UN सुरक्षा परिषद की लिस्ट से हटेगा 135 तालिबानी आतंकियों का नाम? US ने किया ये वादा
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UN सुरक्षा परिषद की लिस्ट से हटेगा 135 तालिबानी आतंकियों का नाम? US ने किया ये वादा

UN Security Council Sanctions List: अफगानिस्तान के लोगों पर आतंकी संगठन तालिबान का कहर जारी है. इस बीच तालिबान UN सुरक्षा परिषद और अमेरिका से उम्मीद लगाए बैठा है.

मुल्ला बरादर अपने आतंकियों के साथ (फाइल फोटो) | साभार- रॉयटर्स.

काबुल: अफगानिस्तान (Afghanistan) पर कब्जे के बाद अब तालिबान (Taliban) उम्मीद कर रहा है कि UN सुरक्षा परिषद उसे राहत देगी. UN सुरक्षा परिषद (UN Security Council) की 1988 की Sanctions List में तालिबान के 135 नेताओं के नाम हैं. इस लिस्ट में तालिबान के नेता अब्दुल गनी बरादर (Abdul Ghani Baradar) के साथ हक्कानी नेटवर्क (Haqqani Network) के सिराजुद्दीन हक्कानी का नाम भी शामिल है.

  1. Sanctions List में तालिबान के 135 आतंकी
  2. आतंकियों के साथ अमेरिका का शांति समझौता
  3. लिस्ट में मुल्ला बरादर का नाम भी शामिल

अमेरिका ने आतंकियों से किया ये वादा

बता दें कि पिछले साल 29 फरवरी को तालिबान और अमेरिका (US) के बीच शांति समझौता हुआ था. इस समझौते के तहत अमेरिका वादा कर चुका है कि वो UN सुरक्षा परिषद के अन्य सदस्यों के साथ डिप्लोमेटिक बातचीत के जरिए तालिबानी नेताओं के नाम को Sanctions List से हटाने के लिए कदम उठाएगा.

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20 साल बाद अफगानिस्तान लौटा मुल्ला बरादर

जान लें कि अफगानिस्तान में तालिबान के कब्जे के बाद मुल्ला बरादर वापस लौट चुका है. मुल्ला बरादर 20 साल बाद कतर वायुसेना के विमान से अफगानिस्तान आया.

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राष्ट्रपति बनने की रेस में सबसे आगे मुल्ला बरादर

रिपोर्ट के मुताबिक, मुल्ला बरादर अफगानिस्तान का नया राष्ट्रपति बनने की रेस में सबसे आगे है. बीते 18 अगस्त को जब अफगानिस्तान के कंधार में मुल्ला बरादर ने कदम रखा तो आतंकियों ने उसका जोरदार स्वागत किया. पिछले साल मुल्ला बरादर ने कतर के दोहा में अमेरिका के साथ हुए शांति समझौते पर हस्ताक्षर किए थे.

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जान लें कि आतंकी मुल्ला बरादर 8 साल तक पाकिस्तान की जेल में बंद रह चुका है. साल 2018 में मुल्ला बरादर को रिहा कर दिया गया था. अमेरिका के दबाव में ही मुल्ला बरादर को पाकिस्तान में गिरफ्तार किया गया था. आशंका थी वह बड़ी आतंकी वारदातों को अंजाम दे सकता था.

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