Gyanvapi Case: मुस्लिम पक्ष के पास बचे हैं ये विकल्प; शुक्रवार को हाईकोर्ट में हो सकती है सुनवाई
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Gyanvapi Case: मुस्लिम पक्ष के पास बचे हैं ये विकल्प; शुक्रवार को हाईकोर्ट में हो सकती है सुनवाई

Gyanvapi Case Update: मुस्लिम पक्ष ने जिला अदालत में एक प्रार्थना पत्र देकर पिछले आदेश को 15 दिन के लिए रोक लगाने की मांग की है. ज्ञानवापी मैनजमेंट ने मस्जिद के तहखाने में पूजा की इजाजत देने संबंधी वाराणसी अदालत के आदेश के खिलाफ हाईकोर्ट का रुख किया है. 

Gyanvapi Case: मुस्लिम पक्ष के पास बचे हैं ये विकल्प; शुक्रवार को हाईकोर्ट में हो सकती है सुनवाई

Gyanvapi Case Update: उत्तर प्रदेश के वाराणसी जिला कोर्ट ने 31 जनवरी को ज्ञानवापी मस्जिद मामले में अपना फैसला सुनाया. कोर्ट ने इस फैसले में हिन्दू पक्ष को कैंपस के तहखाने में पूजा-पाठ करने का अधिकार देने का आदेश दिया था, जिसके बाद बीती देर रात से तहखाने में पूजा-पाठ शरू हो गई. इस मामले को लेकर वाराणसी के डीएम ने कहा कि जिला जज कोर्ट के आदेश का अनुपालन कराया गया है. 

वहीं, इस मामले को लेकर मुस्लिम पक्ष ने जिला अदालत में एक प्रार्थना पत्र देकर पिछले आदेश को 15 दिन के लिए रोक लगाने की मांग की है. ज्ञानवापी मैनजमेंट ने मस्जिद के तहखाने में पूजा की इजाजत देने संबंधी वाराणसी अदालत के आदेश के खिलाफ हाईकोर्ट का रुख किया है. 

मुस्लिम पक्ष ने कोर्ट में दी चुनौती 
मस्जिद की इंतजामिया कमेटी की इस पिटीशन पर कल दोपहर 12 बजे सुनवाई हो सकती है. इस याचिका में तहखाने में पूजा की इजाजत पर रोक लगाने की मांग की गई है. मस्जिद कमेटी ने पूजा स्थल अधिनियम 1991 ( Places of Worship Act 1991 ) का हवाला देते हुए जिला जज के फैसले को हाई कोर्ट में चुनौती दी है. बता दें कि वाराणसी जिला कोर्ट ने बुधवार को ज्ञानवापी स्थित तहखाने में व्यास जी के परिवार को पूजा अर्चना की इजाजत दी है. 

मुस्लिम संगठनों की मीटिंग खत्म
दूसरी तरफ,  ज्ञानवापी मामले को लेकर मुस्लिम संगठनों ने दिल्ली में एक बैठक की. इस बैठक में जमीयत उलेमा-ए-हिंद के मौलाना अरशद मदनी और मौलाना महमूद मदनी,  जमात ए-इस्लामी-हिंद के नेशनल वाइस प्रसिडेंट सलीम इंजीनियर और मलिक मोहताशीम मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के प्रवक्ता सैयद कासिम रसूल इलियास, कमाल फारुकी जमात-ए-एहले हदीस से इमाम असगर अली मेंहदी,  जमीयत-उलेमा-हिंद से मौलाना नियाज़ अहमद फारूकी मौजूद रहे. 

3 घंटे तक चली बैठक.., लिया गया ये फैसला
बैठक जमीयत उलेमा-ए-हिंद के दफ्तर में हुई थी, जो करीब 3 घंटे तक चली. जानकारी के मुताबिक,  मीटिंग के बाद कहा यह जा रहा है कि कानूनी तौर पर इस मुद्दे पर किस तरह अपनी राय रखी जाए और आगे बढ़ा जाए यह सभी मुद्दे तय किए गए. हालांकि,  पत्रकारों से सिर्फ इतना कहा गया की प्रेस कांफ्रेंस करके इसकी जानकारी दी जाएगी.

वहीं, मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड से कमाल फारुकी ने कहा कि आज जिन-जिन मुद्दों पर हमारी बातचीत हुई है, इसके लिए कल दिल्ली के प्रेस क्लब में सभी मेंबर और सभी मुस्लिम तंजीमो के लोग प्रेस कांफ्रेंस करके आज जिन मुद्दों पर बातचीत हुई है मीडिया के सामने रखेंगे.

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