जापान ने अंतरिक्ष में रच दिया इतिहास, चांद की सतह पर पहुंचने वाला पांचवां देश बना
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जापान ने अंतरिक्ष में रच दिया इतिहास, चांद की सतह पर पहुंचने वाला पांचवां देश बना

Lunar Surface: जापानी अंतरिक्ष यान शनिवार तड़के चंद्रमा पर उतरा, जिससे जापान चंद्रमा की सतह पर पहुंचने वाला पांचवां देश बन गया. लेकिन अधिकारियों ने कहा कि उन्हें अभी भी लैंडिंग की सटीक सटीकता का विश्लेषण करने की आवश्यकता है.

जापान ने अंतरिक्ष में रच दिया इतिहास, चांद की सतह पर पहुंचने वाला पांचवां देश बना

Japan spacecraft: जापान की अंतरिक्ष एजेंसी ने बताया है कि उसका अंतरिक्ष यान चंद्रमा पर है, लेकिन अब भी “उसकी स्थिति की जांच” की जा रही है. अधिकारियों ने यह जानकारी देते हुए बताया कि और विवरण बाद में उपलब्ध कराया जाएगा. असल में जापान की स्पेस एजेंसी JAXA ने बीते साल 7 सितंबर को अपने स्नाइपर को चांद के लिए रवाना किया था. 4 महीने से ज्यादा की यात्रा के बाद यह मून स्नाइपर ने स्लिम मिशन के तहत चांद पर लैंडिंग की है. चंद्रमा की जांच के लिए स्मार्ट लैंडर या एसएलआईएम, स्थानीय समय के अनुसार रात लगभग 12 बजकर 20 मिनट पर चंद्रमा की सतह पर उतरा. 

एसएलआईएम सफलतापूर्वक उतर गया

अंतरिक्ष यान में कोई भी अंतरिक्ष यात्री सवार नहीं था. बताया गया कि एसएलआईएम सफलतापूर्वक उतर गया है. बड़ी बात ये है कि जो स्थान चुना गया था लैंडिंग के लिए उसके आस पास ही यान ने सटीक लैंडिंग की है. जापान अब अमेरिका, रूस, चीन और भारत के बाद जापान यह उपलब्धि हासिल करने वाला पांचवां देश बन जाएगा. जैसे ही अंतरिक्ष यान नीचे उतरा, ‘जापान एयरोस्पेस एक्सप्लोरेशन एजेंसी’ के मिशन नियंत्रण केंद्र ने कहा कि सब कुछ योजना के अनुसार था और बाद में कहा गया कि एसएलआईएम चंद्रमा की सतह पर था. 

25 दिसंबर को चंद्रमा की कक्षा में प्रवेश
हालांकि आधिकारिक बयान में लैंडिंग सफल रही या नहीं हालांकि इसका कोई ज़िक्र नहीं है, लेकिन जल्द ही इसकी पुष्टि हो जाएगी. मिशन नियंत्रण यह दोहराता रहा कि वह “उसकी स्थिति की जांच कर रहा है” और अधिक जानकारी एक संवाददाता सम्मेलन में दी जाएगी. यह तुरंत स्पष्ट नहीं था कि समाचार सम्मेलन कब शुरू होगा. एसएलआईएम को सितंबर में प्रक्षेपित किया गया था और 25 दिसंबर को चंद्रमा की कक्षा में प्रवेश किया था.

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