Bhajanpura Murder Case: समीर (Sameer) हाल में ही 18 साल का हुआ है. इस उम्र में बच्चे अपने करियर को लेकर परेशान रहते हैं. और कुछ ऐसे भी होते हैं जो अपनी अलग दुनिया की तलाश में भटक जाते हैं. समीर भी 18 साल का एक भटका हुआ क्रिमिनल है जिसे बच्चा कहना सही नहीं होगा.
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Bhajanpura Murder Case: समीर (Sameer) हाल में ही 18 साल का हुआ है. इस उम्र में बच्चे अपने करियर को लेकर परेशान रहते हैं. और कुछ ऐसे भी होते हैं जो अपनी अलग दुनिया की तलाश में भटक जाते हैं. समीर भी 18 साल का एक भटका हुआ क्रिमिनल है जिसे बच्चा कहना सही नहीं होगा. समीर पर 18 की उम्र में चार हत्या के आरोप हैं. उसका इंस्टाग्राम (Instagram) अकाउंट देख कर अंदाजा लगाया जा सकता है. इसके इरादे कितने खतरनाक हैं. भजनपुरा मर्डर केस (Bhajanpura Murder Case) ने समीर की हैरान करने वाली हकीकत सामने आई है.
पहले इसका पता देखिए (इंस्टाग्राम)
नाम बदनाम
पता कब्रिस्तान
उम्र जीने की
शौक मरने की
समीर कैसे बना माया?
समीर कैसे माया करेक्टर में घुसा और उसके सिर खून क्यों सवार हुआ.. इस सवाल का जवाब आपको फिल्म 'शूट आउट एट लोखंडवाला' देखकर मिल जाएगा. समीर ने 'शूट आउट एट लोखंडवाला' के हीरो विवेक ओबेरॉय से प्रभावित होकर अपना नाम माया रख लिया. इस फिल्म में विवेक ओबेरॉय का नाम माया था.
खतरनाक इरादे..
समीर उर्फ माया पर हत्या के अलावा में हत्या की कोशिश, लूट, आर्म्स एक्ट के तकरीबन 10 मामले दर्ज हैं. इसने अपने गैंग में 20 से 25लड़को को जोड़ रखा है. इस गैंग के अपराधियों को गोली चलाने में जरा भी डर नहीं लगता. इंस्टाग्राम पर इस गैंग के वीडियो लगातार अपलोड होते रहे हैं. समीर की बस एक ही ख्वाहिश है कि उसे बड़ा डॉन बनना है. कुछ दिन पहले ही समीर सुधार गृह से बहार निकला था.
नाबालिग होने का उठाया फायदा
भजनपुरा मर्डर केस तो आपको याद ही होगा. इस मामले में अब तक दो आरोपी गिरफ्तार किए गए हैं. किया गया. नॉर्थ ईस्ट दिल्ली के डीसीपी ने बताया कि समीर का ये चौथा मर्डर है. समीर हर केस में पकड़ा गया लेकिन नाबालिग होने के चलते छूटता गया. अब बालिग है तो उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई होगी. समीर उर्फ़ माया व्यवहार में काभी आक्रामक है. उसपर घर वालों का कंट्रोल नहीं रहा है.
बेहद खतरनाक है माया गैंग..
डीसीपी ने बताया कि भजनपुरा मर्डर केस में Semi-automatic 7.65mm pistol इस्तेमाल हुई है. समीर के पास यह पिस्टल कहां से आई इसे लेकर जांच जारी है. कानून के हिसाब से अबतक नाबालिग होने के चलते समीर और उसके दोस्तों का रिकॉर्ड पुलिस के पास नहीं है. नाबालिग लड़कों का यह गैंग कई घटनाओं में आरोपी है.
रोड रोज का मामला..
अब बात करते हैं इस मर्डर के बारे में समीर और उसे पांचों सहयोगी समीर के घर पर खाना खाकर स्कूटी से घूमने निकले थे. रास्ते में क्या हुआ कि इस गैंग ने हरप्रीत गिल की जान ले ली? कैसे एक मामूली सी बात को लेकर दिल्ली के भजनपुरा में रहने वाले हरप्रीत गिल की जान ले ली गई. यह मामला 29 तारीख के देर रात का है जब हरप्रीत काम से अपने मामा के साथ वापस घर लौट रहे थे. तभी पांच बदमाशों ने उन्हें घेर कर गोली चला दी. दिल्ली पुलिस ने मर्डर की धारा लगाकर जांच शुरू की.
..और मार दी गोली
यह पूरा मामला रोड रेज का बताया जा रहा है. हरप्रीत गिल सुभाष मोहल्ले के गली नंबर 7 से होकर अपने घर लौट रहे थे. वह गली काफी ज्यादा तंग थी. मौके पर पांचो बदमाश भी उसी गली से गुजर रहे थे. दोनों में गाड़ी बाहर निकालने को लेकर बहस छिड़ गई. इसके बाद माया गैंग से जुड़े बदमाशों ने हरप्रीत और उनके मामा पर गोली चला दी. हरप्रीत की मौके पर ही मौत हो गई और उसके मामा इस वक्त अस्पताल में भर्ती हैं और उनकी हालत नाजुक बताई जा रही है.
गोली समीर ने चलाई
दिल्ली पुलिस ने पांच में से एक बदमाश बिलाल गानी को अरेस्ट किया है. घटना को अंजाम देने में बिलाल के साथ सोहेल, जुनैद, अदनान और मोहम्मद समीर का नाम सामने आया है. गोली मोहम्मद समीर ने चलाई थी. इन सभी की उम्र 18, 19 और 23 साल के आसपास बताई जा रही है. दिल्ली पुलिस ने क्राइम सीन पर गोलियों की मार्किंग भी की. पूरे मामले में आगे की जांच अभी भी चल रही है.
हरप्रीत की मां कर रही थी बेटे का इंतजार
ज़ी न्यूज़ की टीम आज सुबह हरप्रीत के घर पहुंची और उनकी मां से बातचीत की. उन्होंने बताया कि उनका बेटा घर से बोल कर निकला कि वह जल्द वापस आएगा. वे हरप्रीत के लिए खाना गर्म कर इंतजार कर रही थीं. अचानक से देर रात उन्हें कॉल आई कि उनके बेटे को गोली लगी है. हरप्रीत की मां का रो-रो कर बुरा हाल है.