भारत ने युगांडा को दी 20 करोड़ डालर की कर्ज सुविधा, चार समझौतों पर हस्ताक्षर
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भारत ने युगांडा को दी 20 करोड़ डालर की कर्ज सुविधा, चार समझौतों पर हस्ताक्षर

अफ्रीकी देश युगांडा की यात्रा पर आए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को मेजबान राष्ट्रपति योवेरी मुसेवेनी के साथ विभिन्न मुद्दों पर विचार विमर्श किया.

(फाइल फोटो)

कामपाला: अफ्रीकी देश युगांडा की यात्रा पर आए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को मेजबान राष्ट्रपति योवेरी मुसेवेनी के साथ विभिन्न मुद्दों पर विचार विमर्श किया तथा द्विपक्षीय संबंधों को मजबूत बनाने के उपायों पर चर्चा की. उन्होंने इस पूर्वी अफ्रीकी देश को ऊर्जा बुनियादी ढांचा, कृषि तथा डेयरी क्षेत्रों में करीब 20 करोड़ डालर के दो ऋणों की सुविधा देने की घोषणा की. दो दिन की यात्रा पर मंगलवार शाम पहुंचे मोदी ने राष्ट्रपति मुसेवेनी के साथ अकेले में मुलाकात की और उसके बाद द्विपक्षीय रिश्तों की सभी पहलुओं पर समीक्षा को लेकर दोनों के बीच प्रतिनिधिमंडल स्तर की बातचीत हुई. प्रतिनिधिमंडल स्तर की वार्ता के बाद दोनों पक्षों ने रक्षा सहयोग, आधिकारिक तथा राजनयिक पासपोर्टधारकों के लिये वीजा से छूट, सांस्कृतिक आदान-प्रदान कार्यक्रम तथा सामग्री प्रशिक्षण प्रयोगशाला के क्षेत्रों में सहमति पत्रों पर दस्तखत किये. 

संयुक्त बयान में प्रधानमंत्री मोदी ने ऊर्जा बुनियादी ढांचा, कृषि तथा डेयरी क्षेत्रों के लिए करीब 20 करोड़ डॉलर की दो कर्ज सुविधाओं की घोषणा की. मोदी ने दोनों देशों के पारस्परिक संबंधों की सराहना करते हुए कहा कि ये समय की कसौटी पर खरे उतरे हैं. मोदी ने कहा कि भारत युगांडा के साथ रक्षा क्षेत्र में सहयोग बढ़ाने को तैयार है. मोदी ने कहा कि भारत और युगांडा को सैन्य प्रशिक्षण के क्षेत्र में सहयोग बढ़ाना चाहिए. उन्होंने युगांडा के सैन्य बल एवं नागरिकों के उपयोग के लिये वाहन एवं एम्बुलेंस देने की घोषणा की. प्रधानमंत्री ने कहा, ‘भारत प्रशिक्षण, क्षमता निर्माण, बुनियादी ढांचा विकास, आईटी तथा विकास के लिये युगांडा की मदद करेगा.’ मोदी ने इस अवसर कामपाला में कैंसर संस्थान को कैंसर थेरैपी मशीन उपलब्ध कराने की भी घोषणा की. उन्होंने कहा कि ‘इससे युगांडा के साथ-साथ अन्य अफ्रीकी देशों को मदद मिलेगी.’ प्रधानमंत्री ने कहा कि ‘युगांडा हमेशा से हमारे दिल के करीब रहा है और भविष्य में भी बना रहेगा. युगांडा के विकास में सहायता देने के लिये भारत हमेशा खड़ा रहेगा.’ 

प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, ‘हम युगांडा का निरंतर समर्थन करते रहेंगे.’ युगांडा के राष्ट्रपति को भारत का पुराना मित्र बताते हुए उन्होंने कहा कि गुजरात के मुख्यमंत्री के रूप में 2007 में युगांडा की पहली यात्रा उनके जेहन में अब भी बनी हुई है. राष्ट्रपति मुसावेनी ने मोदी की सराहना करते हुए कहा कि सार्वजनिक मामलों में उनके व्यापार प्रबंधन रुख से भारत में काफी बदलाव आया. उन्होंने कहा, ‘नौकरशाही की अराधना करने के बजाय उन्होंने कुशलता को आगे बढ़ाया और इससे भारत को तीव्र आर्थिक वृद्धि वाली अर्थव्यवस्था के रूप में उभरने में मदद मिली.’ युगांडा को प्रमुख पर्यटक गंतव्य बताते हुए राष्ट्रपति ने कहा कि दोनों देशों के बीच पर्यटन क्षेत्र में सहयोग की काफी संभावना है. उन्होंने देश में सिंचाई के लिये सौर ऊर्जा से चलने वाले वाटर पंपों के विनिर्माण और असेंबली के लिये भारतीय विशेषज्ञों से मदद मांगी. साथ ही उन्होंने देश में स्वास्थ्य सुविधाओं में सुधार के लिये सहायता की मांग की.

(इनपुट भाषा से)

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