पुलिस, बाल अधिकारिता, चाइल्ड लाइन के सहयोग से पुलिस लाइन के अनवेषण भवन में बाल श्रम उन्मूलन पर रखी गई कार्यशाला की अध्यक्षता अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक साइना खानम ने की है.
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Chittorgarh: पुलिस, बाल अधिकारिता, चाइल्ड लाइन के सहयोग से पुलिस लाइन के अनवेषण भवन में बाल श्रम उन्मूलन पर रखी गई कार्यशाला की अध्यक्षता अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक साइना खानम ने की है.
बाल कल्याण समिति अध्यक्ष प्रियंका पालीवाल, पूर्व अध्यक्ष रमेशचंद्र दशोरा, आसरा विकाश संस्थान के संस्थापक भोजराज सिंह, अरूणा राठोर, ललीता और विभिन्न विभागों के अधिकारी, जिले से 28 थानों से थाना प्रभारी आदि की उपस्थिति में जिले से बाल कल्याण पुलिस अधिकारियों का किसोर न्याय अधिनियम 2015 और बंधक श्रम और लेंगिक अपराधों से बालकों का संरक्षण अधिनियम 2012 विषयक प्रशिक्षण में अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक साइना खानम और चाइल्ड लाइन से भोजराज सिंह, समन्वयक भुपेंद्र सिंह, श्रम विभाग चित्तौड़गढ़ से प्रशासनिक अधिकारी मदन सालवी औजस्वी आदि ने बाल संरक्षण को सुनिश्चित करने के लिए सभी विभागों के साथ निष्पक्षता से कार्रवाई करने और पुनर्वास के लिए बेहतर कार्य योजना के निर्देश दिए.
अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक साइना खानम ने सभी थानाध्यक्षों से रेस्क्यु किए गए बाल श्रमिकों की जानकारी कर समीक्षा की और पुनर्वास और बाल संरक्षण, बाल श्रम अधिनियम की पालना, पोस्को और लैंगिक अपराधों से बालकों का संरक्षण अधिनियम 2012 अंतर्गत दर्ज होने वाले प्रकरणों में पुलिस अधिकारियों द्वारा किए गए अनुसंधान आदि की जानकारी लेते हुए बाल श्रम रेस्क्यू और रोकथाम पर आवश्यक निर्देश दिए है.
बच्चों के साथ होने वाले शोषण, बाल श्रम, अपराधों से संबंधित रिपोर्टिंग अनुसंधान प्रक्रिया, विधिक प्रशिक्षण के साथ साथ पुलिस अधिकारियों ने बालकों से संबंधित मामलों में आने वाली समस्याओं पर पूछे गए प्रश्नों का समाधान भी किया गया. विभिन्न घटनाओं के माध्यम से अपराधों पर कानूनी कार्रवाई की जानकारी दी गई.
पुलिस थानों पर बाल हेल्प डेस्क के संचालन और गुमशुदा बालकों का विवरण पोर्टल पर अपलोड करने और प्रशिक्षण के अनुसार दिए गए निर्देश की थाना स्तर पर कड़ाई से अनुपालना के निर्देश दिए. चाइल्ड लाइन से भोजराज सिंह और समन्वयक भुपेंद्र सिंह ने बाल श्रम रेस्क्यू के घटनाक्रम और विवरण प्रस्तुत करते हुए प्रभावी कार्रवाई में सभी का समय पर सहयोग जानकारी दी.
इस दौरान श्रम विभाग से सहायक प्रशासनिक अधिकारी मदन सालवी औजस्वी ने बताया कि बाल श्रम अधिनियमों की पालना के साथ-साथ ग्रामीण स्तर पर जागरूकता लाने हेतु प्रचार प्रसार प्रचार की अधिक आवश्यकता है और बाल मज़दूरी कराने वाले माता-पिता और संरक्षकों को भी समझाइश के विशेष कार्यक्रम आयोजित कराते हुए गरीब और आर्थिक विकास से वंचित बस्तियों में बाल श्रम रोकथाम हेतु अधिक कारगर प्रचार-प्रसार किया जाना बताया.
Reporter: Deepak Vyas
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