अन्नकूट पर भगवान ने खाया पास्ता, पिज्जा और नूडल्स, जयपुर में 56 या 108 नहीं बल्कि 1 हजार 111 व्यंजनों का लगाया गया भोग
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अन्नकूट पर भगवान ने खाया पास्ता, पिज्जा और नूडल्स, जयपुर में 56 या 108 नहीं बल्कि 1 हजार 111 व्यंजनों का लगाया गया भोग

Annakoot 2022: जयपुर में एक ऐसा भी मंदिर है, जहां 56 या 108 नहीं बल्कि 1111 व्यंजनों का भोग लगाया जाता है. इतना ही नहीं भगवान के भोग में विदेशी फास्ट फूड जैसे पास्ता, केक, नूडल्स, पिज्जा भी शामिल किए गए. 

अन्नकूट पर भगवान ने खाया पास्ता, पिज्जा.

Annakoot 2022: इस बार गोवर्धन पूजा का पर्व आज यानी कि 26 अक्टूबर बुधवार को मनाया गया.  गोवर्धन पूजा के दिन कई स्थानों पर अन्नकूट महोत्सव आयोजित किया जाता है.  इस महोत्सव में भगवान कृष्ण को तरह-तरह के 56 पकवानों का भोग लगाया जाता है. जयपुर में एक ऐसा भी मंदिर है, जहां 56 या 108 नहीं बल्कि 1111 व्यंजनों का भोग लगाया जाता है.  इसमें देश के हर राज्य में बनने वाली परंपरागत चीजों के अलावा विदेशी खाना भी शामिल है. इतना ही नहीं विदेशी फास्ट फूड जैसे पास्ता, केक, नूडल्स, पिज्जा भी शामिल किए गए. 

विदेशी फास्ट फूड जैसे पास्ता, केक, नूडल्स, पिज्जा का भोग
इसके तहत आज हर मंदिरों में ठाकुर जी को गड़ की सब्जी, चौला, चावल, कड़ी समेत 56 व्यंजनों का भोग लगाया गया है. साथ ही इस मौके पर सामूहिक भोज का आयोजन भी किया जाता है. यह परंपरा काफी पुरानी है. आइए जानते हैं कि यह परंपरा कैसे शुरू हुई और भगवान कृष्ण को छप्पन भोग क्यों लगाए जाते हैं.

भगवान कृष्ण को छप्पन भोग लगाने के पीछे ये है मान्यता
मान्यताओं के अनुसार श्रीकृष्ण ने लगातार 7 दिनों तक गोवर्धन पर्वत को अपनी उंगली पर उठाए रखा था. इस दौरान उन्होंने कुछ भी खाया पिया नहीं था. 7 दिनों के बाद आठ पहर के हिसाब से माता यशोदा और गांव वालों ने उनके लिए 56 पकवान बनाएं और श्रीकृष्ण को खिलाएं. तभी से छप्पन भोग की परंपरा चली आ रही है. वहीं एक कारण यह भी है कि भगवान विष्णु के अनेक आसन हैं. जिसमें से कमल भी एक आसन है. जिस कमल पर भगवान विष्णु बैठते हैं, उसकी पंखुड़ियों की संख्या 56 है इसलिए भगवान कृष्ण को छप्पन भोग लगाए जाते हैं.

जयपुर के वैशाली नगर चित्रकूट अक्षरधाम मंदिर में लगाया गया भोग
जयपुर के वैशाली नगर चित्रकूट स्थित अक्षरधाम मंदिर में सजी अन्नकूट झांकी में राजस्थानी, गुजराती, पंजाबी, बंगाली, दक्षिण भारतीय व्यंजनों के साथ दूध और कई तरह से शेक, फल, अनाज से बने पारंपरिक भारतीय भोजन का भोग लगाया गया. इसके अलावा विदेशी फास्ट फूड जैसे पास्ता, केक, नूडल्स, पिज्जा भी शामिल किए गए. मंदिर में आए श्रद्धालु इस झांकी को देखकर हैरान रह गए. क्योंकि इससे पहले उन्होंने किसी भी मंदिर में 56 या 108 पकवानों की झांकी ही देखी थी. इस झांकी को हर कोई अपने मोबाइल में कैद करता दिखाई दिया.

400 तरह की मिठाइयां और मिल्क शेक
इस प्रसादी में ठाकुर जी के जो भोग लगाया गया है, उसमें 400 तरह की मिठाइयां है, जो देश के हर राज्यों में बनने वाली मिठाइयां शामिल है. इसके अलावा 40 तरह के मिल्क शेक और दही से बने व्यंजन है. वहीं 8 से ज्यादा तरह के केक, 30 प्रकार की चपातियां, पूड़ी, 50 से ज्यादा तरह की सब्जियां है. इन सभी को मंदिर के 1000 सेवादारों में बांटा गया.

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राज्यपाल और पूनिया भी करने पहुंचे दर्शन
मंदिर में झांकी देखने और भगवान के दर्शन करने राज्यपाल कलराज मिश्र और भाजपा के प्रदेशाध्यक्ष सतीश पूनिया भी पहुंचे. इस मौके पर पूनिया ने दर्शन करने के बाद प्रसादी ली और भगवान से देश में शांति और सुख-समृद्धि की कामना की.

गणेश मंदिर में भी 56 भोग की झांकी
अक्षरधाम मंदिर के अलावा जयपुर के मोती डूंगरी गणेश मंदिर में भी आज अन्नकूट महोत्सव के तहत 56 भोग की झांकी सजाई गई. मंदिर महंत कैलाश शर्मा ने बताया कि प्रसादी में भगवान को कुटे हुए अन्न के अलावा मिठाई में घेवर, मूंगथाल, लड्‌डू, बेसन की चक्की, पेडे समेत अन्य भोग लगाया.

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