Electricity Price: बिजली वितरण निगम ने 7400 करोड़ रुपए का घाटा दिखाया है और इस घाटे की भरपाई के लिए बिजली की दरों में बढ़ोतरी की जरूरत बताई है.
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Jharkhand News: होली के बाद झारखंड में लोगों को बिजली के तेज 'झटके' लग सकते हैं. राज्य में बिजली की दरें बढ़ाए जाने की तैयारी चल रही है. झारखंड बिजली वितरण निगम लिमिटेड (JBVNL) ने बिजली की कीमतों में 20 फीसदी तक की वृद्धि का प्रस्ताव राज्य विद्युत नियामक आयोग के समक्ष जमा किया है.
आयोग ने इस प्रस्ताव का अध्ययन कर लिया है और इसी महीने के आखिरी तक इसे लेकर विभिन्न प्रमंडलों में जनसुनवाई का आयोजन किया जाएगा. जनसुनवाई की प्रक्रिया पूरी होने के बाद आयोग नई दरों का अंतिम निर्धारण करेगा.
बिजली की दरों में बढ़ोतरी की बताई गई यह वजह
आधिकारिक सूत्रों के अनुसार, नई दरें आगामी अप्रैल माह से प्रभावी होंगी. झारखंड बिजली वितरण निगम लिमिटेड ने नई दरों को लेकर जो प्रस्ताव दिया है, वह वर्ष 2023-24 के लिए है. बिजली वितरण निगम ने 7400 करोड़ रुपए का घाटा दिखाया है और इस घाटे की भरपाई के लिए बिजली की दरों में बढ़ोतरी की जरूरत बताई है.
वित्तीय वर्ष 2023-2024 के लिए राज्य विद्युत नियामक आयोग में वार्षिक राजस्व रिपोर्ट (एआरआर) दाखिल की है. इसके मुताबिक निगम को 2020-2021 में 2200 करोड़, 2021-2022 में 2600 करोड़ और 2022-2023 में 2500 करोड़ का घाटा बताया गया है.
तीन वर्षों से बिजली की दरों में वृद्धि नहीं की गई
निगम ने यह भी तर्क दिया है कि पिछले तीन वर्षों से बिजली की दरों में वृद्धि नहीं की गई है, इस वजह से घाटे की रकम में इजाफा हो रहा है. कोरोना काल में सरकार ने कोई बढ़ोतरी नहीं की थी. विद्युत नियामक आयोग में अध्यक्ष और दोनों सदस्यों के पद खाली थे, इसलिए भी बिजली की दरों के रिवीजन पर विचार नहीं किया जा सका.
JBVNL की ओर से आयोग के समक्ष दाखिल टैरिफ पिटीशन में खर्च के लिए 9000 करोड़ की संभावित जरूरत बतायी गयी है.
बताया जा रहा है कि आयोग जल्द ही नई बिजली दरें तय करने के पहले विभिन्न प्रमंडलों में जनसुनवाई आयोजित कर आम जनता, उद्यमियों, JBVNL और अन्य सेक्टरों के लोगों की राय लेगा और इसके बाद अंतिम दरों पर मुहर लगाएगा.
(इनपुट - IANS)
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