर से ऐसे तरीके ने वन महकमें में हड़कंप मचा दिया है.
दो साल पहले सिर काट ले गए थे शिकारी
ऐसा ही खौफनाक शिकार का मामला दो साल पहले भी आया था. तब शिकारी बाघ के सिर को कुल्हाड़ी से काटकर ले गए थे. लेकिन बाघ को फांसे पर लटकाने का ये पहले मामले हैं, लेकिन अधिकारी हमेशा का रटा-रटाया जवाब दे रहे हैं.