Didwana News: निम्बी जोधा उप तहसील में पौधारोपण की अनूठी पहल, जापानी तकनीक से लगाए गए पौधे
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Didwana News: निम्बी जोधा उप तहसील में पौधारोपण की अनूठी पहल, जापानी तकनीक से लगाए गए पौधे

Didwana latest News: डीडवाना जिले में लाडनूं के निम्बी जोधा उपतहसील में नायब तहसीलदार मोहम्मद असलम के प्रयास व भामाशाहों के आर्थिक सहयोग से पौधारोपण का एक अनूठा कार्यक्रम शुरू किया गया है. 3 साल बाद तहसील परिसर में यह पौधारोपण एक जंगल का रूप लेगा.

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Didwana latest News: राजस्थान के डीडवाना जिले में लाडनूं के निम्बी जोधा उपतहसील में नायब तहसीलदार मोहम्मद असलम के प्रयास व भामाशाहों के आर्थिक सहयोग से पौधारोपण का एक अनूठा कार्यक्रम शुरू किया गया है. 3 साल बाद तहसील परिसर में यह पौधारोपण एक जंगल का रूप लेगा. इसमें करीब चार लाख रुपए का खर्चा आया है और एक हजार पौधे लगाए गए हैं. 

 

यह बात सुनने में भले ही अजीब लग रही हो, लेकिन यह बिल्कुल सच है. यहां पर जापानी तकनीक से पौधों को लगाया गया है. जापानी वनस्पति वैज्ञानिक डॉ अकीरा मियावाकी द्वारा विकसित विधि है. इस विधि का इस्तेमाल करके हम छोटी जगहों पर प्राकृतिक जंगलों को कृत्रिम रूप से बना सकते हैं. इस विधि द्वारा लगाए गए वृक्षारोपण आम वृक्षारोपण की तुलना में तीस गुना ज्यादा घने होते हैं.

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जो कि दस गुना तेजी से बढ़ते हैं, इसमें राजस्थान की 60 मूल प्रजातियों का इस्तेमाल किया गया है. इस विधि में जमीन को 1 मीटर तक खोदकर उसमें खाद, भूसा आदि मिलाकर जमीन को वृक्षारोपण के लिए तैयार किया जाता है. उसके बाद पौधों को लगाकर जमीन को पराली से ढक दिया जाता है. पौधों के साथ बांस को सहारे के लिए लगाया जाता है. 

 

दो से तीन साल बाद इन पौधों को किसी तरह के रख रखाव की जरूरत नहीं होती है. यह जंगल लगाते समय किसी भी तरह के कृत्रिम रसायनों का इस्तेमाल नहीं होता है. नायब तहसीलदार मो. असलम ने बताया कि 3600 वर्ग फुट एरिये में विकसित कर एक हजार पौधे लगाए हैं. उन्होंने बताया कि डीडवाना कुचामन जिले में संभवत: यह पहला प्रोजेक्ट है.

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