इस तरह की लाइफ स्‍टाइल से घट जाती है उम्र, जल्‍दी हो जाते हैं बूढ़े
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इस तरह की लाइफ स्‍टाइल से घट जाती है उम्र, जल्‍दी हो जाते हैं बूढ़े

Health News: दुन‍िया में ज‍ितनी तेजी से व‍िकास हो रहा है, उतनी ही तेजी से लोगों में अकेलापन बढ़ता जा रहा है. पहले तो ये अकेलापन हमें बहुत पसंद आता है लेक‍िन बाद में यही हमारे जीवन के अनमोल ज‍िंदगी को कम कर देता है. र‍िसर्च में ये बातें सामने आई हैं. 

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Health News: अकेले रहने वाले लोग अक्‍सर कई तरह की मानस‍िक बीमार‍ियों का श‍िकार हो जाते हैं ज‍िनमें अवसाद, तनाव, हृदय रोग, डाइमेंशिया जैसी बीमारी आती हैं. एक नई रिसर्च में सामने आया है कि अकेलापन इंसान को समय से पहले ही बूढ़ा बना देता है. 

अकेलेपन से उम्र ज्‍यादा आती है नजर 
फॉरेन में हुई एक र‍िसर्च में सामने आया है क‍ि अकेलेपन से हमारी उम्र एक साल 8 महीने ज्‍यादा नजर आती है यानी करीब दो साल. मतलब हमउम्र लोगों से हम तेजी से बुढ़ापे की ओर अग्रसर होते हैं. धूम्रपान करने से भी हमारी उम्र ज्‍यादा लगती है. स‍िगरेट पीने से हमारी उम्र एक साल तीन महीने ज्‍यादा लगती है. 

अकेलेपन से शरीर में बढ़ जाती है सूजन 
अकेलेपन से उम्र का क्‍या संबंध है, इसके ल‍िए व‍िशेषज्ञों का कहना है क‍ि अकेलापन हमारे शरीर में कई बीमार‍ियों को बढ़ाने के साथ शरीर में सूजन भी बढ़ाता है. इस सूजन की वजह से अल्‍जाइमर समेत और भी कई बीमार‍ियां पनपने लगती हैं. दरअसल सूजन तब होती है जब शरीर संक्रमण या कोई चोट लगने पर उससे लड़ने के लिए प्रतिरक्षा प्रणाली को रसायनों का उत्पादन करने का सिग्नल देता है. ऐसा तनाव और अवसाद की स्थिति में भी होता है जिससे शरीर में सूजन पैदा हो जाती है. 

दुन‍िया में 33 फीसदी आबादी है अकेलेपन का श‍िकार 
एक सर्वे के मुताब‍िक, भारत में करीब  50 लाख लोगों से ज्‍यादा अकेलेपन का श‍िकार हैं तो वहीं दुन‍िया में 33 फीसदी आबादी अकेलेपन का श‍िकार है. 

अकेलेपन से न‍िपटने की ट‍िप्‍स 
अकेलेपन से न‍िपटने के ल‍िए हमें क‍िसी हॉबी को फॉलो करना चाह‍िए. अपनी ख़ुशी के लिए हमे अपने जीवन में कुछ तो अलग और दिल के कहे मुताबिक करना चाहिए. ये हमारे जीवन में खुशियां लाता है और हमें अकेला महसूस नहीं होने देता. बुक क्लब और सामुदायिक सेवा पहल से लेकर हाइकिंग क्लब और व्यावसायिक संघों तक में आप शाम‍िल हो सकते हैं. इससे वक्त बीतने के बाद आपको अपने अकेलेपन का अहसास होना बंद हो जायेगा. आप किसी पुस्तक को पढ़कर पात्रों या कथाकारों के मन में अधिक आसानी से प्रवेश कर सकते हैं. यह आपको अधिक जुड़ाव महसूस करा सकता है और यह समझने में आपकी सहायता करता है कि दूसरे लोग कैसे सोचते हैं. ऑनलाइन में आप ऐसे लोगों से मिल सकते हैं जो आपकी रुचियों, मुद्दों और उद्देश्यों को शेयर करते हैं.

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