Adani Hindenburg Case: अडानी-हिंडनबर्ग मामले में SC का फैसला, SEBI को जांच के लिए दिए 3 महीने

Adani Hindenburg Case Verdict: कोर्ट ने कहा है कि हमारी शक्ति सीमित है. SEBI को इस मामले की जांच करने के लिए तीन महीने का समय दे दिया गया है. नवंबर 2023 में फैसला सुरक्षित रखा गया था.

Written by - Zee Hindustan Web Team | Last Updated : Jan 3, 2024, 11:25 AM IST
  • SEBI तीन महीने में करेगी जांच
  • आज सुनाया है कोर्ट ने फैसला
Adani Hindenburg Case: अडानी-हिंडनबर्ग मामले में SC का फैसला, SEBI को जांच के लिए दिए 3 महीने

नई दिल्ली: Adani Hindenburg Case Verdict: अडाणी-हिंडनबर्ग मामले में सुप्रीम कोर्ट ने फैसला सुना दिया है. कोर्ट ने सेबी को जांच के लिए 3 महीने का अतिरिक्त समय दे दिया है. कोर्ट ने कहा कि सेबी के रेगुलेटरी फ्रेमवर्क में प्रवेश करने की अदालत की शक्ति सीमित है. फैसला चीफ जस्टिस डी वाई चंद्रचूड़, जस्टिस जे बी पारदीवाला और जस्टिस मनोज मिश्रा की बेंच ने सुनाया है.

कोर्ट- SEBI की जांच में कोई खामी नहीं
सुप्रीम कोर्ट ने अपने फैसले में माना कि SEBI के द्वारा की गई जांच नियमों के तहत ही हुई है. बता दें कि अभी तक SEBI 22 आरोपों की जांच की है. जबकि 2 आरोपों की जांच बाकी है.  CJI ने निर्देश दिए हैं कि बचे हुए मामलों की जांच तीन महीने के भीतर पूरी की जाए. कोर्ट ने कहा है कि सेबी की अब तक की जांच में कोई खामी नहीं पाई गई है. कोर्ट ने प्रशांत भूषण समेत अन्य याचिकाकर्ताओं की दलील को खारिज कर दिया है. कोर्ट ने कहा कि इस मामले की जांच SEBI ही करेगी, SIT नहीं. 

कोर्ट- SIT को जांच देने का आधार नहीं
इस मामले की जांच SIT को नहीं सौंपी गई, यह उद्योगपति गौतम अडानी के लिए राहत मानी जा रही है. कोर्ट ने पिछली सुनवाई में कहा था कि हिंडनबर्ग रिपोर्ट को लेकर कोई ठोस सबूत नहीं हैं. जबकि वकील प्रशांत भूषण समेत अन्य याचिकाकर्ताओं ने दावा किया था कि अडानी-हिंडनबर्ग रिपोर्ट की जांच SEBI ठीक से नहीं कर रही. इसलिए जांच SIT को सौंपनी चाहिए, लेकिन कोर्ट ने कहा कि SIT को जांच सौंपने का कोई आधार नहीं है. 

बीते साल लगे ये आरोप
गौरतलब है कि 24 जनवरी 2023 को हिंडनबर्ग रिसर्च ने अडाणी ग्रुप पर एक रिपोर्ट जारी की थी. इसमें अडानी पर मनी लॉन्ड्रिंग व्शे यर मैनिपुलेशन जैसे आरोप लगाए गए थे. मामले को जांचने के लिए सुप्रीम कोर्ट ने 6 सदस्यीय कमेटी बनाई थी. कोर्ट ने मार्केट रेगुलेटर SEBI को भी जांच करने के आदेश दिए थे.

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