राहुल गांधी के वह 'सियासी नारे' जिसे बर्दाश्त करना भाजपा के लिए हो गया था मुश्किल
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राहुल गांधी के वह 'सियासी नारे' जिसे बर्दाश्त करना भाजपा के लिए हो गया था मुश्किल

Rahul Gandhi political slogan and remarks that irrupts controversy : कांग्रेस नेता और सांसद राहुल गांधी ने समय-समय पर भाजपा, प्रधानमंत्री मोदी, गृह मंत्री अमित शाह और सरकार की योजनाओं को लेकर ऐसे-ऐसे तंज कसे, जिसे भाजपा पे लिए पचा पाना मुश्किल होता था और पार्टी राहुल के खिलाफ मुकदमे दर्ज कराती रही है.

राहुल गांधी

Rahul Gandhi political slogan and remarks that irrupts controversy : कांग्रेस नेता और सांसद राहुल गांधी को गुजरात की एक अदालत ने 2019 में 'मोदी' जाति पर अपमानजनक टिप्पणी करने के लिए दो साल की कैद की सजा सुनाई थी. इसके बाद शुक्रवार को लोकसभा में उन्हें सदन की सदस्या से वंचित कर दिया गया है. राहुल गांधी ने अपने चुनावी सभा में कहा था कि सभी चोरों का मोदी उपनाम क्यों होता है. उनके इस कथन को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, नीरव मोदी और मेहुल चौकसी से जोड़कर देखा गया और इसे मोदी समाज का अपमान बताया गया. राजनीति में इस तरह के नारे और तंज चलते रहते हैं, लेकिन राहुल गांधी पकड़ लिए गए. 
हालांकि, यह कोई पहला मामला नहीं था, जब राहुल ने किसी पर इतना करारा तंज किया हो. राहुल प्रधानमंत्री मोदी को लेकर कई तरह के नारे गढ़ चुके हैं, जो देश की सियासत में काफी हिट हुए हैं और भाजपा के लिए मिसफिट! इसलिए राहुल के दोषी करार होने और सदस्यता जाने से जहां भाजपा में खुशी की लहर है, वहीं कांग्रेस सड़कों पर है.  

'चौकीदार ही चोर है'
राफेल विमान की खरीदारी में हुए कथित दलाली घोटोले को लेकर राहुल गांधी ने मोदी पर बड़ा इल्जाम लगाते हुए कहा था कि 'चौकीदार (पीएम मोदी) ही चोर है’. ऐसा उन्होंने इसलिए कहा था कि क्योंकि नरेंद्र मोदी खुद को इस देश का चौकीदार बता चुके हैं. हालांकि, राहुल गांधी के एक टिप्पणी पर विवाद खड़ा हो गया था. भाजपा सांसद मीनाक्षी लेखी ने सुप्रीम कोर्ट में राफेल के फैसले पर अपनी टिप्पणी के लिए गांधी के खिलाफ अवमानना कार्रवाई की मांग की थी. राहुल गांधी ने अपने राजनीतिक नारे ’चौकीदार ही चोर है’ के लिए शीर्ष अदालत में बिना शर्त माफी मांग ली थी. सुप्रीम कोर्ट ने राहुल के खिलाफ अवमानना ​​कार्यवाही को रद्द कर दिया और आगे से सावधान रहने को कहा. वहीं, राहुल गांधी ने कहा कि उनका बयान राजनीतिक से प्रेरित था, लेकिन उनके विरोधियों द्वारा इस नारे का दुरुपयोग किया गया था.

'RSS ने महात्मा गांधी को मार डाला’
2014 के आम चुनाव के वक्त राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के एक स्थानीय पदाधिकारी राजेश कुंटे ने ठाणे के भिवंडी टाउनशिप में राहुल गांधी के भाषण के खिलाफ मामला दर्ज किया था. इसमें कांग्रेस नेता ने इल्जाम लगाया था कि गांधी की हत्या के पीछे आरएसएस का हाथ था. महाराष्ट्र में मानहानि की कार्यवाही का सामना कर रहे राहुल गांधी ने शीर्ष अदालत से कहा कि उन्होंने कभी भी महात्मा गांधी की हत्या के लिए आरएसएस को जिम्मेदार नहीं ठहराया.

'रेप इन इंडिया’
राहुल गांधी ने झारखंड में एक चुनावी रैली को खिताब करते हुए उस वक्त विवाद खड़ा कर दिया, जब उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री ने 'मेक इन इंडिया’ कहा था, लेकिन आज हम जो देखते हैं वह 'रेप इन इंडिया’ हो गया है. मोदी सरकार और बीजेपी पर हमला बोलते हुए राहुल गांधी ने कहा था, 'झारखंड में महिलाओं का रेप हो रहा है. बकौल राहुल गांधी, "उत्तर प्रदेश में भाजपा के एक विधायक (कुलदीप सेंगर) ने एक महिला का रेप किया. हर राज्य में रेप हो रहे हैं. मोदी ने 'बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ’ का नारा दिया था, लेकिन मोदी ने यह नहीं बताया कि बेटियों को किससे बचाना चाहिए. क्या उन्हें बीजेपी विधायकों से सुरक्षा मिलनी चाहिए?’’ राहुल के इस बयान के बाद एक सामाजिक कार्यकर्ता ने उनके खिलाफ देशद्रोह का मामला दर्ज कराया था. 

'खून की दलाली’
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने 2016 में कहा था कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सेना के आतंकवाद विरोधी अभियान का राजनीतिक लाभ लेने की कोशिश करके 'खून की दलाली’ कर रहे हैं. आर्मी की खून के पीछे पीएम छिपे हुए है.’’ राहुंल गांधी ने कहा था कि वह आतंकवादियों के खिलाफ सर्जिकल स्ट्राइक की हिमायत करते हैं, लेकिन वह कभी भी राजनीतिक पोस्टरों और प्रचार में भारतीय सेना के इस्तेमाल का समर्थन नहीं करेंगे. 

"हत्या के आरोपी"
मध्य प्रदेश के जबलपुर में 2019 लोकसभा चुनाव प्रचार के दौरान राहुल गांधी ने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह को “हत्या के आरोपी“ कहा था. राहुल का निशाना अमित शाह थे, जिन्हें 2015 में सोहराबुद्दीन शेख फर्जी मुठभेड़ मामले में बरी कर दिया गया था. इस टिप्पणी के लिए राहुल गांधी के खिलाफ मानहानि का मामला दर्ज किया गया .

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