Pratapgarh News: राजस्थान के प्रतापगढ़ जिले में एंटी गैंगस्टर टास्क फोर्स पुलिस ने बड़ी कार्रवाई को अंजाम दिया था. पुलिस ने देवल्दी में फार्म हाउस पर दबिश के दौरान एमडीएमए बनाने की फैक्ट्री पकड़ी थी. अब पुलिस आरोपियों के संभावित ठिकानों पर दबिश दे रही है.
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Rajasthan News: प्रतापगढ़ में एंटी गैंगस्टर टास्क फोर्स पुलिस मुख्यालय व जिला पुलिस की टीम की ओर से सोमवार को अरनोद थाना क्षेत्र में देवल्दी गांव स्थित दो फार्म हाउस पर दबिश देकर एमडी ड्रग बनाने की फैक्ट्री पकड़े के मामले में फरार आरोपियों की तलाश के लिए संभावित ठिकानों पर दबिश दी जा रही है. पुलिस के अनुसार ऐसे में क्षेत्र के कुख्यात गांवों में हड़कंप मचा हुआ है. इसके साथ ही ड्रग बनाने और इससे जुड़े लोग भी भूमिगत हो गए है, जिनकी तलाश के लिए पुलिस की अतिरिक्त टीमें लगाई गई है.
पुलिस अधीक्षक विनित कुमार बंसल ने बताया कि अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक एंटी गैंगस्टर टास्क फोर्स दिनेश एमएन के नेतृत्व में यह कार्रवाई की थी, जिसमें एजीटीएफ व अरनोद पुलिस की संयुक्त कार्रवाई में गठित टीम ने देवल्दी गांव के पास एक फार्म हाउस पर सरसों के खेत में एमडीएमए की फैक्ट्री पकड़ी थी. इस दौरान वहां पर तीन आरोपी पहले से ही भाग गए थे. पुलिस ने मौके से एमडीएमए ड्रग, इसमें प्रयुक्त होने वाले रयासन, एमडीएमए बनाने वाले उपकरण व मशीनों को जब्त किया गया था. इस संबंध में अरनोद थाने पर प्रकरण दर्ज कर अनुसंधान किया गया. जब्त सामग्री की अनुमानित कीमत 40 करोड़ रुपए बताई गई है, जबकि मौके से तीन आरोपी फरार हो गए थे. अरनोद थाना अधिकारी हजारीलाल मीणा के नेतृत्व में टीम ने देवल्दी गांव से होते हुए टापरीया रास्ते पर दबिश दी.
एजीटीएफ पुलिस महानिदेशक दिनेश एमएन ने बताया था कि एजीटीएफ व जिला पुलिस को मुखबिर से सूचना मिली कि राजस्थान-मध्य प्रदेश सीमा से जुडे जिले के गावों में बड़े पैमाने पर एमडी ड्रग्स का निर्माण किया जाता है. यहां से तस्कर ड्रग की सप्लाई राजस्थान, हरियाणा, पंजाब में कर रहे है. मुख्य रूप से देवल्दी गांव में इसका कारोबार चल रहा है. इस पर डीआईजी योगेश यादव के निर्देशन एवं अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक आशाराम चौधरी व सिद्धान्त शर्मा के सुपरविजन में हेड कांस्टेबल महावीर सिंह व कांस्टेबल नरेन्द्र पाटीदार को इस संबंध में सूचना संकलन करने के लिए प्रतापगढ़ रवाना किया गया. इस पर दोनों ने निरंतर करीब 2 महीनों से इस सम्बन्ध में सूचनाएं संकलन की गई, जिसमें सामने आया कि याकुब पुत्र फकीर गुल, जमशेद पुत्र फकीर गुल, शाहील पुत्र सलीम निवासी देवल्दी गत काफी समय से एक फार्म हाउस पर अवैध मादक पदार्थ बनाकर व्यापार कर रहे है. इनके खिलाफ पूर्व में भी एनडीपीएस एक्ट के प्रकरण दर्ज है. फार्म हाउस पर एमडी ड्रग बनाने का काम चल रहा है. इस पर एजीटीएफ टीम ने थानाधिकारी अरनोद हजारीलाल मीणा को सूचित कर मौके पर दबिश दी.
पुलिस को यहां फार्म हाउस पर ड्रग बनाने की सामग्री मिली थी, जहां पुलिस टीम को एक डिब्बे में लिक्विड फॉर्म में एमडी मिली, जिसका वजन करने पर डिब्बे में 11.450 किलो एमडीएमए होना पाया. इसके साथ ही अलग-अलग जरिकेन में 14.770 किलो लिक्विड केमिकल, एक अन्य केमिकल 4.900 किलो, 2 किलो 500 ग्राम सफेद पाउडर की थैली मिली. पुलिस टीम को एमडीएमए बनाने में प्रयुक्त उपकरण इलेक्ट्रॉनिक कांटा, स्टील(चद्दर) के तीन खाली जरिकेन, हाथों में पहनने के रबर के ग्लब्ज , मास्क, नाप करने वाले आधा लीटर का एक मग तथा 3 लीटर के दो मग व एक लीटर के 5 मग , एक स्टील का भगोना करीब 10 लीटर का मय बडा चम्मचा, दही बिलौने की बिजली से चलने वाली 10 मशीनें वायर सहित मिली. थाना अरनोद पर प्रकरण दर्ज कर आरोपियों की तलाश की जा रही है.
रिपोर्टर- हितेष उपाध्याय
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