संजय राउत को चंद्रकांत पाटिल का जवाब, 'बाबरी विध्वंस में शिवसेना का कोई कार्यकर्ता शामिल नहीं था'

पाटिल ने एक क्षेत्रीय समाचार चैनल से कहा, ‘अयोध्या में कारसेवकों की सुविधा के लिए मुझे बजरंग दल ने तीन-चार महीने के लिए वहां रखा था. इसमें भाग लेने वाले लोग या तो बजरंग दल, विहिप (विश्व हिंदू परिषद) या दुर्गा वाहिनी से थे.’ 

Written by - Zee Hindustan Web Team | Last Updated : Apr 11, 2023, 10:13 AM IST
  • पहले फडणवीस भी साध चुके हैं निशाना.
  • संजय ने दिया था फडणवीस का जवाब.
संजय राउत को चंद्रकांत पाटिल का जवाब, 'बाबरी विध्वंस में शिवसेना का कोई कार्यकर्ता शामिल नहीं था'

मुंबई. महाराष्ट्र के मंत्री और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के वरिष्ठ नेता चंद्रकांत पाटिल ने सोमवार को दावा किया कि अयोध्या में बाबरी मस्जिद को जब छह दिसंबर 1992 को बजरंग दल और दुर्गा वाहिनी ने ढहाया था, उस समय उस जगह के पास शिवसेना का एक भी कार्यकर्ता मौजूद नहीं था. पाटिल ने एक क्षेत्रीय समाचार चैनल से कहा, ‘अयोध्या में कारसेवकों की सुविधा के लिए मुझे बजरंग दल ने तीन-चार महीने के लिए वहां रखा था. इसमें भाग लेने वाले लोग या तो बजरंग दल, विहिप (विश्व हिंदू परिषद) या दुर्गा वाहिनी से थे.’ 

उन्होंने कहा, ‘RSS की ताकत हमारे पीछे थी लेकिन उसने खुलकर हिस्सा नहीं लिया. उसने अपने काम को समान विचारधारा वाले संगठनों में वितरित किया था.’ पाटिल ने कहा कि शिवसेना (यूबीटी) के नेता एवं राज्यसभा सदस्य संजय राउत बाबरी मस्जिद विध्वंस के बारे में बात करते रहते हैं, लेकिन उनके मन में सवाल पैदा होता है कि क्या वह उस समय अयोध्या में थे भी! 

फडणवीस भी साध चुके हैं निशाना, राउत ने दिया था जवाब
दरअसल शिवसेना सांसद संजय राउत ने कहा था कि राम जन्मभूमि आंदोलन में उनकी पार्टी की भूमिका के बारे में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) को अपने नेताओं से सवाल करना चाहिए. राउत का यह बयान भाजपा नेता देवेंद्र फडणवीस की उस टिप्पणी पर पलटवार है, जिसमें उन्होंने कहा था कि अयोध्या में बाबरी ढांचे को गिराए जाने के समय शिवसेना का कोई नेता मौजूद नहीं था.

संजय राउत ने क्या कहा था? मनसे पर भी साधा निशाना
शिवसेना के प्रवक्ता संजय राउत ने दावा किया था कि भाजपा और उसकी 'सहयोगी' (महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना की ओर इशारा करते हुए) बेरोजगारी, महंगाई और चीनी घुसपैठ जैसे मुद्दों से ध्यान हटाने के लिए हनुमान चालीसा और अयोध्या जैसे विषयों को उठाने की कोशिश कर रही है.

बता दें कि कुछ महीने पहले महाराष्ट्र की राजनीति हनुमान चालीसा को लेकर काफी ज्यादा गर्म हो गई थी. तब राज्य के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे होते थे. राज ठाकरे ने उस वक्त औरंगाबाद में रैली कर राज्य सरकार पर जमकर निशाना साधा था. 

इसे भी पढ़ें- साल बाद आये BCCI अधिकारियों के अच्छे दिनबोर्ड ने DA बढ़ा कर की पैसों की बरसात

Zee Hindustan News App: देश-दुनिया, बॉलीवुड, बिज़नेस, ज्योतिष, धर्म-कर्म, खेल और गैजेट्स की दुनिया की सभी खबरें अपने मोबाइल पर पढ़ने के लिए डाउनलोड करें ज़ी हिंदुस्तान न्यूज़ ऐप.  

ट्रेंडिंग न्यूज़