Sirohi: एनीमिया मुक्त राजस्थान कार्यक्रम के तहत आंगनबाड़ी केंद्रों पर पिलाई गई दवा
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Sirohi: एनीमिया मुक्त राजस्थान कार्यक्रम के तहत आंगनबाड़ी केंद्रों पर पिलाई गई दवा

सिरोही जिले में एनीमिया मुक्त राजस्थान कार्यक्रम हर मंगलवार को चिकित्सा संस्थान और आंगनवाड़ी केंद्र पर मनाया जाता है. इसी को लेकर मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. राजेश कुमार ने सिरोही शहर की आंगनवाड़ी केंद्र बच्चों को आईएफए की दवाई पिलाई. 

Sirohi: एनीमिया मुक्त राजस्थान कार्यक्रम के तहत आंगनबाड़ी केंद्रों पर पिलाई गई दवा

Sirohi: राजस्थान के सिरोही जिले में एनीमिया मुक्त राजस्थान कार्यक्रम हर मंगलवार को चिकित्सा संस्थान और आंगनवाड़ी केंद्र पर मनाया जाता है. इसी को लेकर मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. राजेश कुमार ने सिरोही शहर की आंगनवाड़ी केंद्र बच्चों को आईएफए की दवाई पिलाई. 

मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. राजेश कुमार ने बताया कि जिले की सभी संस्थान पर एनीमिया मुक्त राजस्थान कार्यक्रम के प्रभावी क्रियान्वयन के लिए आंगनबाड़ी सरकारी विद्यालयों, सरकारी स्वास्थ्य केंद्रों में माह के प्रत्येक मंगलवार को शक्ति दिवस के तौर पर मनाया जा रहा है. 

मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. राजेश कुमार ने बताया कि स्वास्थ्य केंद्रों पर बच्चों, किशोर- किशोरियों, प्रजनन उम्र की महिलाओं, गर्भवती महिलाओं तथा धात्री माताओं के लिए अनीमिया से संबंधित गतिविधियां आयोजित की गई, जिसमें अनीमिया की स्क्रीनिंग, जांच, उपचार और अनीमिया के प्रति जागरुकता के लिए विभिन्न विभागों की सहभागिता से कार्यक्रम आयोजित किया गया. 

सीएमएचओ डॉ. राजेश कुमार ने बताया कि कार्यक्रम के लक्षित लाभार्थियों में 6 माह के बच्चों से लेकर 59 माह तक के बच्चों, किशोर-किशोरियां, 20 से 24 वर्ष की विवाहित महिलाएं, गर्भवती महिलाएं और धात्री माताओं को शामिल किया गया है. 

सीएमएचओ डॉ. राजेश कुमार ने बताया कि आशा सहयोगिनियों द्वारा 6 माह से 59 माह तक के बच्चों को 1 एमएम आईएफए सिरप पिलाई , 5 से 9 वर्ष के विद्यालय नहीं जाने वाले बच्चों को आईएफए की गुलाबी गोली खिलाई गई. 10 से 19 वर्ष की विद्यालय नहीं जाने वाली समस्त किशोरी बालिकाओं को आईएफए की नीली गोली खिलाई गई.  

आशा सहयोगिनियों द्वारा 6 माह से 59 माह तक के बच्चों की 5 से 9 वर्ष के विद्यालय नहीं जाने वाले बच्चों की 10 से 19 वर्ष की विद्यालय नहीं जाने वाली समस्त किशोरी बालिकाओं की, 20-24 वर्ष की विवाहित महिलाओं की गर्भवती महिलाओं की और धात्री माताओं की अनीमिया हेतु स्क्रीनिंग की गई. 
 
कार्यक्रम के दिशा-निर्देशानुसार 10 से 19 वर्ष तक की विद्यालय नहीं जाने वाली किशोरी बालिकाओं को आंगनबाड़ी कार्यकर्ता द्वारा आईएफए की नीली गोली खिलाई गई. इस अवसर जन स्वास्थ्य प्रबंधक दिलावर खां और आशा सहयोगिनी नीलोफर बानू उपस्थित रही. 

Reporter- Saket Goyal                 

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