अमेरिका पहुंचा कांवड़ यात्रा रूट में नेम प्लेट लगाने का मुद्दा, जानें क्या प्रतिक्रिया आई?

Kanwar Yatra Route Name Plate: एक पाकिस्तानी पत्रकार ने अमेरिकी विदेश विभाग के प्रवक्ता मैथ्यू मिलर से कांवड़ यात्रा के रूट पर पड़ने वाली दुकानों पर नेम प्लेट लगाने के आदेश पर सवाल पूछा. इस पर उनकी प्रतिक्रिया सामने आई है.

Written by - Zee Hindustan Web Team | Last Updated : Jul 25, 2024, 07:27 AM IST
  • अमेरिकी विदेश विभाग की प्रतिक्रिया
  • कहा- भारत के SC ने रोक लगा दी
अमेरिका पहुंचा कांवड़ यात्रा रूट में नेम प्लेट लगाने का मुद्दा, जानें क्या प्रतिक्रिया आई?

नई दिल्ली: Kanwar Yatra Route Name Plate: यूपी समेत कई राज्यों की सरकार ने कांवड़ यात्रा के रूट में आने वाली दुकानों पर नाम चस्पा करने का आदेश दिया था. लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने इस आदेश पर रोक लगा दी थी. अब ये मामला अमेरिका तक भी पहुंच गया है. दरअसल, एक पाकिस्तानी पत्रकार ने अमेरिका के विदेश विभाग के प्रवक्ता से को लेकर सवाल पूछा है.

प्रवक्ता मैथ्यू मिलर बोले- सुप्रीम कोर्ट ने आदेशों पर लगाई रोक
पाकिस्तानी पत्रकार के सवाल पर अमेरिकी विदेश विभाग के प्रवक्ता मैथ्यू मिलर (Matthew Miller) ने कहा कि हमने ऐसी रिपोर्ट्स पढ़ी हैं जिनमें ये कहा गया है कि भारत के सुप्रीम कोर्ट ने 22 जुलाई को इस आदेश पर रोक लगा दी है. इसके बाद कांवड़ यात्रा के रूट पर आने वाली दुकानों पर नेम प्लेट लगाने का नियम प्रभावी नहीं रहा. 

हम सभी धर्मों की स्वतंत्रता के पक्षधर
अमेरिकी विदेश विभाग के प्रवक्ता मैथ्यू मिलर ने आगे कहा कि हम दुनिया के सभी धर्मों और विश्वास की आजादी को बढ़ावा देने के समर्थक हैं. हम इनकी रक्षा करने के लिए पूरी तरह से प्रतिबद्ध हैं. इसके लिए हम बाकियों से भी संपर्क में रहते हैं. 

सुप्रीम कोर्ट में आदेश के पक्ष में नई याचिका दायर 
बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने भले इस मामले में नए नियमों पर रोक लगा दी हो. लेकिन यूपी के मुजफ्फरनगर पुलिस के निर्देश के समर्थन एक नई याचिका सुप्रीम कोर्ट में दाखिल की गई है. याचिका दायर करने वाले सुरजीत सिंह यादव ने कहा है कि दुकानों पर नाम लगाने से शिवभक्तों को सुविधा होगी. उनकी आस्था और कानून व्यवस्था को बनाए रखने के लिए ये निर्देश दिया गया.

याचिकाकर्ता- मुझे भी पक्षकार बनाओ
याचिकाकर्ता का कहना है कि इस निर्देश को बिना वजह सांप्रदायिक रंग दिया जा रहा है. कोर्ट में जिन्होंने इन निर्देशों के खिलाफ याचिका डाली वे दुकानदार नहीं हैं, बल्कि मामले को सियासी रंग देने वाले लोग हैं. याचिकाकर्ता ने कोर्ट से खुद को इस मामले में पक्षकार बनाने का आग्रह किया है. साथ ही ये मांग भी कि है कि उसका भी पक्ष सूना जाना चाहिए.

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