Indian Canada Controversy: भारत के विदेश मंत्रालय ने इल्जाम लगाया है कि कनाडा आतंकियों को पनाह देता है. उन्होंने कहा कि कनाडा ने अपराधियों पर कार्रवाई नहीं की जबकि भारत ने इसके सबूत दिए.
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Indian Canada Controversy: कनाडा और भारत के रिश्ते लगातार बिगड़ते जा रहे हैं. ऐसे में भारत के विदेश मंत्रालय ने कनाडा पर कई संगीन इल्जाम लगाए हैं. विदेश मंत्रालय का कहना है कि कनाडा में आतंकियों को शरण दी जा रही है. सवाल ये उठता है कि वहां की सियासी कयादत में कार्रवाई करने की हिम्मत है. विदेश मंत्रालय के स्पीकर अरिंदम बागची ने ये बयान दिया है.
#WATCH | MEA Spokesperson Arindam Bagchi says, "Safe haven is being provided in Canada, we want the Canadian govt to not do so and take action against those who have terrorism charges or send them here to face justice...We've sought either extradition request or assistance… pic.twitter.com/0ikMJFu8M6
— ANI (@ANI) September 21, 2023
कनाडा ने नहीं की कार्रवाई
भारतीय विदेश मंत्रालय के मुताबिक "कनाडा में रहने वाले भारतीय राजनायिकों को सिक्योरिटी देना वियना समझौते के तहत कनाडा की जिम्मेदारी है और हम उस पर काम कर रहे हैं." विदेश मंत्रालय ने कहा कि "हमारे हाई कमीशन के अफसरों पर सिक्योरिटी से जुड़े खतरे हैं, जिससे कामकाज पर असर पड़ रहा है, इसलिए हमें वीजा एप्लीकेशन को रोकना पड़ा." अरिंदम बागची के मुताबिक "कनाडा ने अभी तक निज्झर केस में कोई इनफार्मेशन हमसे शेयर नहीं किया है, जबकि भारत ने कनाडा में मौजूद मजरिमों के सबूत दिए हैं जिस पर कनाडा ने कोई कार्रवाई नहीं की है."
भारतीय बच्चों के लिए एडवाइजरी
विदेश मंत्रालय ने कहा कि "भारत सरकार ने एडवायजरी जारी की है. बच्चों सावधानी बरतनी है. कोई दिक्कत हो तो वहां मौजूद भारतीय हाई कमीशन के राब्ते में रहें." विदेश मंत्रालय का कहना है कि "भारतीयों को वीजा देने का मामला विदेशी सरकार के हक में आता है, उस पर हम अभी कुछ नहीं कह सकते. कनाडा क्या करेगा यह कनाडा की अथॉरिटी तय करेगी."
क्या है मामला?
आपको बता दें कि कनाडा ने भारत पर इल्जाम लगाए थे जिसके बाद दोनों देशों के दरमियान रिश्ते खराब हुए हैं. कनाडा के पीएम जस्टिन ट्रूडो ने इल्जाम लगाया था कि अलगाववादी नेता "हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के पीछे भारत सरकार के अधिकारी हैं. इसी के चलते कनाडा ने भारत के राजनयिक को अपने यहां से निकाला था. इसके जवाब में भारत ने कनाडा के राजनयिक को निकालने का हुक्म दिया था. भारत के विदेश मंत्रालय ने कनाडा के प्रधानमंत्री के इल्जामों को खारिज किया है.