Tristan da Cunha: दुनिया से अलग-थलग यह गांव जन्नत की सैर कराता है, रहते हैं सिर्फ 250 लोग
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Tristan da Cunha: दुनिया से अलग-थलग यह गांव जन्नत की सैर कराता है, रहते हैं सिर्फ 250 लोग

Tristan da Cunha: दुनिया के बाकी हिस्सों से अलग ट्रिस्टन दा कुन्हा द्वीप केवल 250 लोगों का घर है. हालांकि, 7 जुलाई 2023 को जारी लेटेस्ट डेटा के अनुसार द्वीप की जनसंख्या केवल 234 रह गई है. विकिपीडिया पर उपलब्ध आंकड़ों के अनुसार 2016 की जनगणना के अनुसार ट्रिस्टन दा कुन्हा द्वीप की जनसंख्या 293 थी.

Tristan da Cunha: दुनिया से अलग-थलग यह गांव जन्नत की सैर कराता है, रहते हैं सिर्फ 250 लोग

Tristan da Cunha: दुनिया के बाकी हिस्सों से अलग ट्रिस्टन दा कुन्हा द्वीप केवल 250 लोगों का घर है. हालांकि, 7 जुलाई 2023 को जारी लेटेस्ट डेटा के अनुसार द्वीप की जनसंख्या केवल 234 रह गई है. विकिपीडिया पर उपलब्ध आंकड़ों के अनुसार 2016 की जनगणना के अनुसार ट्रिस्टन दा कुन्हा द्वीप की जनसंख्या 293 थी. दुनिया में ऐसी कई जगहें हैं जहां पर्यटक छुट्टियों के दौरान घूमने आते हैं. कुछ लोग हिल स्टेशनों या समुद्र तटों पर जाना पसंद करते हैं जबकि अन्य लोग द्वीपों पर जाना पसंद करते हैं.

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समुद्र के पानी से घिरे द्वीप की सुंदरता अलग और अनोखी होती है जबकि वहां का नजारा एक अलग ही दुनिया में ले जाता है. द्वीपों की अलग दुनिया का आनंद लेना है तो आपकी ट्रैवेल लिस्ट में ट्रिस्टन दा कुन्हा द्वीप का नाम जरूर होना चाहिए. कुछ द्वीप खूबसूरत और बेहद खास और रहस्यमय हैं. ऐसा ही एक रहस्यमयी द्वीप जो दुनिया के सभी द्वीपों से बिल्कुल अलग है, वह है ट्रिस्टन दा कुन्हा. यह दुनिया की सबसे कम आबादी वाली जगहों में से एक है.

ट्रिस्टन दा कुन्हा द्वीप बाकी दुनिया से अलग है. यह दुनिया का सबसे दूरस्थ हिस्सा है जहां केवल कुछ ही लोग रहते हैं. रिपोर्ट्स के मुताबिक, पुर्तगाली खोजकर्ताओं ने इस जगह की खोज 1506 में की थी. दुनिया के बाकी हिस्सों से अलग यह द्वीप दक्षिण अफ्रीका के केप टाउन से लगभग 2787 किमी दूर दक्षिण अटलांटिक महासागर में स्थित है.

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कथित तौर पर, वर्ष 1816 में कुछ ब्रिटिश सैनिक कुछ नागरिकों के साथ इस द्वीप पर चले गए. उनमें बच्चे भी थे और महिलाएं भी थीं. नेपोलियन बोनापार्ट को सेंट हेलेना से रोकने के लिए ब्रिटिश सैनिक इस द्वीप पर तैनात थे.

जब स्थिति में सुधार हुआ तो कुछ सैनिकों और नागरिकों ने इस द्वीप को अपना घर बना लिया. 2018 तक, द्वीप में ब्रिटिश प्रवासी क्षेत्र की नागरिकता वाले 250 स्थायी निवासी थे. इस द्वीप की अर्थव्यवस्था की बात करें तो यहां के लोग फिशिंग से होने वाली कमाई से अपना खर्च चलाते हैं. साथ ही ट्रैवेल के भी इस द्वीप के रहने वाले कमाई करते हैं. गौर करने वाली बात यह है कि इस द्वीप पर एक भी होटल नहीं है. सरकार ने यहां घूमने जाने वालों के लिए होम स्टे की व्यवस्था की है.

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इस द्वीप तक पहुंचने के लिए कोई हवाई पट्टी नहीं है, यहां केवल नाव से ही पहुंचा जा सकता है. इस आइलैंड पर जाने के लिए साउथ अफ्रीका से 6 दिन का सफर तय करना पड़ता है. ट्रिस्टन दा कुन्हा द्वीप बेहद खूबसूरत है. यहां रहने वाले निवासी इस जगह को साफ-सुथरा रखते हैं. इन निवासियों का उद्देश्य शांति से रहना और बाकी दुनिया से अलग रहना है.

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