विदिशा के मुस्लिम समाज ने बांग्लादेश में हिंदुओं पर हो रहे अत्याचार का कड़ा विरोध किया है. शहर के मुस्लिम समाज ने हिंदुओं पर अत्याचार के खिलाफ राष्ट्रपति के नाम कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा.
Trending Photos
Muslim United In Vidisha: विदिशा के मुस्लिम समाज ने बांग्लादेश में हिंदुओं पर हो रहे अत्याचार का कड़ा विरोध किया है. शहर के मुस्लिम समाज ने हिंदुओं पर अत्याचार के खिलाफ राष्ट्रपति के नाम कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा. दूसरी तरफ कांग्रेस नेता और नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने बयान दिया है कि ये बांग्लादेश की लड़ाई है, तो प्रदर्शन देश में क्यों हो रहा. इसपर आरएसएस और बीजेपी आवाज क्यों नहीं उठाती. वो तो आज भी अखंड भारत में उसे अपना गिस्सा बताते हैं.
उमंग सिंघार ने क्या कहा
उमंग सिंघार ने कहा इंदिरा गांधी ने पाकिस्तान से अलग करके बांग्लादेश बनाया था. इसमें भारत की भूमिका थी, आरएसएस आज भी अपने नक्शे में अखंड भारत दिखता है. क्या अब RSS को अखंड भारत की चिंता नहीं है. जब बांग्लादेश को भारत का हिस्सा मानते हैं, तो अब बांग्लादेश में हिंदुओं पर अत्याचार हो रहे हैं तो भाजपा और आरएसएस क्यों चुप है. पूरी कांग्रेस पार्टी साथ है, भाजपा बताएं कब चलना है बांग्लादेश, लेकिन हमें नहीं लगता कोई जाएगा. सिर्फ हिंदुओं के नाम पर राजनीति करने वाली भाजपा पार्टी है.
'इस्लाम में जुल्म की कोई जगह नहीं'
मुस्लिमों ने ज्ञापन में बांग्लादेश में हो रही हिंसा और हिंदुओं के खिलाफ जारी उत्पीड़न की कड़ी निंदा की. इस दौरान मुस्लिम समाज के प्रमुख प्रतिनिधियों ने देश के प्रधानमंत्री से बांग्लादेश में हिंदुओं पर हो रहे अत्याचारों को रोकने के लिए तत्काल कदम उठाने की मांग की. सोहेल अहमद (बब्बू) ने कहा, "बांग्लादेश में हिंदू समाज के लोगों पर किए जा रहे अत्याचार को हम पूरी तरह से नकारते हैं. इस्लाम में जुल्म की कोई जगह नहीं है. हम भारत सरकार से अपील करते हैं कि बांग्लादेश में हो रहे इन अत्याचारों को रोकने के लिए कठोर कदम उठाए जाएं". समाज ने स्पष्ट किया कि इस्लाम में किसी भी निर्दोष व्यक्ति के साथ अन्याय या हिंसा की अनुमति नहीं है. उन्होंने कहा, "इस्लाम का संदेश शांति और सहिष्णुता है. जो लोग धर्म का गलत उपयोग करके निर्दोषों पर जुल्म कर रहे हैं, उन्हें इस्लाम से बाहर समझा जाना चाहिए"
वहीं, चौधरी मुशाहिद अली ने कहा, "मुस्लिम समाज इस्लामी मूल्यों के आधार पर हिंसा और अत्याचार के खिलाफ खड़ा है। हम चाहते हैं कि भारत सरकार बांग्लादेश के साथ अपने राजनयिक संबंधों पर पुनर्विचार करे और अत्याचार करने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई सुनिश्चित करे"
ज्ञापन में रखी गई प्रमुख मांगे.
1. भारत सरकार बांग्लादेश में हिंदुओं के खिलाफ हो रहे अत्याचारों को लेकर कड़ा रुख अपनाए.
2. बांग्लादेश से भारत आए अवैध नागरिकों को तुरंत वापस भेजा जाए.
3. बांग्लादेश के साथ सभी राजनयिक और व्यापारिक संबंध तत्काल प्रभाव से समाप्त किए जाएं.
4. बांग्लादेश के प्रधानमंत्री शेख हसीना को दिए गए सम्मान को वापस लिया जाए और सख्त संदेश दिया जाए.
5. भारतीय सेना को बांग्लादेश में हो रहे अत्याचारों को रोकने के लिए कार्रवाई की अनुमति दी जाए.
इस्लामिक मूल्यों के साथ खड़ा मुस्लिम समाज.