महान खिलाड़ियों की विदाई फैंस को काफी भावुक कर देती है. शायद ही कोई ऐसा शख्स होगा जो सचिन तेंदुलकर की फेयरवेल स्पीच सुनकर रोया न हो.
यहां शुरुआत करते हैं 'गॉड ऑफ क्रिकेट' सचिन तेंदुलकर के नाम से, जिन्होंने अपने 24 साल के लंबे और शानदार करियर में कई शानदार रिकॉर्ड अपने नाम दर्ज किए हैं, जिनकी बराबरी करना आज भी किसी क्रिकेटर के बस की बात नही है. जैसे ही सबको पता चला कि सचिन क्रिकेट से संन्यास लेने जा रहे हैं तो दर्शकों के साथ-साथ पूरी टीम भावुक हो गई थी. तेंदुलकर ने 14 नवंबर 2013 को वानखेड़े स्टेडियम में अपने करियर का आखिरी इंटरनेशनल मैच खेला था. मैच के बाद जब सचिन अपनी फेयरवेल स्पीच दे रहे थे तब वहां मौजूद लगभग हर शख्स की आंखें नम हो गई थीं. उस वक्त हर कोई सिर्फ यही सोच रहा था कि अब वो कभी इस महान बल्लेबाज के बल्ले का जादू नहीं देख पाएंगे.
श्रीलंका के महान खिलाड़ी मुथैया मुरलीधरन की विदाई भी बेहद भावुक रही. टेस्ट क्रिकेट में 800 विकेट लेने का कीर्तिमान रचने वाले मुरलीधरन ने साल 2011 के वर्ल्ड कप में अपना आखिरी इंटरनेशनल मुकाबला खेला था. तब श्रीलंका की टीम फाइनल में पहुंची थी और उन्हें वर्ल्ड कप की ट्रॉफी गिफ्ट करना चाहती थी लेकिन उनका ये सपना अधूरा रह गया था. जहां एक तरफ टीम इंडिया महान बल्लेबाज सचिन तेंदुलकर को अपने कंधों पर उठाकर वर्ल्ड कप से विदाई दे रही थी तो वहीं दूसरी तरफ स्पिन के बादशाह मुरलीधरन ने बड़ी खामोशी से क्रिकेट से संन्यास लिया था. ये पल श्रीलंका की टीम और मुरलीधरन के फैंस के लिए वाकई में बहुत भावुक था.
भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कैप्टन सौरव गांगुली, जितने शानदार कप्तान थे उतने ही लाजवाब खिलाड़ी भी थे. उनकी कप्तानी में टीम इंडिया ने खूब तरक्की की और इस दौरान टीम को कई बेहतरीन प्लेयर्स भी मिले. गांगुली ने अपने प्रदर्शन से करोड़ों दिलों पर अपनी छाप छोड़ी, लेकिन उनकी विदाई काफी भावुक कर देने वाली थी. सौरव गांगुली ने महेंद्र सिंह धोनी की कप्तानी में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ नागपुर में अपना आखिरी टेस्ट मैच खेला था. धोनी ने उस वक्त गांगुली के सम्मान में मैच के कुछ ओवर्स में उन्हें कप्तानी करने के लिए कहा था और दादा ने भी धोनी का कहा मान लिया था. आपको बता दें कि गांगुली ने अपने आखिरी टेस्ट मैच में 85 रन बनाए थे और भारत की जीत में भागीदार बने थे. मैच खत्म होने के बाद पूरी टीम ने गांगुली को कंधों पर बिठाया और उन्हें एक भावुक विदाई दी थी.
श्रीलंका के गेंदबाज लसिथ मलिंगा ने कई बार अपनी टीम की जीत में अहम भूमिका निभाई है. हालांकि मलिंगा अभी भी टी20 क्रिकेट खेल रहे हैं, लेकिन टेस्ट और वनडे इंटरनेशनल से उन्होंने 26 जुलाई 2019 को संन्यास ले लिया था. लसिथ मलिंगा ने बांग्लादेश के खिलाफ कोलंबो में अपना आखिरी वनडे मुकाबला खेला था. इस दौरान स्टेडियम में दर्शकों के बीच उनके परिवार वाले भी मौजूद थे. इस मैच में मलिंगा ने 3 विकेट अपने नाम किए थे. मैच खत्म होने के बाद उन्हें शानदार तरीके से विदाई दी गई थी, जिसे देख वहां मौजूद दर्शक भी काफी भावुक हो गए थे.
वेस्टइंडीज के शानदार बल्लेबाज ब्रायन लारा ने पूरी दुनिया में अपने बल्लेबाजी की धाक जमाई थी. क्रिकेट के हर प्रारूप में कई बड़े रिकॉर्ड अपने नाम दर्ज करवाने वाले लारा की तुलना सचिन तेंदुलकर से की जाती थी. लारा ने साल 2007 में क्रिकेट से संन्यास लेने का फैसला किया था. 21 अप्रैल 2007 को इंग्लैंड के खिलाफ उन्होंने अपना आखिरी इंटरनेशनल मुकाबला खेला था. इस मैच में ब्रायन लारा ने सिर्फ 18 रन ही बनाए थे और उनकी टीम को महज 1 रन से हार का सामना करना पड़ा था. इस मैच में जब लारा आउट हुए और पवेलियन की तरफ जाने जाने लगे तो इंग्लैंड की टीम ने खड़े होकर उनको शानदार विदाई दी थी. मगर इतने महान खिलाड़ी को हार के साथ विदा करना काफी दुखद था.
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