Haryana News: कृषि उप निदेशक डॉक्टर सुखदेव कंबोज ने मीडिया से बातचीत करते हुए बताया कि सिरसा में हरसक के माध्यम से कुल 16 जगह पर आगजनी की घटना मिली थी. उनमें से पांच जगह की पहचान कर पांचो किसानों पर 20,000 रुपये का जुर्माना किया गया है.
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Stubble Burning: सिरसा जिले में लगातार पराली को आग लगाने की घटनाएं बढ़ती जा रही है. इसको लेकर अब कृषि विभाग भी एक्शन मोड में नजर आ रहा है. कृषि विभाग की ओर से ऐसे तीन किसानों पर एफआईआर दर्ज कराई गई है, जिन्होंने पराली को आग लगाई थी. वहीं पांच किसानों पर लगभग 20, 000 रुपये् का जुर्माना भी किया गया है. पराली को आग लगाने की घटनाओं को रोकने के लिए जिला प्रशासन और कृषि विभाग संयुक्त रूप से किसानों को जागरूक करने में जुटा है. अलग-अलग माध्यम से किसानों को पराली नहीं जलाने के लिए प्रेरित किया जा रहा है और विभाग और सरकार द्वारा दी जा रही योजनाओं के बारे में भी जानकारियां दी जा रही है.
16 जगह मिली थी आगजनी की घटना
कृषि उप निदेशक डॉक्टर सुखदेव कंबोज ने मीडिया से बातचीत करते हुए बताया कि सिरसा में हरसक के माध्यम से कुल 16 जगह पर आगजनी की घटना मिली थी. उनमें से पांच जगह की पहचान कर पांचो किसानों पर 20,000 रुपये का जुर्माना किया गया है. वहीं तीन किसानों पर एफआईआर दर्ज कर रेवेन्यू डिपार्टमेंट में रेड एंट्री दर्ज की गई है जो 2 साल तक एमएसपी पर अपनी कोई भी फसल को नहीं बेच पाएंगे. कृषि विभाग के उपनिदेशक सुखदेव सिंह ने मीडिया ने बताया कि धान की पराली नहीं जलाने को लेकर इस मुहिम की शुरुआत की गई है.
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सिरसा के 11 गांव रेड जोन में शामिल
वहीं किसानों को जागरूकता वैन और अन्य के माध्यम से न केवल पराली जलाने से होने वाले नुकसान के बारे में जागरूक किया जा रहा है बल्कि पराली के धुएं से स्वास्थ्य पर होने वाले नुकसान के बारे में भी अवगत करवाया जा रहा है. इसी के साथ पराली प्रबंधन कर भूमि की उर्वरा शक्ति को बढ़ाने की जानकारी भी किसानों को दी जा रही है. पराली को मिट्टी में मिलाने व गांठ बनाने वाले किसान को 1,000 रुपये प्रति एकड़ प्रोत्साहन राशि मिलेगी. रेड से ग्रीन जोन में आने वाले गांव की पंचायत को 1 लाख रुपये मिलेंगे. सिरसा के 11 गांव रेड जोन में शामिल हैं.