मंगल ग्रह पर 'सुपर स्पेस आलू' के भीतर रहेंगे इंसान, जानें कैसे बनेंगे सब्जी से ईंट और घर

मंगल ग्रह पर इंसानों को बसाने के लिए वैज्ञानिक अनोखा प्रयोग करने जा रहे हैं. इंसान लाल ग्रह पर उगाई जाने वाली 'अंतरिक्ष सब्जियों' से बने विशाल आलू घरों में रह सकते हैं. स्टारक्रीट आलू स्टार्च से प्राप्त एक भविष्य की निर्माण सामग्री होगी. इसी से घर बनेंगे.

Written by - Vineet Sharan | Last Updated : Mar 22, 2023, 01:22 PM IST
  • स्टारक्रीट को सामान्य कंक्रीट से दोगुना मजबूत कहा जा रहा है
  • आलू की 25 किलो की बोरी से आधा टन स्टारक्रीट बनेगा
मंगल ग्रह पर 'सुपर स्पेस आलू' के भीतर रहेंगे इंसान, जानें कैसे बनेंगे सब्जी से ईंट और घर

लंदन: आपने ईंट, पत्थर, संगमरमर, लकड़ी, लोह और कांच से बने घरों के बारे में सुना होगा. पर मंगल ग्रह पर इंसानों को बसाने के लिए वैज्ञानिक अनोखा प्रयोग करने जा रहे हैं. मंगल ग्रह के निवासी लाल ग्रह पर उगाई जाने वाली 'अंतरिक्ष सब्जियों' से बने विशाल आलू घरों में रह सकते हैं. वैज्ञानिकों के मुताबिक भविष्य के मंगल ग्रह निवासी आलू के अंदर रह सकते हैं और काम कर सकते हैं . 

कैसे बनेंगे आलू वाले घर
अंतरिक्ष यात्री 'स्टारक्रीट' (StarCrete) से बनी इमारतों के अंदर अपने मंगल ग्रह के दिन बिताएंगे. स्टारक्रीट आलू स्टार्च से प्राप्त एक भविष्य की निर्माण सामग्री होगी. लाल ग्रह कॉलोनी बनाने के लिए एक सस्ते समाधान के रूप में क्रांतिकारी नई सामग्री स्टारक्रीट मंगल पर आसानी से बनाई जा सकती है.

स्टारक्रीट कैने बनेगा
स्टारक्रीट को सामान्य कंक्रीट से दोगुना मजबूत कहा जा रहा है. StarCrete के पीछे के वैज्ञानिकों का कहना है कि धरती से इतर धूल, आलू स्टार्च और एक चुटकी नमक से बनी उनकी नई सामग्री अन्य निर्माण सामग्री को मात दे सकती है. यह कंक्रीट के 32 एमपीए की तुलना में 72 एमपीए (मेगापास्कल) की "कंप्रेसिव स्ट्रेंथ" के साथ कंक्रीट जैसी सामग्री का उत्पादन करता है.

25 किलो की बोरी से आधा टन स्टारक्रीट
जर्नल ओपन इंजीनियरिंग में प्रकाशित शोध के अनुसार, निर्जलित आलू की 25 किलो की बोरी में आधा टन स्टारक्रीट बनाने के लिए पर्याप्त स्टार्च होता है.यह लगभग 213 से अधिक ईंटों के बराबर है.वैज्ञानिकों का कहना है कि तीन बेडरूम वाले घर के लिए लगभग 7,500 ईंटों की आवश्यकता होती है.एक आम मंगल नमक - मैग्नीशियम क्लोराइड - भी StarCrete की ताकत में सुधार करता है.

क्या बोले शोधकर्ता
शोध का नेतृत्व करने वाले यूके के मैनचेस्टर विश्वविद्यालय के डॉ एलेड रॉबर्ट्स ने कहा, चूंकि हम अंतरिक्ष यात्रियों के लिए भोजन के रूप में स्टार्च का उत्पादन करेंगे. भविष्य में इसी सामग्री से घर भी बना लेंगे. "स्टारक्रीट को बनाने में ज्यादा संसाधनों की आवश्यकता नहीं है और इसलिए यह मिशन को सरल बनाता है और इसे सस्ता और अधिक व्यवहार्य बनाता है." 

शोधकर्ता यह दिखाने में सक्षम थे कि आलू का स्टार्च मंगल की धूल के साथ बांधने का काम करता है.अफसोस की बात है कि नकारात्मक पक्ष यह है कि वैज्ञानिकों को अभी भी मंगल ग्रह पर आलू उगाने का तरीका खोजने की जरूरत है.ये सुपर स्पेस आलू अभी भी वर्षों दूर हो सकते हैं.

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