कहीं आपका घर भी तो नहीं बन गया है सांप का घर; सांप को पसंद है आपके घर का ये कोना
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कहीं आपका घर भी तो नहीं बन गया है सांप का घर; सांप को पसंद है आपके घर का ये कोना

सांप इसानों के साथ रहना पसंद नहीं करते हैं, लेकिन इसके बावजूद कुछ ऐसी परिस्थितियां होती है, जो उन्हें मानव आबादी और मानव आवास आकर्षित करते हैं और वह आपके घरों में रहने लगते हैं.

अलामती तस्वीर

नई दिल्लीः गर्मी और बरसात के मौसम में सांपों का मानव आबादी में आना और सर्पदंश की घटनाएं अचानक बढ़ जाती है. सांप के काटने से हर साल देश में लाखों लोगों की मौत हो जाती है, क्योंकि सांपों से जुड़ी जानकारी का यहां बेहद अभाव है. आज हम बात करेंगे कि आखिर वह कौन-सी परिस्थितियां हैं, जो घरों में सांपों को आमंत्रण देती है.

सर्प विशेषज्ञ सुनील कुमार संक्रेटिक कहते हैं, "सांप एक उष्णकटिबंधीय जीव है. उसे गर्म जगह, एकांत और अंधेरे में रहना पसंद है. वह अपना रहवास किसी से साझा नहीं करता है.
सांप एक जंगली जानवर है, इसके बावजूद वह मानव आबादी और घरों में चला आता है. मानव आबादी या घरों में सांप के आने के कई कारण होते हैं. सांप अक्सर चूहे, मुर्गी के चूजे, छिपकिली या मेढ़क की खोज में घरों में चले आते हैं." 

सांप की किस्म और उसके आकार पर भी निर्भर करता है कि सांप कहां रहता है या उसे रहना पसंद है. अंधवा सांप यानी ब्लाइंड वर्म स्नेक मिट्टी के नीचे रहना पसंद करते हैं. पिट वाइपर ज्यादातर जंगल में रहना पसंद करते हैं. दबोइया यानी रसेल वाइपर, अफई यानी सॉ स्केल्ड वाइपर और धामन आदि सांप खेतों, बाग-बागीचा, फुलवारी, घर के बाहर अहाते में रहना पसंद करते हैं.  अजगर या फिर किंग कोबरा जैसे सांप मानव बस्ती से हटकर रहना पसंद करते हैं. वह कभी-कभार ही घरों में प्रवेश करते हैं.

कुछ छोटे और मंझोले सांप अपनी शिकार की खोज में या उनका पीछा करने घरों में घुस जाते हैं. दुर्भाग्य से इस श्रेणी में भारत के दो विषैले सांप कोबरा और करैत भी आते हैं. कोबरा जहां तुनक मिजाज होता है, वहीं कैरत चुपके से इंसानों को काट लेता है, और लोगों को इसकी खबर भी नहीं होती है.

1. सांप अक्सर गांवों में कच्चे या छप्पड़, खपड़ा, शहतीर वाली छत या एस्बेस्टस से बने मकानों को अपना ठिकाना बना लेते हैं.
2. ग्रामीण इलाकों में अर्धनिर्मित या कच्चे मकानों में सांपों के वास करने के सारे कारण मौजूद होते हैं.
3. मानव आबादी जहां खेत, जंगल, गोदाम, खंडहर, बंद पड़ा मकान या फैक्टरी हो वहां सांपों के रहने की संभावना ज्यादा हेती है. 
4. ईंटों के टुकड़ों का टीला या साबुत ईंटों का ढेर
5. उपले, कंडे, गोयठे का टाल, लकड़ी की चैली, लट्ठा, बांस-बल्लियों का ढे़र
6.कूड़ा, कचरा, गंदगी, कबाड़ युक्त मकान और मकानों में बेतरतीब से रखे हुए सामान सांपों का घर हो सकते हैं.
7.अनाज की बोरियां, भूसा, पुआल का ढेर, तिलहन, फसल की ढाठ का गट्ठर
8.कमरे के कोने में रखे गए बॉक्स, मृदभांड, ड्रम, चौकी, दीवान, पटरी के नीचे का कचरे से भरा स्पेस, 
9. फर्श, दीवार, कच्ची और बंद नाली, घरों में चूहों का बिल, कोई सुराख या फिर कोई भी ऐसी जगह जहां सांप बिना डिस्टर्ब हुए एकांत में रह सकता हो. सांपों के रहने के लिए आदर्श स्थान होता है.
10. गोशाला, भूसा कक्ष, मुर्गी या कबूतर का दरबा सांपों के आकर्षण का विशेष केंद्र होता है. 
अगर उपरोक्त स्थानों पर एकांत, अंधेरा और नमी भी मौजूद हो तो वह सांपों के लिए किसी किले से कम नहीं होते हैं. इसके साथ ही यहां अगर मेढ़क, चूहा, छिपकली मिलता रहे तो सांप ऐसे स्थानों को अपना स्वर्ग मानते हैं.
11. घरों के आसपसस बेतरतीब झाड़ियां, घास-फूस और शिकार सांपों को घरों के आसपास अपना डेरा डालने के लिए मजबूर करते हैं.

अगर आपके घरों में या उसके आसपास ऐसी परिस्थितियां हों तो उसे दूर करने की कोशिश करें और अगर आपका आवास ऐसे स्थानों पर ही हो तो रात में घरों में रौशनी रखें और साते वक्त मछरदानी का प्रयोग करें. सर्प दंश होने पर कभी भी झाड़-फूक और जड़ी-बूटी के चक्कर में न पड़े, इससे जान जा सकती है. सर्पदंश का एकमात्र इलाज एंटीवीनम होता है, जो सरकारी अस्पतालों में मुफ्त दिया जाता है. 

Zee Salaam

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