ट्रुडो के देश में ये क्या हो रहा है? हिंदी फिल्म की स्क्रीनिंग में थिएटर्स पर हमला..नकाबपोशों ने छिड़का स्प्रे
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ट्रुडो के देश में ये क्या हो रहा है? हिंदी फिल्म की स्क्रीनिंग में थिएटर्स पर हमला..नकाबपोशों ने छिड़का स्प्रे

Trudeau Government: इसे ऐसे भी समझने की जरूरत है कि ट्रूडो सरकार में भारत से जुड़ी चीजों को किस हद तक टारगेट किया जा रहा है. नकाबपोश लोगों ने अचानक थिएटर में कुछ ऐसे केमिकल का छिड़काव कर दिया जब हिंदी फिल्म की स्क्रीनिंग चल रही थी. ऐसा एक नहीं बल्कि एक ही साथ तीन जगहों पर हुआ है.

ट्रुडो के देश में ये क्या हो रहा है? हिंदी फिल्म की स्क्रीनिंग में थिएटर्स पर हमला..नकाबपोशों ने छिड़का स्प्रे

India Canda Relation: इतिहास पर नजर दौड़ाएं तो भारत और कनाडा के संबंध बहुत ही अच्छे रहे हैं, यहां तक कि अमेरिका और ब्रिटेन के बाद सबसे ज्यादा भारतीय छात्र उच्च शिक्षा के लिए कनाडा ही जाते रहे हैं. लेकिन हाल ही के कुछ समय से खालिस्तानी आतंकियों के चलते संबंध बद से बदतर जो गए हैं. यहां तक कि जस्टिन ट्रुडो सरकार ने कई अनावश्यक आरोप भी भारत पर लगा दिए, हालांकि भारत की तरफ से आरोपों का माकूल जवाब दिए गए. इसी कड़ी में एक और चौंकाने वाली घटना सामने आई है जब वहां के कई थिएटर्स में हिंदी फिल्म देख रहे लोगों के ऊपर ना सिर्फ केमिकल का छिड़काव कर दिया गया बल्कि लोगों के बीच दहशत भी फैलाई गई. इसके कई सीसीटीवी फुटेज भी सामने आए हैं जब नकाबपोश लोग ऐसा करते हुए पाए गए हैं.

केमिकल का छिड़काव कर दिया
असल में जानकारी के मुताबिक कनाडा में कुल तीन अलग-अलग स्थानों पर हिंदी फिल्मों की स्क्रीनिंग करने वाले मूवी थिएटरों को उस समय खाली कराना पड़ा, जब वहां एक 'अज्ञात पदार्थ' का छिड़काव किया गया, जिससे सैकड़ों लोगों को खांसी होने लगी. यह शायद कोई केमिकल था. रिपोर्ट्स में बताया गया कि पुलिस ने कहा कि घटनाएं मंगलवार रात ग्रेटर टोरंटो एरिया (जीटीए) के मल्टीप्लेक्स में हुईं, जिसमें टोरंटो, वॉन और ब्रैम्पटन शामिल हैं. यॉर्क क्षेत्रीय पुलिस ने कहा कि जांचकर्ताओं को पता है कि उसी शाम अन्य सिनेमाघरों में भी इसी तरह की दो घटनाएं हुईं, एक ब्रैम्पटन में और एक टोरंटो में. जांचकर्ता उन घटनाओं के बारे में वहां की पुलिस से संपर्क कर रहे हैं.

तीन सिलसिलेवार घटनाएं, नकाबपोश लोग
इनमें से एक घटना वॉन में मंगलवार रात करीब 9.20 बजे घटी. थिएटर से लगभग 200 लोगों को खांसी शुरू होने के बाद बाहर निकाला गया. यॉर्क क्षेत्रीय पुलिस के जांचकर्ताओं को पता चला कि एक भारतीय हिंदी भाषा की फिल्म शुरू होने के बाद मास्क और हुड पहने हुए दो पुरुष संदिग्ध थिएटर में दाखिल हुए. फिर वे इधर-उधर चले गए और हवा में एक अज्ञात, एयरोसोल-आधारित पदार्थ का छिड़काव किया. वो लोग पुलिस के पहुंचने से पहले ही भाग गए. पुलिस ने कहा कि अज्ञात पदार्थ के संपर्क में आने के कारण कई लोगों का इलाज किया गया और किसी गंभीर बीमारी की सूचना नहीं है.

अभी तक कोई गिरफ्तारी नहीं!
पुलिस ने यह भी कहा कि एक संदिग्ध अश्वेत व्यक्ति था, जिसका रंग गोरा था, उसकी लंबाई लगभग पांच फीट, दस इंच और कद मध्यम था. उसने काले रंग का स्वेटर, सफेद लोगो वाली काली जैकेट, सफेद धारी वाली गहरे रंग की पैंट और सामने की तरफ सफेद लोगो वाली काली टोपी पहनी थी. पुलिस ने कहा कि दूसरा संदिग्ध एक भूरे रंग का व्यक्ति है, जिसकी त्वचा का रंग गोरा है, उसकी लंबाई लगभग पांच फीट आठ इंच है और उसका शरीर मध्यम है. उसने सामने सफेद टेक्स्ट के ऊपर लाल लोगो वाला एक काला स्वेटर, गहरे रंग की पैंट, भूरे जूते और एक काला मुखौटा पहना था. फिलहाल अभी तक कोई गिरफ्तारी नहीं हुई है.

चश्मदीद महिला ने बयां की हालत
इसी कड़ी में थिएटर के अंदर एक भारतीय फिल्म देख रही एक महिला ने कहा कि अंदर कुछ छिड़के जाने के बाद वह अस्वस्थ महसूस करते हुए थिएटर से बाहर चली गई. उसने कहा कि वह बाहर गई और "पांच से छह मिनट" तक खांसती रही. यॉर्क के एक पुलिस अधिकारी ने यह जरूर कहा कि संयोग से ये सभी घटनाएं एक ही शाम को तीन घंटे से भी कम समय के भीतर हुई हैं. इसलिए हम निश्चित रूप से इस संभावना पर गौर कर रहे हैं कि क्या ये घटनाएं आपस में जुड़ी हुई हैं. पूरे मामले की जांच की जा रही है.

कनाडा में क्यों हो रहा ऐसा?
पिछले काफी समय से कनाडा में भारत विरोधी आतंकी खालिस्तानी मूवमेंट की हवा चल रही है. भारत समय-समय पर इस पर ऐतराज जताता रहा है. लेकिन कनाडा ने उस पर कोई विशेष ध्यान नहीं दिया. हाल ही में जस्टिन ट्रूडो सरकार के समय तल्खी और बढ़ गई. अब इसी कड़ी में यह घटना भी सामने आई है. इसे ऐसे भी समझने की जरूरत है कि ट्रूडो सरकार में भारत से जुड़ी चीजों को किस हद तक टारगेट किया जा रहा है.

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